Srinagar News : जब निहारेंगे छतपाल का नैसर्गिक सौंदर्य तो भूल जाएंगे गुलमर्ग और पहलगाम
जम्मू-कश्मीर को धरती का स्वर्ग कहा जाता है। यहीं एक और जगह है जो पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करती है। यह श्रीनगर से 90 किमी. दूर स्थित छतपाल है। यहां गर्मी के मौसम में चमकती घास और सर्दी के मौसम में पहाड़ों पर गिरी बर्फ का अद्भुत नजारे पर्यटकों को लुभाते हैं। यह भीड़ और शोरगुल से दूर एक शांत वादी है।
By Jagran NewsEdited By: Yogesh SahuUpdated: Fri, 06 Oct 2023 06:42 PM (IST)
रजिया नूर, श्रीनगर। कश्मीर के विश्व प्रसिद्ध पर्यटनस्थल गुलमर्ग, पहलगाम व सोनमर्ग की असीम सुंदरता की पूरी दुनिया मुरी है पर कश्मीर की वादियों में जैसे जैसे आगे बढ़ेंगे, ऐसे प्रकृति बाहें पसारे आपका अभिनंदन करेगी।
भीड़-भाड़ व शोर शराबे से दूर अनंतनाग का छतपाल ऐसे ही अद्भुत नजारों और प्राकृतिक सौंदर्य से मालामाल है। सुकून की चाह में प्रकृति के गोद में समय बिताने की चाह रखने वालों के लिए यह अद्भुत स्थल है।
चारों तरफ देवदार के पेड़ और दूर-दूर तक बर्फ से ढके पहाड़। श्रीनगर से 90 किमी. और पर्यटनस्थल पहलगाम से 56 किमी. दूर छतपाल क्षेत्र पर्यटन के लिहाज से भले ही लोकप्रिय नहीं है, लेकिन यहां आने पर्यटक अकसर इन अदभुत नजारों में खो जाते हैं।
गर्मियों में चमकीली घास आकर्षित करती है तो सर्दियों में बर्फ से लदे पहाड़ अपनी तरफ खींचते हैं। अब पर्यटन विभाग इस क्षेत्र को प्रदेश के पर्यटन मानचित्र पर लाकर विकसित करने में जुट गया है।
हिमालय के ऊंचे पहाड़ों से घिरे छतपाल में सुविधा के नाम पर मात्र एक सरकारी गेस्टहाउस है जहां पर्यटकों की जरूरत का सामान उपलब्ध है।
पर्वतारोहियों और ट्रैकिंग करने वालों के लिए यह अदभुत है। पास में पहाड़ी के समतल हिस्से पर थिमरन नाम का छोटा सा गांव है।70 से 100 लोगों की आबादी वाले इस गांव में अधिकांश लोग चरवाहे हैं जो मिट्टी के छोटे कोठों में रहते हैं। सर्दियों में भारी बर्फबारी के चलते ये लोग थिमरन से करीब पांच से सात किलोमीटर नीचे गुज्जर बस्ती में आ जाते हैं।
मार्च से फिर छतपाल की वादियों का रुख करते हैं। थिमरन में चंद दुकानें हैं जहां खाने-पीने का छोटा मोटा सामान जैसे बिस्कुट, चिप्स चाकलेट आदि खरीद सकते हैं। छतपाल में बिजली की सुविधा नहीं है। सड़क संपर्क बेहतर स्थिति में है।
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