Move to Jagran APP
5/5शेष फ्री लेख

Jharkhand: हेमंत सरकार को गिराने की साजिश मामले में ईडी ने अनूप सिंह से पूछा दस करोड़ का आफर किसने और कब दिया

हेमंत सरकार को गिराने के षडयंत्र को लेकर रांची में दर्ज केस को ईडी ने टेकओवर कर अब केस को मनिलांड्रिंग का मामला मानकर जांच को आगे बढ़ा रही है। इस मामले में शनिवार को बेरमो विधायक कुमार जयमंगल उर्फ अनूप सिंह से करीब साढ़े नौ घंटे पूछताछ की

By Jagran NewsEdited By: Mohit TripathiUpdated: Sun, 25 Dec 2022 03:53 PM (IST)
Hero Image
हेमंत सरकार को गिराने के षडयंत्र केस में ईडी में कर रही जांच।

रांची,राज्य ब्यूरो: इस मामले में मनी लांड्रिंग का सिरा तलाशने में जुटी है। शनिवार को ईडी ने इस मामले में बेरमो के विधायक कुमार जयमंगल उर्फ अनूप सिंह से करीब साढ़े नौ घंटे पूछताछ की।

ईडी की ओर से नोटिस दिए जाने के बाद शनिवार को अनूप सिंह सुबह 11.20 बजे ई़डी के रांची स्थित कार्यालय पहुंच गए थे, रात करीब नौ बजे वे ईडी कार्यालय से वापस लौटे। ईडी सूत्रों के अनुसार अनूप सिंह से सरकार गिराने की साजिश मामले में उनके लगाए गए दस करोड़ रुपये नकद और मंत्री पद के आफर पर ईडी ने सवाल किया। उनसे पूछा कि दस करोड़ का आफर कब, किसने और कैसे दिया।

विधायक अनूप सिंह से यह भी पूछा गया कि कोलकाता में उनके तीन साथियों की 49 लाख रुपये के साथ गिरफ्तारी के बाद, उन्होंने अरगोड़ा थाने में जीरो एफआइआर में आफर का आरोप लगाया था। इससे पहले भी रांची के कोतवाली थाने में उन्होंने एक प्राथमिकी दर्ज कराई थी। दोनों ही प्राथमिकियों में कितनी एकरूपता है।

पूर्व में सरकार गिराने के षडयंत्र के संबंध में उनके बयान पर रांची के कोतवाली थाने में दर्ज कराई गई एक अन्य प्राथमिकी के बाद तीन फल विक्रेता पकड़े गए थे, जिनके विरुद्ध पुलिस साक्ष्य नहीं जुटा पाई थी और तीनों छूट गए थे। उस केस में भी उनके सहयोगी कांग्रेस के विधायक डा. इरफान अंसारी थे और कोलकाता में गिरफ्तार तीनों विधायकों में भी डा. इरफान अंसारी थे।

ईडी ने उनसे असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा से मुलाकात पर भी सवाल पूछा है। बता दें कि 30 जुलाई को हावड़ा में झारखंड कांग्रेस के तीन विधायक डा. इरफान अंसारी, नमन विक्सल कोंगाड़ी और राजेश कच्छप 49 लाख रुपये के साथ गिरफ्तार किए गए थे। इसके बाद अनूप सिंह ने 31 जुलाई को रांची के अरगोड़ा थाने में इन तीन विधायकों के विरुद्ध हेमंत सोरेन की सरकार गिराने के षडयंत्र में शामिल होने का आरोप लगाते हुए केस दर्ज कराया था।

अनूप सिंह ने आरोप लगाया था कि हेमंत सोरेन की सरकार गिराने के लिए विधायकों को 10-10 करोड़ रुपये का आफर किया गया था। उनका कहना था कि आरोपित विधायकों ने उन्हें भी फोन कर डील में शामिल होने के लिए कोलकाता बुलाया था, लेकिन वह नहीं गए। उनका दावा है कि उन्हें हेमंत सरकार को तोड़ कर बनाई जाने वाली सरकार में मंत्री पद का भी आफर दिया गया था।

ईडी ने इस केस में मनी लांड्रिंग की आशंका को देखते हुए इसे टेकओवर किया है। ईडी ने दो और कांडों को भी अपनी जांच के दायरे में लाया है। इनमें रांची के कोतवाली थाने में विधायक अनूप सिंह व धुर्वा में घाटशिला के विधायक रामदास सोरेन के बयान पर दर्ज कराई गई प्राथमिकी शामिल है। सभी मामलों में मनी लांड्रिंग एक्ट के तहत अनुसंधान चल रहा है।

यह भी पढ़ें: Marry Christmas 2022: एक ऐसा चर्च जो क्रिसमस मनाने का करता है विरोध, 25 दिसंबर को नहीं मानता ईसा का जन्मदिन

लोकल न्यूज़ का भरोसेमंद साथी!जागरण लोकल ऐपडाउनलोड करें