Move to Jagran APP

Alamgir Alam ED Summons: कांग्रेस नेता आलमगीर आलम को ईडी ने भेजा समन, पूछताछ के लिए बुलाया

Alamgir Alam ED Summons मंत्री और कांग्रेस नेता आलमगीर आलम को प्रवर्तन निदेशालय की टीम ने मनी लॉन्ड्रिंग मामले में पूछताछ के लिए 14 मई को तलब किया है। जांच एजेंसी ने पिछले हफ्ते आलम के निजी सचिव संजीव लाल और नौकर जहांगीर को उनसे जुड़े एक फ्लैट से 32 करोड़ रुपये से अधिक नकदी जब्त करने के बाद गिरफ्तार किया था।

By Dilip Kumar Edited By: Shashank Shekhar Updated: Sun, 12 May 2024 03:40 PM (IST)
Hero Image
कांग्रेस नेता आलमगीर आलम को ED ने भेजा समन, इस दिन पूछताछ के लिए बुलाया (फाइल फोटो)
राज्य ब्यूरो, रांची। Alamgir Alam ED Summons टेंडर कमीशन घोटाले में मनी लांड्रिंग के तहत जांच कर रही ईडी ने अब ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम को समन कर दिया है। ईडी ने उन्हें 14 मई को ईडी के रांची स्थित जोनल कार्यालय में पूछताछ के लिए बुलाया है।

यह वही केस है, जिसमें पूर्व में ग्रामीण कार्य विभाग के पूर्व मुख्य अभियंता वीरेंद्र राम, उनका भतीजा आलोक रंजन, वीरेंद्र राम के चार्टर्ड अकाउंटेंट मुकेश मित्तल का सहयोगी हरीश यादव, उनके सहयोगी नीरज मित्तल, रामप्रकाश भाटिया व तारा चंद के अलावा छह मई को मंत्री आलमगीर आलम के निजी सचिव संजीव लाल व संजीव लाल के नौकर जहांगीर आलम की गिरफ्तारी हुई थी।

ईडी को पिछले दिनों मंत्री आलमगीर आलम के निजी सचिव संजीव लाल व संजीव लाल के नौकर जहांगीर आलम से जुड़े ठिकानों से 38 करोड़ रुपये की बरामदगी हो चुकी है। इनमें 32 करोड़ 20 लाख रुपये नौकर जहांगीर आलम के हरमू रोड के सर सैय्यद अपार्टमेंट स्थित फ्लैट से मिले थे। शेष राशि संजीव लाल के करीबी ठेकेदारों के यहां से बरामद हुए हैं।

संजीव लाल व जहांगीर आलम ईडी की रिमांड पर

वर्तमान में संजीव लाल व जहांगीर आलम ईडी की रिमांड पर हैं, जिनकी रिमांड अवधि 13 मई को समाप्त होगी। ईडी इनकी रिमांड बढ़ाने के लिए पीएमएलए की विशेष अदालत से फिर आग्रह करेगी।

बताया जा रहा है कि दोनों से रिमांड पर पूछताछ में मंत्री आलमगीर आलम की भूमिका संदेह के घेरे में आई है, जिसके आधार पर ही उनसे पूछताछ की जानी है। यह भी बताया जा रहा है कि रिमांड अवधि बढ़ाने के बाद ईडी मंत्री आलमगीर आलम को संजीव लाल व नौकर जहांगीर आलम के सामने बैठाकर पूछताछ करेगी।

वीरेंद्र राम की गिरफ्तारी के बाद से बढ़ता जा रहा जांच का दायरा

ग्रामीण कार्य विभाग के पूर्व मुख्य अभियंता वीरेंद्र राम की गिरफ्तारी के बाद से ही ईडी की जांच का दायरा बढ़ता जा रहा है। जांच के घेरे में बड़े-बड़े अधिकारी व नेता आने वाले हैं। इसी कड़ी में मंत्री आलगीर आलम से पूछताछ भी होने जा रही है।

दरअसल, भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो, झारखंड ने 11 जनवरी 2020 को कनीय अभियंता सुरेश प्रसाद वर्मा व आलोक रंजन के विरुद्ध भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम में चार्जशीट की थी।उक्त चार्जशीट के आधार पर ही ईडी ने 17 सितंबर 2020 को केस दर्ज किया था।

क्या है मामला

दरअसल, 13 नवंबर 2019 को एसीबी जमशेदपुर में जय माता दी इंटरप्राइजेज के ठेकेदार विकास कुमार शर्मा ने सड़क निर्माण विभाग के कनीय अभियंता सुरेश प्रसाद वर्मा के विरुद्ध भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम में प्राथमिकी दर्ज कराई थी।

उनका आरोप था कि सुरेश प्रसाद वर्मा ने उनके लंबित चार लाख 54 हजार 964 रुपये के बकाया भुगतान को जारी करने के एवज में 28 हजार रुपये की रिश्वत मांगी है। एसीबी ने सत्यापन के बाद सुरेश प्रसाद वर्मा को 14 नवंबर 2019 को 10 हजार रुपये रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था। उसी दिन एसीबी ने सुरेश प्रसाद वर्मा की पत्नी पुष्पा वर्मा के आवास पर छापेमारी की थी, जहां से 63 हजार 870 रुपये नकदी, जेवरात, जमीन व बैंक से संबंधित कागजात मिले थे।

अगले दिन 15 नवंबर 2019 को उसी आवास के पहले तल्ले पर उनके किराएदार आलोक रंजन के आवास पर छापेमारी की थी, जहां से 2.67 करोड़ रुपये नकदी जब्त किए गए थे। तब आलोक रंजन को भी गिरफ्तार किया गया था। एसीबी को छानबीन में बरामद 2.67 करोड़ रुपये नकदी के बारे में सुरेश प्रसाद वर्मा का कोई लिंक नहीं मिला था।

बाद में सुरेश प्रसाद वर्मा व उनके पारिवारिक सदस्यों ने खुलासा किया कि उक्त राशि वीरेंद्र कुमार राम के हैं। वीरेंद्र कुमार राम व उनकी पत्नी राजकुमारी देवी अक्सर आलोक रंजन के किराए के मकान में आते-जाते रहते थे। बाद में ईडी ने वीरेंद्र राम की सवा सौ करोड़ की संपत्ति का पता लगाया था। इनमें उनकी करोड़ों की संपत्ति को ईडी जब्त कर चुकी है।

ये भी पढ़ें-

SBI के कैशियर की करतूत, मृत लोगों के खाते से उड़ाए लाखों रुपये; खुली पोल तो सबके उड़े होश

'अमित शाह यहीं कैंप कर जाएं, फिर भी...', JMM का BJP पर तीखा हमला; अर्जुन मुंडा को लेकर कर दी भविष्यवाणी

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।