Lok Sabha Polls 2019: इटखोरी को अनुमंडल बनाने की मांग है बड़ा मुद्दा
Lok Sabha Polls 2019. इटखोरी को अनुमंडल बनाने की मांग आज तक चुनावी मुद्दा नहीं बन पाया है। किसी भी पार्टी या उम्मीदवार ने इटखोरी को अनुमंडल बनाने को मुद्दा नहीं बनाते हैं।
By Sujeet Kumar SumanEdited By: Updated: Thu, 28 Mar 2019 05:31 PM (IST)
चतरा, [संजय शर्मा]। इटखोरी को अनुमंडल बनाने की मांग आज तक चुनावी मुद्दा नहीं बन पाया है। चुनाव विधानसभा का हो या लोकसभा का, किसी भी पार्टी या उम्मीदवार ने इटखोरी को अनुमंडल बनाने को मुद्दा नहीं बनाते हैं। जबकि पिछले डेढ़ दशक से इटखोरी को अनुमंडल बनाने की मांग को लेकर लगातार आंदोलन हो रहा है। फिर भी इस महत्वपूर्ण मुद्दे को कोई भी प्रत्याशी अपना चुनावी मुद्दा नहीं बनाता है।
दरअसल चतरा जिला के चार प्रखंडों को जोड़कर इटखोरी को अनुमंडल बनाने की मांग यहां के लोग वर्षों से करते आ रहे हैं। जिन प्रखंडों को इटखोरी अनुमंडल में जोडऩे की मांग की जाती रही है, उसमें इटखोरी के अलावा मयूरहंड, गिद्धौर एवं कान्हाचट्टी प्रखंड शामिल है।इटखोरी को अनुमंडल बनाने की मांग का मयूरहंड प्रखंड के लोग खुलकर समर्थन कर रहे हैं। लेकिन कान्हाचट्टी प्रखंड के लोग इस विषय पर मौन साधे हुए हैं। जबकि गिद्धौर प्रखंड के वासी इस मुद्दे पर अपना विरोध जताते रहे हैं। गिद्धौर प्रखंड के लोगों का कहना है कि इटखोरी से गिद्धौर की दूरी बहुत ज्यादा है।
लिहाजा इटखोरी अनुमंडल में अगर गिद्धौर को शामिल किया गया तो गिद्धौरवासियों के लिए कठिनाइयां उत्पन्न हो जाएंगी। हालांकि एक वक्त गिद्धौर इटखोरी प्रखंड का ही हिस्सा हुआ करता था। माना जाता है कि गिद्धौर प्रखंड के विरोध को देखते हुए ही कोई भी उम्मीदवार इस संवेदनशील मुद्दे को अपना चुनावी मुद्दा नहीं बनाना चाहता है।पुलिस अनुमंडल बनाने का भी मामला अधर में
इटखोरी को पुलिस अनुमंडल बनाने का भी मामला अधर में लटका हुआ है। हालांकि एक वर्ष पहले राज्य के पुलिस महानिदेशक ने इटखोरी को पुलिस अनुमंडल बनाने का आश्वासन दिया था। इसके तहत उन्होंने चतरा के पुलिस अधीक्षक को प्रस्ताव बनाकर भेजने का भी निर्देश दिया था। लेकिन अब तक इटखोरी को पुलिस अनुमंडल बनाने संबंधी कोई निर्णय नहीं लिया गया है।इससे क्षेत्र के लोगों में निराशा है। इटखोरी वासियों का कहना है कि यहां का मां भद्रकाली मंदिर परिसर देश का एक प्रसिद्ध धार्मिक स्थल है। झारखंड सरकार ने मां भद्रकाली मंदिर को अंतरराष्ट्रीय महत्व का स्थल भी घोषित कर दिया है। सुरक्षा के लिहाज से इटखोरी को पुलिस अनुमंडल शीघ्र बनाया जाना चाहिए। क्योंकि यहां पूजा-अर्चना के लिए देश-विदेश के लोग अक्सर आते रहते हैं।
इटखोरी अनुमंडल बनने की पूरी अर्हता रखता है। चतरा जिला के इस महत्वपूर्ण प्रखंड को विभाजित कर अब तक चार प्रखंड बना दिए गए हैं। ऐसे में इटखोरी को अनुमंडल का तोहफा तो मिलना ही चाहिए। -मृत्युंजय सिंह, प्रखंड बीस सूत्री अध्यक्ष, इटखोरी।इटखोरी को अनुमंडल बनाने से मयूरहंड प्रखंड की जनता को काफी फायदा मिलेगा। सरकार को इटखोरी को अनुमंडल का दर्जा शीघ्र देना चाहिए। -विभूति नारायण सिंह, मयूरहंड
इटखोरी को अनुमंडल बनाने की मांग बहुत पुरानी है। फिर भी सरकार इस मांग को अब तक पूरा नहीं कर पाई है। चुनाव में इटखोरी को अनुमंडल बनाने की मांग को मुद्दा बनाया जाना चाहिए। -जगदीश यादव, इटखोरी।इटखोरी को अनुमंडल बनाने से इस क्षेत्र का विकास और तीव्र गति से हो पाएगा। क्षेत्र की जनता को भी अनुमंडल से संबंधित काम के लिए चतरा की दूरी तय नहीं करनी पड़ेगी। -संतोष सिन्हा, मयूरहंड।
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