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CBSE School: सीबीएसई का स्कूलों को नया निर्देश, कहा- 3 साल के अंदर पूरा कर लें लैब का काम

CBSE School Composite Skill Lab सीबीएसई ने स्कूलों में समग्र कौशल लैब बनाने का निर्देश दिया है। इस लैब में छात्रों को व्यावहारिक प्रशिक्षण दिया जाएगा। इससे वे भविष्य में आने वाली चुनौतियों का सामना कर पाने में सक्षम होंगे। लैब में आवश्यक उपकरण और मशीनरी भी होगी। छठी से 12वीं तक के छात्रों के लिए 600 वर्गफीट क्षेत्र वाली लैब स्थापित करनी होगी।

By Ashish Singh Edited By: Yogesh Sahu Updated: Wed, 28 Aug 2024 02:22 PM (IST)
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CBSE School: सीबीएसई ने समग्र कौशल लैब बनाने के लिए स्कूलों को निर्देश दिए हैं।

जागरण संवाददाता, धनबाद। CBSE School: केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) स्कूलों छात्रों के समग्र कौशल पर ध्यान दे रहा है। इसी उद्देश्य को लेकर सीबीएसई ने धनबाद समेत देशभर के स्कूलों को स्किल लैब बनाने का निर्देश दिया है।

बोर्ड ने स्कूलों को भेजे सर्कुलर में स्पष्ट कर दिया है कि छठवीं से लेकर 12वीं तक के छात्रों के लिए स्किल लैब बनाने की जरूरत है। सीबीएसई की सिटी कोआर्डिनेटर डॉ. सरिता सिन्हा के अनुसार, स्किल लैब बनने से छात्रों को प्रशिक्षण देने में काफी मदद मिलेगी।

बोर्ड की ओर से कोशिश की जा रही है कि बच्चों को गुणवत्तापूर्ण प्रशिक्षण दिया जाए ताकि भविष्य की चुनौतियों का सामना कर सकें। बोर्ड ने इसे समग्र कौशल लैब (कंपोजिट स्किल लैब) नाम दिया है। स्कूलों के लिए इस लैब को बनाना अनिवार्य होगा।

बोर्ड से नए सिरे से संबद्धता लेने वाले स्कूलों के लिए आवश्यक उपकरणों और मशीनरी के साथ लैब तैयार करना जरूरी होगा। बोर्ड से पहले से ही संबद्ध स्कूलों को तीन वर्ष की अवधि के अंदर सभी आवश्यक उपकरणों और मशीनरी के साथ एक समग्र कौशल प्रयोगशाला स्थापित करनी होगी।

छठवीं से 12वीं के लिए 600 वर्गफीट क्षेत्र वाली लैब बनाएं

सीबीएसई का मानना है कि लैब तैयार होने से छात्रों के बीच उद्यमशीलता क्षमता बढ़ाने में मदद मिलेगी। वर्तमान में कई स्कूलों में प्रभावी व्यावहारिक प्रशिक्षण प्रदान करने के लिए आवश्यक सुविधाओं और उपकरणों की कमी है।

ऐसे में बोर्ड से संबद्ध सभी स्कूलों को राष्ट्रीय शिक्षा नीति और नेशनल करिकुलम फ्रेमवर्क स्कूल एजुकेशन (एनसीएफएसई) की सिफारिशों को प्रभावी ढंग से लागू करने के लिए सभी आवश्यक उपकरणों और मशीनरी के साथ एक समग्र कौशल लैब स्थापित करनी चाहिए।

बोर्ड ने स्कूलों को निर्देश दिया है कि छठवीं से 12वीं के लिए 600 वर्गफीट क्षेत्र की एक समग्र कौशल प्रयोगशाला (लैब) या 400 वर्गफीट क्षेत्र की दो अलग-अलग लैब स्थापित करें।