Jamshedpur News: जमशेदपुर वालों की बल्ले-बल्ले, अब शहर में रोजगार की होगी भरमार; भारत सरकार ने लिया बड़ा फैसला
Jamshedpur News जमशेदपुर के बर्मामाइंस स्थित सीएसआइआर-राष्ट्रीय धातुकर्म प्रयोगशाला (एनएमएल) ने मंगलवार को नीलडीह में देश के पहले मैग्नीशियम प्लांट का शिलान्यास किया। इस प्लांट का निर्माण वर्ष 2026 तक कर लेना है और इसकी कुल लागत 10 करोड़ रुपये है। यह प्लांट मैग्नीशियम का उत्पादन करेगा जिसका उपयोग रक्षा अनुसंधान न्यूक्लियर क्षेत्र अंतरिक्ष और व्यावसायिक इस्तेमाल में किया जाता है।
जागरण संवाददाता, जमशेदपुर। Jamshedpur News: देश को आत्मनिर्भर बनाने तथा विकसित भारत बनाने में जमशेदपुर के बर्मामाइंस स्थित सीएसआइआर-राष्ट्रीय धातुकर्म प्रयोगशाला (एनएमएल) एक और कदम बढ़ाने जा रहा है। एनएमएल ने मंगलवार को नीलडीह में देश के पहले मैग्नीशियम प्लांट का शिलान्यास किया। इस प्लांट का शिलान्यास मंगलवार को नीलडीह में सीएसआइआर के डायरेक्टर जनरल डा. एन कलेईसेल्वी ने किया। नये प्लांट में पिजन प्रोसेस टेक्नोलाजी तथा अन्य आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल किया गया है।
इसका निर्माण वर्ष 2026 तक कर लेना है। इसकी कुल लागत 10 करोड़ रूपये हैं। शिलान्यास के मौके पर डीजी डा. एन कलेईसेल्वी ने कहा कि पूर्ण रूप से यह एनएमएल की तकनीक यानि आत्मनिर्भर भारत के तहत है। मैग्नेशियम का इस्तेमाल रक्षा अनुसंधान, न्यूक्लियर क्षेत्र, अंतरिक्ष व व्यावसायिक इस्तेमला में किया जाता है। भारत में डोलोमाइट भरपूर मात्रा में भारत में उपलब्ध है।
बेरोजगारों को रोजगार मिलेगा
इस प्लांट के खुलने से शहर में बेरोजगारों को रोजगार भी मिलेगा। कहा जाए तो युवाओं के लिए अच्छी खबर है।डोलोमाइट, कैल्शियम कार्बेनेट, मैग्नीशियम कार्बेनेट रहता है। इस प्लांट को लगाने भारत के रक्षा विभाग ने भी सपोर्ट किया है। इस प्लांट के प्रारंभिक चरण में रोजना 120 किग्रा मैग्नीशियम का उत्पादन होगा। साथ ही इसकी क्षमता का विस्तार रोजाना 200 किग्रा तक किया जा सकता है।
मैग्नीशियम से आम जरूरत की चीजें भी बनेगी
नीलडीह में बनने वाला मैग्नीशियम पायलट प्लांट के बन जाने के बाद रोजाना 120 केजी मैग्नीशियम का उत्पादन होगा। मैग्नीशियम रक्षा, अंतरिक्ष व न्यूक्लियर के अलावा आम जरूरत की चीजों में भी इस्तेमाल हो सकता है। आम जरूरत की चीजों में रेल बनाना, व्हील चेयर सहित कई तरह सामग्रियों का निर्माण होता है। इस प्लांट के बन जाने के बाद कोई भी स्टेट होल्डर यहां आकर तकनीक का परीक्षण कर सकते हैं।मैग्नीशियम का आयात करने वाला भारत तीसरा बड़ा देश
अध्ययन के मुताबिक मैग्नीशियम का आयात करने वाला भारत तीसरा बड़ा देश है। वित्तीय वर्ष 2023-24 के डाटा पर गौर करे तो भारत ने मैग्नीशियम के आयात में लगभग 90 मिलियन यूएस डालर (7.58 अरब) रूपये खर्च किए। एनमएल का मुख्य उद्येश्य इस खर्च को कम करना एवं देश को मजबूती प्रदान करना।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।मैग्नीशियम के कुछ मुख्य कार्य हैं:
- ऊर्जा उत्पादन: मैग्नीशियम हमारे शरीर को ऊर्जा प्रदान करने में मदद करता है।
- मांसपेशियों की गतिविधि: मैग्नीशियम मांसपेशियों की गतिविधि को नियंत्रित करने में मदद करता है।
- हड्डियों का स्वास्थ्य: मैग्नीशियम हड्डियों के स्वास्थ्य को बनाए रखने में मदद करता है।
- नसों की गतिविधि: मैग्नीशियम नसों की गतिविधि को नियंत्रित करने में मदद करता है।