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बिहार के पूर्व मंत्री बंदी उरांव के अ‍ंतिम दर्शन को उमड़े लोग, आदिवासी रीति रिवाज से दफनाया गया

Jharkhand Politics Bandi Oraon बुधवार को बंदी उरांव के पैतृक आवास में सुबह 8 बजे से ही लोगों का पहुंचना शुरू हो गया। राजनीतिक दल के कार्यकर्ता और ग्रामीण सहित उनके परिजन बसाईर टोली पहुंचे। उनका अंतिम संस्‍कार किया गया।

By Sujeet Kumar SumanEdited By: Updated: Wed, 07 Apr 2021 06:50 PM (IST)
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Jharkhand Politics, Bandi Oraon बंदी उरांव के अंतिम दर्शन करते लोग।

भरनो (गुमला), जासं। Jharkhand Politics, Bandi Oraon पूर्व विधायक और बिहार के पूर्व मंत्री बंदी उरांव का अंतिम संस्‍कार आज आदिवासी रीति रिवाज के साथ उनके पैतृक गांव में किया गया। उनके घर के समीप के बागीचे में शव दफना कर अंतिम संस्कार किया दिया। इस मौके पर पुलिस प्रशासन के द्वारा उन्हें गॉर्ड ऑफ ऑनर दिया गया और दो मिनट का मौन रखकर उनकी आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की गई। उनके अंतिम संस्कार में मिट्टी देने के लिए भरनो, सिसई, बेड़ो, गुमला, रांची, लोहरदगा, सिमडेगा, खूंटी समेत कई जिले और प्रखंड के ग्रामीण, गणमान्य, और सभी पार्टी के कार्यकर्ता हजारों की संख्या में शामिल हुए।

उनके पुत्र पूर्व आइजी सह भाजपा नेता डॉ. अरुण उरांव, बहु पूर्व शिक्षा मंत्री गीताश्री उरांव, सिसई विधान सभा के विधायक जिग्गा मुंडा, एसडीओ रवि आनन्द सहित हजारों की संख्या में लोगों ने अंतिम दर्शन कर श्रद्धा सुमन अर्पित किया। इससे पूर्व उनके अंतिम दर्शन करने के लिए क्षेत्र के लोग उमड़ पड़े। बंदी उरांव का रांची स्थित घर में निधन हो गया था। आज बुधवार को गुमला स्थित उनके पैतृक आवास में सुबह 8 बजे से ही लोगों का पहुंचना शुरू हो गया। राजनीतिक दल के कार्यकर्ता और ग्रामीण सहित उनके परिजन बसाईर टोली पहुंचे। यहां बंदी उरांव की छोटी बहन भादो उरांव अपने बड़े भाई का शव देखकर रो पड़ी। वहीं डॉ. अरुण उरांव भी अपने पिता के अंतिम दर्शन कर रो पड़े।

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