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Ranchi News: न नियमित शिक्षक और न ही बुनियादी सुविधाएं, कैसे शिक्षिका बनेंगी इस टीचर ट्रेनिंग कॉलेज की छात्राएं?

Ranchi News रांची के राजकीय महिला शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय बरियातू में न तो पर्याप्त नियमित शिक्षक हैं और न ही अन्य स्टाफ। इसके साथ ही यहां बुनियादी सुविधाओं की भी काफी कमी है। सुविधाओं की कमी के कारण पठन-पाठन भी प्रभावित हो रहा है। रखरखाव के अभाव में यहां झाड़ियां उग आईं हैं।

By kumar GauravEdited By: Aysha SheikhUpdated: Sun, 29 Oct 2023 01:44 PM (IST)
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Ranchi News: न नियमित शिक्षक और न ही बुनियादी सुविधाएं, कैसे शिक्षिका बनेंगी इस टीचर ट्रेनिंग कॉलेज की छात्राएं?
कुमार गौरव, रांची। राजकीय महिला शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय, बरियातू बुनियादी सुविधाओं के लिए तरस रहा है। नेशनल काउंसिल फॉर टीचर एजुकेशन (एनसीटीई) द्वारा अनुमोदित और रांची युनिवर्सिटी से संबद्धता प्राप्त होने के बाद भी यहां छात्राओं के लिए कुछ खास सुविधा उपलब्ध नहीं है।

यहां नामांकित छात्राएं राज्य स्तर पर होने वाली प्रतियोगी परीक्षा में उच्च अंक हासिल करने के बाद चयनित होती हैं। बावजूद इसके यहां साफ सफाई, शौचालय, ऊंची चारदीवारी का अभाव है। लाइब्रेरी में पर्याप्त पुस्तकों के साथ कक्षा संचालन के लिए फैकल्टी का भी अभाव है।

न तो पर्याप्त नियमित शिक्षक और न ही स्टाफ

यहां हर सत्र में 100 विद्यार्थियों के लिए सीट निर्धारित है, लेकिन सुविधाओं की कमी के कारण पठन-पाठन भी प्रभावित हो रहा है। स्थिति यह है कि यहां न तो पर्याप्त नियमित शिक्षक हैं और न ही अन्य स्टाफ।

यहां प्रभारी प्राचार्य से लेकर शिक्षक तक प्रतिनियुक्ति पर पदस्थापित हैं। शिक्षकों की कमी के कारण महाविद्यालय में पढ़ाई का हाल बेहाल है। यहां प्राचार्य और शिक्षक मिलाकर 16 पद सृजित हैं, जिनमें चार शिक्षक कार्यरत हैं वो भी प्रतिनियुक्ति पर हैं।

प्रतिनियुक्ति पर बहाल शिक्षक कर रहे शैक्षणिक कार्य

वर्ष 2000 में अलग राज्य बनने के बाद से अब तक राजकीय महिला शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय बरियातू में सहायक प्राध्यापकों की स्थाई नियुक्ति नहीं की गई है, जिसका खामियाजा यहां पढ़ाई करने वाली छात्राओं को भुगतना पड़ रहा है। विभाग द्वारा महाविद्यालय को 2018 में उच्च एवं तकनीकी शिक्षा विभाग को स्थानांतरित किया गया था।

महाविद्यालय में स्कूली शिक्षा एवं साक्षरता विभाग से प्रतिनियुक्ति के आधार पर नियुक्त शिक्षकों के द्वारा शिक्षण कार्य किया जा रहा है। शिक्षकों को वेतन आदि का भुगतान स्कूली शिक्षा और साक्षरता विभाग के द्वारा किया जा रहा है। बताया जा रहा है कि जो भी नियुक्तियां होंगी वह राज्य सरकार जेपीएससी के माध्यम से करेगी।

शिक्षकों की नियुक्ति के लिए विभाग को पत्र लिखा गया है। संबंधित पदाधिकारी के संज्ञान में भी दिया गया है। जल्द ही कॉलेज में नए शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी। - प्रीति पांडेय, प्रभारी प्राचार्या, महिला शिक्षक प्रशिक्षण महाविद्यालय बरियातू

बनकर तैयार है हॉस्टल, नहीं मिल रही सुविधा

महाविद्यालय में राज्य भर से 100 छात्राओं का चयन किया जाता है। छात्राओं के लिए परिसर में ही 200 बेड की क्षमता वाले हॉस्टल का निर्माण तो कर दिया गया, लेकिन इसका लाभ आज तक छात्राओं को नहीं मिल पाया है। रखरखाव के अभाव में यहां झाड़ियां उग आईं हैं।

सुरक्षा कर्मियों के अभाव में चोर उचक्कों का वास है। बाथरूम में लगे बेसिन, बिजली तार व उपकरण, पेयजल के लिए लगाए प्यूरीफायर तक चोर उचक्कों की भेंट चढ़ चुके हैं। वहीं, यहां पढ़ाई करने आने वाली छात्राएं बाहर से ही अपने साथ पेयजल लाती हैं। शौचालय तक की सफाई नहीं हो पाती है। वहीं परिसर में गंदगी के कारण मच्छरों के डंक से बीमारी फैल सकती है।

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