किसान के बेटे ने जुगाड़ से बना डाली बिजली, रोज पैदा कर रहा तीन किलोवाट
दुलमी प्रखंड के बेयांग गांव के 27 वर्षीय युवक केदार प्रसाद महतो ने अपने गांव में स्थित सेनेगड़ा नाला में तीन किलोवाट बिजली का उत्पादन कर लोगों को चौंका दिया।
By Alok ShahiEdited By: Updated: Tue, 03 Mar 2020 10:53 PM (IST)
रामगढ़, [तरुण बागी] । अच्छी सोच जज्बा के साथ मेहनत और लगन हो तो कुछ भी असंभव नहीं है। ऐसे ही रामगढ़ जिले के दुलमी प्रखंड अंतर्गत बेयांग गांव के 27 वर्षीय केदार प्रसाद महतो ने गांव के सेनेगड़ा नाला में दो किलोवाट बिजली उत्पादन अपने मेहनत व लगन से किया। इससे आसपास लोग देख चकित हो गए हैं। इसे देखने के लिए प्रतिदिन लोगों का भीड़ लग रही है। गोला प्रखंड के सेरेंगातु गांव निवासी किसान जानकी महतो के केदार बचपन से ही अपने ननिहाल दुलमी प्रखंड के बेयांग गांव में रहकर पढ़ाई-लिखाई कर रहा है।
मामा महेंद्र महतो राज्य प्रदूषण नियंत्रण विभाग से जेई के पद से सेवानिवृत होकर खेती-बाड़ी कर रहे है। केदार ने बताया कि आर्थिक तंगी के कारण मैं अपनी पढ़ाई पार्ट वन तक ही कर सका। एक छोटा प्रयोग के साथ बिजली उत्पादन के लिए 2004 से प्रयोग करना शुरू किया था। इसमें सबसे पहले साइकिल के पैडल के सहारे बिजली उत्पादन किया। फिर 2014-15 में हवा के सहारे बिजली पैदा करने में सफल रहा।
केदार के मुताबिक हवा से बिजली बनाने के बाद घर के नल से आने वाले पानी से उसने बिजली उत्पादन कर देखा तो सफलता करीब नजर आने लगी। तभी पिछले छह माह से थोड़ा बड़ा रूप देकर बिजली उत्पादन करने लक्ष्य रखा। इसमें दो किलोवाट की क्षमता वाली बिजली उत्पादन में अपने कड़ी मेहनत व लगन के बाद खुद के बूते और प्रयास से गांव के सेनगड़ा नाले में यंत्र स्थापित कर बिजली उत्पादन करने में सफलता हासिल कर ली है।
प्रयोग के तौर पर शुरू किए गए बिजली उत्पादन में फिलहाल तीन किलोवाट बिजली पैदा हो रही है। बताया अभी दो बल्ब जलाना शुरू किए है। इसमें 25-30 बल्ब जलने की क्षमता है। केदार का लक्ष्य है कि वह दो मेगावाट तक बिजली उत्पादन कर सके। दुलमी प्रखंड के बेयांग गांव के 27 वर्षीय युवक केदार प्रसाद महतो नेअपने गांव में स्थित सेनेगड़ा नाला में तीन किलोवाट बिजली का उत्पादन कर लोगों को चौंका दिया। प्रयोग के तौर पर शुरू किए गए बिजली उत्पादन में फिलहाल तीन किलोवाट बिजली पैदा हो रही है। बताया अभी दो बल्ब जलाना शुरू किया है। इसमें 25- 30 बल्ब जलने की क्षमता है। केदार ने बताया आर्थिक तंगी के कारण मैंने अपनी पढ़ाई बीएससी पार्ट वन तक ही की है। अब मेरा लक्ष्य दो मेगावाट तक बिजली उत्पादन करने का है।
रामगढ़ में किसान के बेटे ने नाले के पानी से किया 3 केवी बिजली उत्पादन केदार ने बताया कि उसने बिजली उत्पादन के लिए 2004 से प्रयोग करना शुरू किया था। इसमें सबसे पहले साइकिल के पैडल के सहारे बिजली उत्पादन किया। फिर 2014-15 में हवा से बिजली पैदा की। उसके बाद घर के नल के पानी से उत्पादन कर देखा तो वहां भी सफलता मिली। पिछले छह माह से इसे थोड़ा बड़ा रूप देकर बिजली उत्पादन करने का लक्ष्य रखा। इसमें तीन किलोवाट की क्षमता की बिजली के उत्पादन का लक्ष्य तय किया, जिसके लिए कड़ी मेहनत करनी पड़ी। इसके बाद मैंने गांव के सेनगड़ा नाले में यंत्र स्थापित कर बिजली उत्पादन करने में सफलता हासिल कर ली।
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