हेमंत सोरेन केस में ED की बड़ी कार्रवाई, अब बरियातू का मोहम्मद सद्दाम हुआ गिरफ्तार; जाली कागजात बनाने में था एक्टिव
जमीन घोटाला मामले में ईडी ने तीसरे आरोपित मोहम्मद सद्दाम को गिरफ्तार किया है। इससे पहले इस केस में पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और भानु प्रताप प्रसाद की गिरफ्तारी हो चुकी है। मोहम्मद सद्दाम वही है जिसे ईडी ने सेना के उपयोग वाली 4.55 एकड़ व चेशायर होम रोड की एक एकड़ जमीन का जाली दस्तावेज बनाने के मामले में गत वर्ष गिरफ्तार किया था।
राज्य ब्यूरो, रांची। पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से संबंधित जमीन घोटाला केस में ईडी ने अब तीसरी गिरफ्तारी के रूप में बरियातू के मोहम्मद सद्दाम को भी गिरफ्तार कर लिया है। मोहम्मद सद्दाम वही है, जिसे ईडी ने सेना के उपयोग वाली 4.55 एकड़ व चेशायर होम रोड की एक एकड़ जमीन का जाली दस्तावेज बनाने के मामले में गत वर्ष गिरफ्तार किया था।
होटवार जेल में बंद है सद्दाम
वह जमीन का जाली दस्तावेज बनाने में एक अन्य आरोपित अफसर अली के साथ सक्रिय था। वह उस वक्त से ही रांची के होटवार स्थित बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा में बंद है।
ईडी ने अब उसे रांची के सदर थाने में बड़गाईं अंचल के पूर्व राजस्व उप निरीक्षक भानु प्रताप प्रसाद पर दर्ज प्राथमिकी के मामले भी गिरफ्तार कर लिया है।
यह वही केस है, जिसमें ईडी ने ईसीआइआर दर्ज कर जांच के बाद पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को गिरफ्तार किया था। इस केस में हेमंत के अलावा पूर्व राजस्व उप निरीक्षक भानु प्रताप प्रसाद व अब मोहम्मद सद्दाम गिरफ्तार किया गया है।ईडी अब मोहम्मद सद्दाम हुसैन को ईडी की विशेष अदालत में प्रस्तुत करने के बाद रिमांड पर लेने के लिए कोर्ट से आग्रह करेंगी। मोहम्मद सद्दाम को रिमांड पर लेकर पूछताछ होगी।
हेमंत सोरेन पर दाखिल चार्जशीट में भी Ed ने दी सद्दाम की जानकारी
ईडी ने गत 30 मार्च को पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर दाखिल चार्जशीट में बताया है कि 13 अप्रैल, 2023 को ईडी ने भानु प्रताप प्रसाद व अन्य के ठिकानों पर छापामारी की थी।उस छापामारी में मोहम्मद सद्दाम हुसैन, इम्तियाज अहमद व अन्य के ठिकानों से हस्त लिखित डायरी मिले थे। उक्त डायरी में भानु प्रताप प्रसाद को नकद भुगतान से संबंधित बातों का भी उल्लेख था।
यह भी लिखा हुआ था कि नकदी भुगतान बड़गाईं अंचल के गाड़ी मौजा की 4.83 एकड़ जमीन से संबंधित दो जाली डीड बनाने के लिए रुपयों का लेन-देन भी हुआ था।इनमें एक डीड 1940 का दूसरा 1947 का बनाया गया था। डायरी के उक्त पन्ने में करीब 20 लाख रुपये के लेन-देन का खुलासा हुआ था। इनमें दो लाख रुपये भानु प्रताप प्रसाद को स्थानांतरित हुआ था।
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