Tata Group कोरोना काल में भी बना देश का Most Valuable Brand, जानिए टॉप टेन में और कौन-कौन कंपनियां हैं
विपरीत परिस्थितियों में भी सफलता हासिल करना कोई टाटा ग्रुप की कंपनियों से सीखे। कोरोना काल में जहां दुनिया की अर्थव्यवस्था सुस्त हैं उसके बावजूद भी टाटा ग्रुप देश की Most Valuable Companies का खिताब अपने नाम किया है।
जागरण संवाददाता, जमशेदपुर ः टाटा समूह (Tata Group) ने 21.3 अरब डॉलर के ब्रांड मूल्य (Brand Value) के साथ भारत के सबसे मूल्यवान ब्रांड (Most Valuable Brand) का खिताब बरकरार रखा है। छह महादेश के 100 से अधिक देशों में परिचालन और दस लाख लोगों में से तीन-चौथाई से अधिक लोगों को रोजगार देने वाला टाटा समूह एक ऐसी ताकत है जिसे वैश्विक मंच पर गिना जाना जाता है। टाटा समूह की छत्रछाया में 30 कंपनियों के साथ, टाटा स्टील और टाटा मोटर्स से लेकर टीसीएस और टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स तक है। विपरीत परिस्थितियों में टाटा समूह ने अपने ब्रांड को COVID-19 से बाजार में आई आर्थिक सुस्ती में भी बचाने में कामयाबी हासिल की है। इस साल ब्रांड मूल्य में 6 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई है।
कोविड-19 के बावजूद शीर्ष कंपनियों के वैल्यू में बढ़ोतरी
कोविड 19 के फर्स्ट व सेकेंड वेव के कारण देश भर लॉकडाउन हुआ। सभी बाजार से लेकर महत्वपूर्ण प्रतिष्ठान बंद रहे। इसके बावजूद भारत की 100 शीर्ष कंपनियों की वैल्यू में बढ़ोतरी देखी गई है। ब्रांड फायनांस इंडिया ने 2021 की अपनी रिपोर्ट में बताया है कि वर्ष 2020 में भारत की 100 शीर्ष कंपनियों का ब्रांड वैल्यू 162.1 बिलियन था जाे वर्ष 2021 में बढ़कर 164.9 बिलियन डॉलर हो गया है। उम्मीद की जा रही थी कि कोविड 19 महामारी के कारण कंपनियों के ब्रांड वैल्यू स्थिर या कम होगा लेकिन सभी कंपनियों ने उत्पादन व डिमांड प्रभावित होने के बावजूद वैश्विक स्तर पर बेहतर प्रदर्शन किया। इनमें आईटी, हेल्थ, कंज्यूमर प्रोडक्ट, कैमिकल, एडुकेट, बैंकिंग सहित इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनियां शामिल हैं। इन कंपनियों के प्रदर्शन को केंद्र सरकार व भारतीय रिजर्व बैंक की मौद्रिक व राजकोषीय नीति के साथ जोड़ा गया है। जिन्होंने बेहतर प्रदर्शन् करते हुए नया बेंचमार्क स्थापित किया है। ब्रांड फायनांस इंडिया के एमडी अजीमॉन फ्रांसिस का कहना है कि कोविड 19 महामारी में सबसे ज्यादा प्रभावित होने वाले देशों में भारत भी शामिल था। मार्च 2020 में लॉकडाउन हुआ। लेकिन सभी कंपनियों ने इस चुनौती को स्वीकार करते हुए अपने ब्रांड वैल्यू में दो प्रतिशत की बढ़ोतरी हासिल करने में सफल रहे।
इन कंपनियों के ब्रांड वैल्यू रही सबसे बेहतर
टाटा समूह : टाटा समूह ने 21.3 अरब डॉलर के ब्रांड वैल्यू के साथ भारत का सबसे मूल्यवान ब्रांड वैल्यू का खिताब अपने नाम बरकरार रखा। छह महाद्वीपों में 100 से अधिक देशों में 10 लाख से अधिक लोग इसमें कामकरते हैं। टाटा समूह की अंतर्गत 30 कंपनियां है इनमें टाटा स्टील, टाटा मोटर्स, टीसीएस, टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स ने नए आइडिया से अपने आपको कोविड महामारी से न सिर्फ बचाया बल्कि अपने ब्रांड वैल्यू में भी छह फीसदी की बढ़ोतरी हासिल की।
एचडीएफसी : देश की सबसे मूल्यवान बैंकिंग में एचडीएफसी एक ब्रांड बन गया है। पिछले साल एचडीएफसी की ब्रांड वैल्यू नौ प्रतिशत के साथ 5.8 बिलियन डॉलर थी जो 11 प्रतिशत बढ़कर 6.6 बिलियन डॉलर के साथ पांचवे स्थान पर पहुंच गई है।
आइसीआइसीआइ : भारत की तीसरी सबसे मूल्यवान बैंकिंग ब्रांड है आइसीआइसीआइ बैंक। कंपनी का ब्रांड वैल्यू 23 प्रतिशत बढ़कर अब 3.5 अरब डॉलर हो गया है।
यूनियन बैंक ऑफ इंडिया : इस बैंक के ब्रांड वैल्यू में हर साल बेहतर होते जा रही है। इस बैंक ने 163 प्रतिशत बढ़कर 1.2 बिलियन डॉलर पर पहुंच गई है और 31वें स्थान पर अपना दावा पेश की है।
आंध्रा बैंक व कॉरपोरेशन बैंक : इन दोनो बैंकों का विलय हो चुका है इसके कारण यह भारत की सबसे मजबूत बैंकिंग सेक्टर के रूप में उभर कर सामने आई है।
टीसीएस : भारत की सबसे मूल्यवान आईटी कंपनियों में से एक है टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज। 11 प्रतिशत के सुधार के साथ इसका ब्रांड वैल्यू अब बढ़कर 14.9 बिलियन डॉलर पर पहुंच चुका है। साथ ही टाटा समूह का सबसे मूल्यवान ब्रांडों में से एक है।
इंफोसिस : आईटी सेक्टर में देश में सर्वोच्च स्थान रखने वाली स्टैंडअलोन कंपनी है इंफोसिस। वर्ष 2021 में देश के 100 ब्रांड वैल्यू में इस कंपनी की स्थान तीसरा है। इस कंपनी ने 19 प्रतिशत की मजबूती के साथ अपना ब्रांड वैल्यू 8.4 बिलियन डॉलर पर पहुंचा दिया है। कोविड 19 से पहले इंफोसिस डेटा सुरक्षा और क्लाउड़ सेवाओं के लिए जानी जाती थी। कोविड 19 में जब लॉकडाउन लगा तो इसका महत्व सभी को समझ आने लगा।
एलटीआई : इस कंपनी ने न केवल भारत में बल्कि आईटी के क्षेत्र में वैश्विक स्तर पर अपनी पहचान बनाई है। कंपनी का ब्रांड वैल्यू 68 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ 982 मिलियन डॉलर पर पहुंच चुका है।
इसके अलावा एचसीएल (13 प्रतिशत से 5.5 अरब डॉलर तक), टेक महिंद्रा (11 प्रतिशत से 2.3 अरब डॉलर महिंद्रा समूह के समूह ब्रांड मूल्य में शामिल) और एमफैसिस (13 प्रतिशत से 536 मिलियन डॉलर) ने इस साल ब्रांड मूल्य में अच्छी बढ़ोतरी हासिल की है। टेक महिंद्रा ने अपने स्वस्थ पाइपलाइन सौदों के निर्माण और नए 5जी अवसरों को अपनाने के माध्यम से त्वरित विकास की दिशा में काम करना जारी रखे हुए है।
एक अन्य आईटी प्रमुख, विप्रो (1 प्रतिशत गिरकर 4.3 बिलियन डॉलर) एक रैंक गिरा है, लेकिन आईटी सेवा क्षेत्र में इसकी पहचान पुराने खिलाफ के रूप में है। इसके अलावा बाजार में नई चुनौती देने वाला ब्रांड, हेक्सावेयर तेजी से अपने रैंक में सुधार करते हुए आगे बढ़ रहा है। वर्ष 2020 से यह 10 अंक ऊपर पहुंच चुका है।
जियाे : रिलायंस इंडस्ट्री की इस कंपनी ने भारत के साथ-साथ दुनिया भर में मजबूत टेलीकॉम ब्रांड के रूप में अपना दावा पेश किया है। कंपनी की रेटिंग ट्रिपल ए प्लस है और ब्रांड स्ट्रेंथ इंडेक्स स्कोर 100 में से 91.7 है।