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बार में मर्डर से दहला रांची : पुलिस ने 14 लोगों को भेजा जेल, CCTV फुटेज से व्‍यवस्‍था की खुल रही पोल

बार में मर्डर रांची के एक्‍स्‍ट्रीम बार में डीजे की हुई हत्‍या के मामले सिलसिले में बार के संचालक मैनेजर बाउंसर समेत 14 लोगों को पुलिस ने जेल भेज दिया है। पुलिस सीसीटीवी फुटेज के आधार पर जांच कर रही है। डीजे संदीप प्रमाणिक पर गोली चलाने वाले अभिषेक सिंह को भी पुलिस ने पकड़ लिया है। आगे की जांच जारी है।

By prince kumar Edited By: Arijita Sen Updated: Wed, 29 May 2024 11:12 AM (IST)
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बार के कर्मचारी व मालिक को सदर अस्पताल से जांच कर जेल ले जाती हुई पुलिस
जागरण संवाददाता, रांची। Ranchi Bar Murder Case : रांची पुलिस ने एक्स्‍ट्रीम बार में डीजे संदीप प्रमाणिक की हत्या के बाद मंगलवार को 14 लोगों को जेल भेज दिया है। इसमें गोली मारने वाले मुख्य आरोपित अभिषेक सिंह, अभिषेक के पिता अशोक सिंह, बैंक मैनेजर प्रतीक, समीरुद्दीन और मुत्युंजय हैं। इसके अलावा बार के संचालक विशाल सिंह, तुषार कांती दास, अजीत कुमार, सुभम कुमार, गुड्डू, विशाल साहु, उदय शंकर सिंह, पंकज अग्रवाल और मनीष कुमार भी शामिल हैं।

बाउंसर ने की थी अभिषेक और उसके दोस्‍तों के साथ मारपीट

पुलिस का कहना है कि इस मामले में कई फुटेज मिले हैं। अब तक की जांच में स्पष्ट है कि बार में आरोपित अभिषेक और उसके दोस्तों के साथ बार संचालक, मैनेजर और बाउंसर ने मारपीट की थी। मारपीट के बाद अभिषेक और उसके दोस्तों को बार से भगा दिया गया था।

इसी बात को लेकर अभिषेक गुस्से में आ गया था और उसने डीजे की हत्या कर दी। जिस वक्त डीजे को गोली मारी गई बार में संचालक समेत चार लोग मौजूद थे। इस बात की जानकारी आरोपित अभिषेक को नहीं हुई।

पुलिस का कहना है कि जांच के दौरान बार के संचालक, बाउंसर और अन्य लोग दोषी पाए गए हैं। पुलिस अन्य पांच लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ कर रही है। अभिषेक को भागने में किसने मदद की थी इसकी जांच चल रही है।

रांची पहुंची मृतक की बहन ने कहा-दोषी को मिले कड़ी सजा

डीजे संदीप प्रमाणिक की हत्या की जानकारी उसकी बहन तृष्ठा प्रमाणिक को मिली तो वह घर के लोगों के साथ मंगलवार को चुटिया थाना पहुंची। वह रिम्स पहुंची और भाई का शव लेकर कोलकाता चली गई। बहन का कहना था कि दोषी को कड़ी से कड़ी सजा मिले।

मृतक की बहन के साथ चुटिया थाना की पुलिस और बार का एक मैनेजर भी रिम्स पहुंचा था। पुलिस और मैनेजर मृतक की बहन पर लगातार दबाव बना रहे थे और बयान देने से मना कर रहे थे। पुलिस और मैनेजर जल्द से जल्द संदीप के शव के साथ बहन को कोलकाता भेजने का प्रयास कर रहे थे।

संदीप की मौत के बाद मंगलवार को उसके कई डीजे दोस्त रिम्स पहुंचे थे। बहन पर दबाव बनाता देख कई डीजे ने इसका विरोध किया और रिम्स में हंगामा कर दिया। उनका आरोप था कि बार संचालक और पुलिस पूरे मामले को दबाने का प्रयास कर रही है। डीजे संदीप की हत्या होने के बाद कोई भी डीजे सोमवार को बार में नहीं गया था।

स्वीपर से डीजे बना था संदीप

मृतक संदीप प्रमाणिक के दोस्तों ने बताया कि सात साल पहले संदीप एक्सट्रीम बार में स्वीपर का काम करता था। बाद में वह कोलकाता चला गया। वहां डीजे की ट्रेनिंग लेने के बाद फिर से एक्सट्रीम बार में काम करने लगा।

इस बीच बार को सील कर दिया गया था। बीस दिन पहले ही बार फिर से खुला था। पिछले सात साल में जितने दिन भी एक्सट्रीम बार खुला रहा संदीप प्रमाणिक ने वहां काम किया।

आरोपितों ने कहा- पुलिस ने जबरन भेजा जेल

पुलिस बार के संचालक समेत नौ आरोपितों को जेल भेजने से पहले कोर्ट में लेकर पहुंची। वहां आरोपित हंगामा करने लगे। कुछ आरोपितों का कहना था कि वह बार में शराब पीने गए थे। मारपीट में वह शामिल भी नहीं थे। वह बार में ग्राहक के रूप में थे। इसके बाद भी पुलिस ने उन्हें जेल भेज दिया।

11 बजे बार बंद करने का है आदेश

शहर में सभी बार को रात 11 बजे बंद करने का आदेश दिया है। लेकिन बार संचालक इस नियम का पालन नहीं करते हैं। उन्हें पता रहता है कि पुलिस कोई कार्रवाई नहीं करेगी।

लोगों को साढ़े दस बजे तक बार में प्रवेश कराया जाता है। देर रात दो से तीन बजे तक लोग बार में मौजूद रहते हैं और धीरे-धीरे निकलते हैं। कई बार देखा गया है कि सड़क पर नशे की हालत में लोग हंगामा करते हैं।

बार में बाउंसरों को मनोबल इतना बढ़ा रहता है कि आए दिन लोगों के साथ बदसलूकी और मारपीट की जाती है। एक बार संचालक ने एक युवक का जबड़ा तोड़ दिया था।

बार संचालकों ने प्रवेश से पहले लोगों की जांच शुरू कर दी एक्सट्रीम बार में हुए वारदात के बाद अन्य बार संचालक सुरक्षा को लेकर अलर्ट हैं। संचालकों का कहना है कि वारदात न हो इसे लेकर सुरक्षा बढ़ाई गई है।

बार में बढ़ाई गई है सुरक्षा

राजधानी के काॅकटेल बार के संचालक बिजेंद्र बताते हैं कि जिस तरह से लोग बार के अंदर बंदूक लेकर प्रवेश कर जा रहे हैं उससे एक डर तो जरूर बैठ गया है। सुरक्षा को बढ़ाया गया है।

अगर कोई भी आर्म्स पाया गया तो उन्हें अंदर नहीं आने दिया जा रहा है। अगर बार के अंदर नशे में हल्ला-गुल्ला होता है तो उसे शांत कराया जाता है। प्रयास होता है कि किसी तरह की घटना न हो सके।

कोरोना के बाद जो गाइडलाइन जारी किया गया था उसमें छोटे बार को रात 12 बजे तक खुल सकते हैं। जबकि बड़े पंच सितारा बार रात एक बजे तक खोल सकते हैं। संचालक बताते हैं कि राजधानी में अधिकतर छोटे बार हैं और रात में कोई बड़ी घटना न घटे इसे देखते हुए लोगों का प्रवेश रात 10.30 बजे ही बंद कर दिया जाता है और रात 11 से साढ़े 11 बजे तक बार बंद कर देते हैं।

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