Liquor Sale: 'रांची की तुलना मुंबई और गोवा से नहीं कर सकते', शराब बिक्री पर झारखंड हाईकोर्ट की फिर सख्त टिप्पणी
Liquor Sale In Jharkhand झारखंड में शराब बिक्री को लेकर हाईकोर्ट ने एक बार फिर सख्त टिप्पणी की है। इसके साथ ही अदालत ने प्रदेश के डीजीपी को निर्देश भी दिए हैं। कोर्ट ने इस मामले में स्वत संज्ञान लेकर मामला दर्ज किया है। हाईकोर्ट ने कहा है कि अब इस मामले की अगली सुनवाई 19 अगस्त को की जाएगी।
राज्य ब्यूरो, रांची। झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) में रांची (Ranchi) में नशे के कारोबार (Liquor Shop) पर रोक लगाने को लेकर स्वत: संज्ञान के बाद दर्ज किए गए मामले को लेकर सोमवार को सुनवाई हुई।
सुनवाई के दौरान अदालत ने रांची एसएसपी से कहा है कि शहर में स्कूल और मंदिरों के निकट किसी भी हाल में शराब की बिक्री (Liquor Sale) नहीं होनी चाहिए।
इन स्थानों के निकट बार खोला जाना भी दुर्भाग्यपूर्ण है। सुनवाई के दौरान राज्य के डीजीपी और रांची के एसएसपी अदालत में हाजिर थे।
अवैध शराब की बिक्री न हो : कोर्ट
अदालत ने कहा कि उत्पाद विभाग के साथ-साथ पुलिस की भी यह जिम्मेवारी है कि रांची शहर में अवैध ढंग से शराब की बिक्री (Liquor Sale) न हो। मामले की अगली सुनवाई 19 अगस्त को होगी।
कोर्ट ने मौखिक कहा कि यह रांची की तुलना मुंबई (Mumbai) और गोवा (Goa) से नहीं की जा सकती। यहां के बार एवं रेस्टोरेंट को नियंत्रित करना होगा, ताकि सामाजिक दायित्व का समुचित निर्वहन हो सके।
देर रात तक बार एवं रेस्टोरेंट खुला रहने से अप्रिय घटना होने की आशंका ज्यादा रहती है। पुलिस की पीसीआर वैन रात में शराबियों एवं आपराधिक तत्वों पर नजर रखें।
कोर्ट ने डीजीपी को दिए निर्देश
अदालत ने डीजीपी को निर्देश दिया कि अफीम, चरस, गांजा सहित अवैध शराब पर नियंत्रण के लिए एसओपी बनाएं।
पुलिस और नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) आपसी सहयोग से झारखंड में अफीम की खेती नष्ट करने के लिए कार्रवाई करें।
सैटेलाइट मैपिंग करके कार्रवाई करें : हाईकोर्ट
कोर्ट ने कहा कि खूंटी सहित राज्य के कई जिलों में जंगलों में अफीम की खेती होती है। सैटेलाइट मैपिंग के माध्यम से पुलिस और एनसीबी को-आर्डिनेशन से इसका पता लगाकर इन्हें नष्ट करने की कार्रवाई करें।
बता दें कि रांची में बड़ी मात्रा में नशीले पदार्थ बरामद किए जाने की खबर पर हाई कोर्ट स्वत: संज्ञान लेकर सुनवाई कर रहा है।
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