Hemant Soren के मामले में ED का बड़ा खुलासा, जिस 8.86 एकड़ जमीन के लिए हुई गिरफ्तारी उसी को...
Hemant Soren Case ईडी ने चार्जशीट में ग्राफिक्स के माध्यम से पूरा खेल समझाया है और बताया है कि कैसे रांची से लेकर कोलकाता तक का एक सिंडिकेट इसमें शामिल था। हेमंत सोरेन का नाम पंजी टू में चढ़ाया जाना था इसके पहले ही भंडाफोड़ हो गया। ईडी ने 1940 का फर्जी डीड नंबर 3985 जब्त किया था जो 6.34 एकड़ जमीन से संबंधित था।
राज्य ब्यूरो, रांची। रांची स्थित पीएमएलए कोर्ट ने झामुमो नेता अंतु तिर्की सहित दस आरोपितों पर दाखिल ईडी की चार्जशीट पर गुरुवार को संज्ञान ले लिया। कोर्ट ने समन जारी कर सभी आरोपितों को अपना पक्ष रखने के लिए कहा है। ईडी ने चार्जशीट में यह लिखा है कि हेमंत सोरेन की कब्जे वाली बरियातू रोड की 8.86 एकड़ जमीन पूरी तरह से हेमंत सोरेन के नाम पर करने की तैयारी थी।
ईडी ने चार्जशीट में ग्राफिक्स के माध्यम से पूरा खेल समझाया है और बताया है कि कैसे रांची से लेकर कोलकाता तक का एक सिंडिकेट इसमें शामिल था। हेमंत सोरेन का नाम पंजी टू में चढ़ाया जाना था, इसके पहले ही भंडाफोड़ हो गया।
ईडी ने 1940 का फर्जी डीड नंबर 3985 जब्त किया था, जो 6.34 एकड़ जमीन से संबंधित था। भुइहरी प्रकृति की 8.86 जमीन को जेनरल बनाकर अलग-अलग नामों पर पहले पंजी टू में दिखाया गया, जहां से फर्जी तरीके से पूरी जमीन हेमंत सोरेन के नाम पर किया जाना था।
ईडी ने कोर्ट केा ग्राफिक्स के माध्यम से समझाया है। इसमें दिखाया गया है कि हेमंत सोरेन ने विभिन्न चैनल के माध्यम से भानु प्रताप प्रसाद को निर्देशित किया। भानु प्रताप व सद्दाम हुसैन फर्जीवाड़ा में सहयोगी बने। उनका सहयोगी अफसर अली ने 1940 को फर्जी डीड नंबर 3985 तैयार किया।
इसके लिए अफसर अली ने बरियातू के इरशाद अख्तर से संपर्क किया, जिसने कोलकाता के रजिस्ट्रार आफ एश्योरेंस तापस घोष व संजीत कुमार से ब्लैंक पेज लेकर अफसर अली को उपलब्ध कराया। अफसर अली ने हजारीबाग के इरशाद को ब्लैंक पेज दिया, ताकि वह फर्जी डीड तैयार कर सके। सद्दाम हुसैन के आवास पर इरशाद ने पंजी टू में फर्जी एंट्री की, जिसे भानु ने उपलब्ध कराया था।
अंतु तिर्की ने पूछताछ में फर्जीवाड़ा व रुपयों की लेन-देन स्वीकारा ईडी की अनुसंधान में यह खुलासा हुआ है कि आरोपित सद्दाम हुसैन ने खाता नंबर 234 के प्लाट नंबर 989 व 996 में फर्जीवाड़ा किया, बल्कि उसने आरोपित आनंद तिर्की उर्फ अंतु तिर्की के साथ मिलकर रुपयों का लेन-देन भी किया। उक्त लेन-देन खाता नंबर 234 के ही बड़गाईं स्थित प्लाट नंबर 1055 के एवज में हुआ था। इस बकास्त भुइहरी प्रकृति की जमीन को अंतु तिर्की ने सामान्य पावर आफ अटार्नी के माध्यम से बेच दिया था।
अंतु तिर्की ने 22 अप्रैल को ईडी की पूछताछ में यह स्वीकारा है कि उसने जमीन की खरीद-बिक्री में अब तक 70 से 80 लाख रुपये लिया। अंतु तिर्की ने भुइहरी प्रकृति की मिटकू पाहन की 42 डिसमिल जमीन पर भी कब्जा किया। उक्त जमीन खाता नंबर 234 में प्लाट नंबर 1055 है, जिसके लिए 30 लाख रुपये का भुगतान किया। इस जमीन में छह डिसमिल जमीन सद्दाम हुसैन को 18 लाख 50 हजार रुपये में बेच दिया। शेष जमीन कृष्णा मुंडा से 55 लाख में बेचा।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।अंतु तिर्की ने इन जमीन की खरीद-बिक्री में अपनी संलिप्तता स्वीकारी
- खाता नंबर 234 के प्लाट नंबर 1055 में 42 डिसमिल जमीन, जिसमें 73.5 लाख रुपये खर्च हुए।
- अफसर अली के साथ एक जमीन को पांच लाख रुपये में सौदा किया।
- ओरमांझी में 32 डिसमिल जमीन का सौदा।
- खाता नंबर 232 के प्लाट नंबर 1054 की 32 डिसमिल जमीन सुखदेव पाहन व अन्य से अपनी पत्नी सुनीता तिर्की के नाम पर कब्जा किया।
- बड़गाईं मौजा में पाहन परिवार से 40 लाख रुपये में 73 डिसमिल जमीन खरीदी और उसे सुरेंद्र मुंडा को 2.06 करोड़ में बेचा। इसमें उसने 70-80 लाख रुपये लिया।
- खाता नंबर 220, 221 में शनिचरिया देवी से 1.30 एकड़ जमीन का एग्रीमेंट कराया।
- बड़गाईं मौजा में कैलाश पाहन से 22.50 लाख रुपये में 15 डिसमिल जमीन पर कब्जा किया।
- बड़गाईं मौजा में मंजू देवी से खाता नंबर 232 के प्लाट नंबर 1054 पर कब्जा किया।
- बड़गाईं के फर्स्ट मार्क स्कूल रोड बुधु पाहन उर्फ कंडरु पाहन से खाता नंबर 231 के प्लाट नंबर 1059 की 54 डिसमिल जमीन का एग्रीमेंट कराया।
- फर्स्ट मार्क स्कूल रोड स्थित बड़गाईं मौजा में खाता नंबर 233 स्थित जमीन को सोमरा पाहन, रमेश पाहन, नरेश पाहन व अन्य से एग्रीमेंट कराया।