झारखंड में गैस पाइपलाइन में फंसा वन और सरकारी भूमि का पेंच
गेल इंडिया ने मुख्य सचिव सुधीर त्रिपाठी को इस आशय का पत्र लिखा है और संबंधित पेंच सुलझाने के लिए राजस्व विभाग के अधिकार क्षेत्र में किसी सक्षम प्राधिकार के गठन का अनुरोध किया है।
By Edited By: Updated: Mon, 18 Jun 2018 03:08 PM (IST)
विनोद श्रीवास्तव, रांची। पाइप लाइन के माध्यम से झारखंड में गैस आपूर्ति की केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी परियोजना में सरकारी और वन भूमि का पेंच रोड़े अटका रहा है। कुल परियोजना क्षेत्र की ऐसी 15 से 20 फीसद भूमि है, जिस पर गेल (गैस अथॉरिटी ऑफ इंडिया) को सरकार से अनापत्ति प्रमाणपत्र चाहिए। गेल इंडिया ने मुख्य सचिव सुधीर त्रिपाठी को इस आशय का पत्र लिखा है और संबंधित पेंच सुलझाने के लिए राजस्व विभाग के अधिकार क्षेत्र में किसी सक्षम प्राधिकार के गठन का अनुरोध किया है। गेल ने आग्रह किया है कि इस परियोजना के कीलकांटे दूर करने की दिशा में संबंधित प्राधिकार सिंगल विंडो की तर्ज पर काम करे।
रांची में 5097 और पूर्वी सिंहभूम में 3562 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में गेल (इंडिया) लिमिटेड की योजना जून-2019 तक सिटी गैस डिस्ट्रीब्यूशन की है। राज्य में 550 किलोमीटर क्षेत्र में गैस पाइप लाइन नेटवर्क का विस्तार प्रस्तावित है। प्रथम चरण में दिसंबर-2018 तक डोभी से दुर्गापुर के बीच 345 किलोमीटर गैस पाइप लाइन बिछाने की योजना गेल की है। इसका 60 फीसद (205 किलोमीटर) हिस्सा झारखंड के विभिन्न क्षेत्रों से गुजरेगा। इनमें से 116 किलोमीटर पाइपलाइन राज्य के 10 जिलों (चतरा, हजारीबाग, गिरिडीह, बोकारो, सरायकेला, रामगढ़, रांची, गुमला, खूंटी और सिमडेगा) के वन क्षेत्र से होकर जाएगा। गेल ने संबंधित जिलों को अनापत्ति प्रमाणपत्र के लिए आवेदन दे रखा है। रांची में इस परियोजना को धरातल पर उतारने में 226 करोड़ तथा जमशेदपुर में 221 करोड़ 45 लाख रुपये की लागत आने का सरकारी अनुमान है।
रांची में 11 और जमशेदपुर में होंगे सात डिस्ट्रीब्यूशन स्टेशन
रांची में टाटीसिल्वे और तुपुदाना इंडस्ट्रियल एरिया के लिए खेलगांव, मोरहाबादी, आइटीआइ बस स्टैंड, खादगढ़ा बस स्टैंड, कांके, धुर्वा, एयरपोर्ट, पिस्का मोड़ और अरगोड़ा में सीएनजी सह डीआरएस स्टेशन होंगे। इसी तरह जमशेदपुर में जुगसलाई-बिष्टुपुर, कदमा, सोनारी, टेल्को कालोनी, प्रमंथम नगर, मानगो और साकची में सीएनजी सह डीआरएस स्टेशन के लिए जमीन तलाशी जा रही है। गेल इंडिया लिमिटेड को एक स्टेशन की स्थापना के लिए 1200 से 2400 वर्गमीटर जमीन चाहिए।
रांची में टाटीसिल्वे और तुपुदाना इंडस्ट्रियल एरिया के लिए खेलगांव, मोरहाबादी, आइटीआइ बस स्टैंड, खादगढ़ा बस स्टैंड, कांके, धुर्वा, एयरपोर्ट, पिस्का मोड़ और अरगोड़ा में सीएनजी सह डीआरएस स्टेशन होंगे। इसी तरह जमशेदपुर में जुगसलाई-बिष्टुपुर, कदमा, सोनारी, टेल्को कालोनी, प्रमंथम नगर, मानगो और साकची में सीएनजी सह डीआरएस स्टेशन के लिए जमीन तलाशी जा रही है। गेल इंडिया लिमिटेड को एक स्टेशन की स्थापना के लिए 1200 से 2400 वर्गमीटर जमीन चाहिए।
गेल ने सरकार से मांगा अंतर्विभागीय सहयोग
गेल ने परियोजना को निर्धारित समयसीमा में धरातल पर उतारने के लिए झारखंड सरकार से सहयोग मांगा है। उसने इस परियोजना में सीधी भूमिका अदा करने वाले विभिन्न विभाग तथा सरकार की अन्य अनुषंगी इकाइयों को मिलाकर सिंगल विंडो स्थापित करने की मांग है। गेल ने इस कार्य में पथ निर्माण, नगर विकास, जल संसाधन, परिवहन तथा राजस्व, निबंधन एवं भूमि सुधार विभाग के अलावा रांची नगर निगम, रांची स्मार्ट सिटी कारपोरेशन, रांची क्षेत्रीय विकास प्राधिकार (आरआरडीए), जमशेदपुर यूटिलिटी एंड सर्विस कंपनी (जुस्को), झारखंड इंडस्ट्रियल एरिया डवलपमेंट अथारिटी (जियाडा), झारखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, झारखंड स्टेट रोड ट्रांसपोर्टेशन कॉरपोरेशन (जेएसआरटीसी) आदि इकाइयों से अंतर्विभागीय सहयोग की अपेक्षा की है।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।गेल ने परियोजना को निर्धारित समयसीमा में धरातल पर उतारने के लिए झारखंड सरकार से सहयोग मांगा है। उसने इस परियोजना में सीधी भूमिका अदा करने वाले विभिन्न विभाग तथा सरकार की अन्य अनुषंगी इकाइयों को मिलाकर सिंगल विंडो स्थापित करने की मांग है। गेल ने इस कार्य में पथ निर्माण, नगर विकास, जल संसाधन, परिवहन तथा राजस्व, निबंधन एवं भूमि सुधार विभाग के अलावा रांची नगर निगम, रांची स्मार्ट सिटी कारपोरेशन, रांची क्षेत्रीय विकास प्राधिकार (आरआरडीए), जमशेदपुर यूटिलिटी एंड सर्विस कंपनी (जुस्को), झारखंड इंडस्ट्रियल एरिया डवलपमेंट अथारिटी (जियाडा), झारखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, झारखंड स्टेट रोड ट्रांसपोर्टेशन कॉरपोरेशन (जेएसआरटीसी) आदि इकाइयों से अंतर्विभागीय सहयोग की अपेक्षा की है।