Jharkhand News: टिकट के सवाल पर लुईस मरांडी और सुनील सोरेन के समर्थकों में चाकूबाजी, एक गंभीर रूप से घायल
Jharkhand Assembly Elections 2024 झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा ने अभी तक प्रत्याशियों की सूची जारी नहीं की है लेकिन टिकट के दावेदारों के समर्थक आपस में भिड़ने लगे हैं। दुमका में दो भाजपा कार्यकर्ताओं के बीच मारपीट और चाकूबाजी हो गई। घायल कार्यकर्ता को बेहतर इलाज के लिए दुर्गापुर ले जाया गया है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
जागरण संवाददाता, दुमका। अभी तक झारखंड विधानसभा चुनाव (Jharkhand Assembly Elections 2024) के लिए भाजपा ने प्रत्याशियों की सूची जारी नहीं की है लेकिन टिकट के दावेदारों के समर्थक आपस में टकराने लगे हैं। बुधवार की रात दुमका में भाजपा के दो कार्यकर्ताओं के बीच मारपीट और चाकूबाजी हो गई।
घटना में बूथ नंबर 36 के भाजपा कार्यकर्ता अनुज सिंह पर पार्टी के ही सीताराम मिश्रा एवं उनके पुत्र ने हमला किया। यह मामला दुमका नगर थाना तक पहुंचा है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
क्या है चाकूबाजी के पीछे की पूरी कहानी
जानकारी के मुताबिक, चाकू से जख्मी हुए भाजपा के कार्यकर्ता अनुज सिंह पूर्व मंत्री डॉ. लुईस मरांडी के कट्टर समर्थक बताए जाते हैं। जबकि, सीताराम मिश्रा दुमका के पूर्व सांसद सुनील सोरेन के करीबी हैं।
दोनों के बीच दुमका सीट पर टिकट वितरण को लेकर इंटरनेट मीडिया में चल रही खबरों को लेकर कहासुनी हुई और फिर बात इतनी बिगड़ गई कि सीताराम मिश्रा और उनके पुत्र ने अनुज सिंह पर चाकू से प्रहार कर दिया। अनुज को पेट में चाकू लगी है। सोशल मीडिया में सुनील सोरेन दुमका विधानसभा सीट से प्रत्याशी बनाने की सूचना वायरल है।
दुमका में प्राथमिक इलाज कराने के बाद बेहतर इलाज के लिए उन्हें दुर्गापुर ले जाया गया। वहां चिकित्सकों ने उनका इलाज किया और हालत में सुधार होने के बाद अनुज गुरुवार को दुमका लौट आए हैं।
एक ही मोहल्ले के हैं दोनों भाजपा कार्यकर्ता
खास बात यह कि इस घटना में शामिल दोनों भाजपा कार्यकर्ता दुमका के जरुवाडीह मोहल्ला में रहते हैं और ये पड़ोसी भी हैं। बहरहाल, दुमका नगर थाना की पुलिस मामले की छानबीन में जुटी है। घटना के बाद सीताराम मिश्र फरार बताए जा रहे हैं।
क्या कहते हैं सुनील सोरेन और लुईस मरांडी
दोनों भाजपा के कार्यकर्ता हैं। किसी का समर्थक होना या दावा करना गलत है। दोनों पड़ोसी हैं और इनके बीच यह लड़ाई इनका निजी मामला है। इसे राजनीति दृष्टि से नहीं देखा जाना चाहिए। यह एक साजिश का हिस्सा हो सकता है जिसे राजनीतिक रंग देने की कोशिश हो रही है। -सुनील सोरेन, पूर्व सांसद, दुमका
मैं अभी दुमका से बाहर हूं। घटना की जानकारी मुझ तक पहुंची है। अनुज सिंह बूथ स्तर के मजबूत कार्यकर्ता हैं। जैसे ही घटना की जानकारी मिली उनके चिकित्सा के लिए समुचित पहल की। इस तरह का आपसी विवाद अनुचित है। दोनों पार्टी के कार्यकर्ता हैं। कार्यकर्ताओं के ऐसे कृत्य से विरोधियों को ताकत मिलती है। दुमका पहुंच कर पूरे मामले की जानकारी लेंगे। -डॉ. लुईस मरांडी, पूर्व मंत्री सह भाजपा की प्रदेश उपाध्यक्ष, दुमका