Move to Jagran APP

Jharkhand News: अधिकारियों की लापरवाही हुई उजागर, लाखों छात्र-छात्राओं को नहीं मिली लेखन सामग्री

गुमला में शिक्षा विभाग के अधिकारियों की लापरवाही सामने आई है और इसका खामियाजा स्कूल के छात्र छात्राएं भुगत रहे हैं। इसके चलते बच्चों को सरकार की योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है। बच्चों को समय पर लेखन सामग्री के लिए सरकार द्वारा राशि मुहैया करवाई गई थी लेकिन अब तक इसका लाभ छात्र -छात्राओं को नहीं मिला और अब वित्तीय वर्ष भी समाप्ति पर है।

By Santosh Kumar Edited By: Shoyeb Ahmed Updated: Sun, 24 Mar 2024 05:57 PM (IST)
Hero Image
गुमला में लाखों छात्र-छात्राओं को नहीं मिली लेखन सामग्री (फाइल फोटो)
संतोष कुमार, गुमला। शिक्षा विभाग के अधिकारियों की लापरवाही का खामियाजा स्कूल के छात्र छात्राएं भुगत रहे हैं। बच्चों को सरकार की योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है। ताजा मामला जिला के सरकारी विद्यालयों में किट राशि से संबंधित है।

बच्चों को समय पर लेखन सामग्री प्राप्त हो इसके लिए सरकार द्वारा कक्षा पहली से आठवीं तक के छात्राओं राशि मुहैया कराया गया, लेकिन इसका लाभ छात्र -छात्राओं को नहीं मिला और अब तक वित्तीय वर्ष भी समाप्ति पर है।

पत्र भेजकर दिये ये निर्देश

जिला शिक्षा अधीक्षक सह अपर जिला कार्यक्रम पदाधिकारी झारखंड शिक्षा परियोजना के आदेश के बाद भी एडीपीओ के द्वारा संचिका दबाकर रखने के कारण बच्चे विद्यालय किट योजना के तहत पेन पेंसिल रबर कटर आदि का लाभ से वंचित हो गए।

अब तो आठवीं कक्षा की परीक्षा भी समाप्त हो गया। तीन जनवरी 2024 को जिला शिक्षा अधीक्षक सह अपर जिला कार्यक्रम पदाधिकारी ने जिले के सभी बीईईओ, प्रखंड कार्यक्रम पदाधिकारी, विद्यालय के प्रधानाध्यापकों के नाम पत्र भेजकर आवश्यक निर्देश दिया था।

बच्चों को मिलेगा ये सामान 

जिसमें पहली और दूसरी के बच्चों को पेंसिल कटर के लिए प्रति छात्र 50 रुपये, तीसरी से पांचवी के बच्चों को पेन पेंसिल और इंस्ट्रूमेंट बॉक्स के लिए 80 रुपये और छठी से आठवी के छात्रों को पेन,पेंसिल और इंस्ट्रुमेंटस बॉक्स के लिए 105 रुपये देने का निर्देश था। विद्यार्थियों को विद्यालय प्रबंध समिति के माध्यम से सामग्री उपलब्ध कराया जाना था।

विद्यालय को राशि हस्तांतरित करने के लिए विद्यालयवार बच्चों की संख्या तीन दिनों के अंदर उपलब्ध कराने का निर्देश दिया था। 15 जनवरी 2024 तक साग्रमी वितरित करते हुए उपयोगिता प्रमाण पत्र उपलब्ध कराना सुनिश्चित करने का निर्देश दिया था।

अधिकारियों के पूछे जानें पर नहीं मिला सही जवाब  

निर्देश के बाद भी संचिका बढ़ाने वाले एडीपीओ फाइल दबाकर ही रह गए। लेखा शाखा को फाइल मार्च माह में भेजा गया। हालांकि लेखा शाखा ने चार दिन पूर्व राशि विद्यालयों को आवंटित जरुर कर दिया लेकिन आठवीं कक्षा के छात्र परीक्षा लिख चुके हैं। अप्रैल माह से शेष कक्षा के बच्चों का परीक्षा भी होना।

इधर इस संबंध में विभागीय अधिकारियों से पूछे जाने पर किसी के द्वारा संतोषजनक जवाब नहीं दिया गया। एडीपीओ पीयुष कुमार ने पैसा स्कूल केा नहीं भेजे जाने के कारण क्रय नहीं होने और संचिका देखकर ही पूरी जानकारी देने की बात कही।

वहीं लेखा पदाधिकारी माधुरी मिंज ने कहा कि संचिका आने के उपरांत राशि हस्तांतरित किया गया है। उन्होंने भी फाइल देखकर पूरी जानकारी देने की बात कही। जबकि शिक्षा विभाग के मुखिया ने तो राशि नहीं होने की बात कह दी। तीन अधिकारियों एक एक बिंदू पर अलग-अलग स्टेटमेंट्स से पता चलता है कि विभाग में किस तरह की खिचड़ी पक रही है।

क्या कहते हैं अधिकारी

गुमला जिले के शिक्षा अधीक्षक नूर आलम ने ये कहा कि विभाग के खाते में राशि नहीं होने के कारण समय पर बच्चों को सामग्री आपूर्ति नहीं किया जा सकता है। अब राशि प्राप्त हो चुका है। जल्द ही सभी को किट उपलब्ध करा दिया जाएगा। आठवीं के बच्चे जो परीक्षा लिख चुकें हैं उन्हें भी दिया जाएगा।

ये भी पढे़ं- 

होली में हुड़दंगियों से निपटने का प्लान तैयार, पुलिस की चप्पे-चप्पे पर तैनाती; अश्लील गाना बजाने पर रोक

बदलेगी इन स्कूलों की तस्वीर! पीएम श्री योजना में झारखंड के इस जिले से 14 विद्यालयों का चयन

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।