क्लासरूम में बेटी को पीरियड्स आ गया... वह पैड के लिए खड़ी थी, लेकिन टीचर ने 10 रुपये के लिए दोबारा दौड़ा दिया
हमारी बेटी शहर के बरवाअड्डा इलाके में संचालित एक प्रतिष्ठित स्कूल में नौवीं की छात्रा है। स्कूल में उसे पीरियड्स आ गया। कार्यालय जाकर शिक्षिका इप्सिता साहू से पैड देने का आग्रह किया तो उन्होंने पूछा- पैसे लाई हो? 10 रुपये कार्यालय में जमा करो तभी पैड मिलेगा।
जागरण संवाददाता, धनबाद: हमारी बेटी शहर के बरवाअड्डा इलाके में संचालित एक प्रतिष्ठित स्कूल में नौवीं की छात्रा है। स्कूल में उसे पीरियड्स आ गया। अपने क्लास की टीचर को उसने इसके बारे में बताया। उन्होंने कहा कि कार्यालय जाकर सैनिटरी नैपकिन ले लो। कार्यालय जाकर शिक्षिका इप्सिता साहू से पैड देने का आग्रह किया, उन्होंने पूछा- पैसे लाई हो? 10 रुपये कार्यालय में जमा करो, तभी पैड मिलेगा। बेटी ने कहा- मैडम पैड दे दीजिए। बाथरूम से वापस आकर पैसे दे दूंगी। बावजूद पैसे जमा करने के बाद ही पैड देने की बात कही। बेटी को पुन: दूसरी मंजिल पर क्लासरूम तक 10 रुपये लेने के लिए जाना पड़ा। तब उसे पैड दिया गया। यह दर्द धैया की रहने वाली उस मां का है, जिसने 16 सितंबर को हुई इस घटना की शिकायत जिला शिक्षा पदाधिकारी से कर न्याय मांगा।
लड़की की मां का आरोप है कि शिक्षिका ने पैसे ले लिए, उसके बाद रसीद भी नहीं दी। शिक्षिका के व्यवहार से बेटी मानसिक और शारीरिक रूप से प्रताड़ित हुई है। उप प्राचार्य से बात की, उन्होंने भी कोई कार्रवाई नहीं गई। महज 10 रुपये के लिए उसे बहुत प्रताड़ना दी गई। शिकायत की प्रतिलिपि उपायुक्त, राष्ट्रीय महिला आयोग और राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग को भी भेजी है।
स्कूल में पैसे लेकर आने पर रोक, फिर क्यों मांगे?
छात्रा की मां ने सवाल उठाया कि विद्यालय प्रबंधन इस प्रकार के कार्यों के लिए विविध शुल्क लेता है। पैड के 10 रुपये लेने थे तो सिक्योरिटी मनी के रूप में विद्यालय में जमा शुल्क की राशि से काट लेते। मासिक शुल्क के साथ 10 रुपये जोड़ कर ले लेते। यदि बेटी के पास पैसे नहीं होते तो उसे पैड नहीं दिया जाता। वह और परेशान होती। प्रबंधन का आदेश है कि स्कूल में पैसे लेकर नहीं आएं। समय-समय पर बैग चेक होते हैं। तब पैसे क्यों मांगे गए।
डीईओ से मिल अभिभावक महासंघ ने की कार्रवाई की मांग
छात्रा के साथ घटित घटना को लेकर झारखंड अभिभावक महासंघ ने डीईओ सह डीएसई बीएन रजवार से मिलकर कार्रवाई की मांग की। अध्यक्ष पप्पू सिंह, महासचिव मनोज मिश्रा व छात्रा की मां ने जांच की मांग की है। डीईओ ने क्षेत्रीय शिक्षा पदाधिकारी को जांच पदाधिकारी नियुक्त कर मामले की रिपोर्ट तलब की है।