Jharkhand: राजीव रंजन IAS पर शिकंजा कसा, हाई लेवल कमेटी ने खंगालीं फाइलें...
Jharkhand Bureaucracy Rajeev Ranjan IAS झारखंड राज्य एड्स नियंत्रण समिति के तत्कालीन परियोजना निदेशक राजीव रंजन के विरुद्ध लगे आरोपों की जांच शुरू हो गई है। बुधवार को स्वास्थ्य विभाग की हाई लेवल कमेटी ने जेएसएसीएस के कार्यालय में पहुंचकर आरोप से जुड़ी फाइलों को खंगाला और पूछताछ की।
रांची, राज्य ब्यूरो। Jharkhand Bureaucracy, Rajeev Ranjan IAS स्वास्थ्य विभाग की कमेटी ने बुधवार को झारखंड राज्य एड्स नियंत्रण समिति के तत्कालीन परियोजना निदेशक राजीव रंजन के विरुद्ध लगे आरोप की जांच की। विभागीय समिति ने जेएसएसीएस के कार्यालय में पहुंचकर आरोप से जुड़ी फाइलों को खंगाला तथा अधिकारियों व अन्य कर्मियों से इस संबंध में पूछताछ की। कमेटी ने पूर्व में कार्यरत एनजीओ को हटाने, नए एनजीओ को बहाल करने, टेंडर तथा हाल के दिनों में हुई नियुक्ति के संबंध में पूरी जानकारी ली। इससे पहले कमेटी ने तत्कालीन परियोजना निदेशक से जांच के लिए संबंधित फाइल तलब की थी।
जांच टीम पूरी पड़ताल कर शीघ्र ही अपनी रिपोर्ट विभागीय सचिव को सौंप सकती है। यह जांच एक एनजीओ द्वारा की गई शिकायत के आलोक में मुख्य सचिव के निर्देश पर हो रही है। राष्ट्रीय एड्स नियंत्रण संगठन ने भी अनियमितता के संबंध में स्वास्थ्य विभाग से रिपोर्ट मांगी है। बता दें कि राज्य सरकार ने अनियमितता के मामले को गंभीरता से लेते हुए राजीव रंजन को परियोजना निदेशक के पद से हटा दिया है।
बता दें कि भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी राजीव रंजन IAS पर अनियमितता के गंभीर आरोप लगे हैं। झारखंड राज्य एड्स कंट्रोल सोसाइटी में एनजीओ चयन से लेकर नियुक्ति में गड़बड़ी तक में उनकी भागीदारी बताई जा रही है। उनपर बिना स्वास्थ्य सचिव के मंजूरी के मनमाने ढंग से 10 लाख रुपये खर्च करने का भी आरोप है। इसके अलावा उनके एक नजदीकी का पैसे के लेनदेन से जुड़ा ऑडियो भी वायरल हुआ था।
तमाम आरोपों को देखते हुए मुख्य सचिव सुखदेव सिंह के निर्देश पर स्वास्थ्य सचिव केके सोन ने मामले की जांच के लिए विद्यानंद झा और राजेश कुमार की दो सदस्यों की हाई लेवल कमेटी बनाई है। इस बीच एड्स सोसाइटी के सोशल मीडिया अकाउंट मैनेजर पर एफआइआर का आदेश देने और फिर कुछ घंटे बाद ही यह आदेश रद करने के आरोप भी राजीव रंजन आइएएस पर लगे हैं।