फंस गए गुरुजी! हेडमास्टर के कक्ष में गप्पे मार रहे थे शिक्षक, अचानक पहुंच गए अधिकारी; फिर जो हुआ...
Jharkhand Shiksha Vibhag झारखंड में शिक्षा व्यवस्था की हालत सुधारने के लिए अब शिक्षा विभाग लगातार पड़ताल कर रहा है। इस दौरान लगातार कमियां नजर आ रही है। मंगलवार को भी औचक निरीक्षण के दौरान गड़बड़ियां मिलने पर तीन स्कूलों के प्रधानाध्यापकों के खिलाफ पर गाज गिरी है। वहीं इस दौरान एक स्कूल में तो हेडमास्टर के कक्ष में शिक्षक गप्पें मारते नजर आए।
राज्य ब्यूरो, रांची। प्रयास सह प्रोजेक्ट इंपैक्ट की वस्तुस्थिति की पड़ताल करने को लेकर राज्य स्तरीय टीम का विभिन्न जिलों के स्कूलों में निरीक्षण मंगलवार को भी जारी रहा। निरीक्षण के क्रम में गड़बड़ियां पाए जाने पर तीन स्कूलों के प्रधानाध्यापकों के विरुद्ध कार्रवाई की अनुशंसा टीम ने की।
वहीं, एक स्कूल में शिक्षकों के प्रधानाध्यापक के कक्ष में गप्पें मारते पकड़े जाने पर स्कूल के प्रधानाध्यापक एवं 14 शिक्षकों के वेतन पर रोक लगाने की अनुशंसा की गई है। अनुशंसा मिलने के बाद झारखंड शिक्षा परियोजना परिषद ने प्रधानाध्यापक एवं शिक्षकों के वेतन पर रोक लगाने का आदेश जारी कर दिया।
15 दिनों में स्कूलों की स्थिति में सुधार लाने का निर्देश
समीक्षा के दौरान राज्य स्तरीय टीम ने शिक्षकों, प्रधानाध्यापकों और वार्डन को प्रोजेक्ट इंपैक्ट के अनुपालन में लापरवाही बरतने के मामले में फटकार लगाते हुए 15 दिनों के अंदर स्कूलों की स्थिति में सुधार लाने का निर्देश दिया।जिन स्कूलों के प्रधानाध्यापकों के विरुद्ध कार्रवाई की अनुशंसा भेजी गई है, उनमें जिला स्कूल दुमका, आरके माध्यमिक स्कूल, नाला, राजकीयकृत प्लस टू उच्च विद्यालय, भंडरिया, गढ़वा, प्लस टू हाई स्कूल, गिरिडीह सम्मिलित हैं। चारों स्कूलों के प्रधानाध्यापकों के विरुद्ध शोकाज नोटिस भी जारी किया गया है।
इसी तरह कार्य में लापरवाही बरतने और निर्देशों की अवहेलना करने के मामले में राजकीयकृत प्लस टू उच्च विद्यालय, भंडरिया (गढ़वा) के 14 शिक्षकों के वेतन को अगले आदेश तक रोकने की अनुशंसा टीम ने की है। औचक निरीक्षण के दौरान टीम ने इस स्कूल में शैक्षणिक कदाचार के मामले में प्रधानाध्यापक को दोषी पाया।
14 शिक्षकों एवं प्रभारी प्रधानाध्यापक के वेतन पर रोक
निरीक्षण के दौरान स्कूल में मौजूद सभी शिक्षक कक्षा संचालन के बजाय प्रभारी प्रधानाध्यापक के कक्ष में गप्पें मारते देखे गए। सिर्फ 12वीं कक्षा में उपस्थित केवल आठ छात्रों को एक शिक्षिका द्वारा पढ़ाया जा रहा था।
राज्य स्तरीय टीम ने सभी शिक्षकों के विरुद्ध अनुशासनहीनता की रिपोर्ट भेजी, जिसके बाद राज्य शिक्षा परियोजना द्वारा सभी 14 शिक्षकों एवं प्रभारी प्रधानाध्यापक के वेतन को अगले आदेश तक रोकने का आदेश जारी किया गया।इन शिक्षकों के विरुद्ध नियमानुसार विभागीय कार्रवाई भी सुनिश्चित करने का आदेश दिया गया है। इधर, राज्य परियोजना निदेशक आदित्य रंजन ने निरीक्षण मेें किसी प्रकार की नरमी नहीं बरतने के निर्देश सभी टीम को दिए हैं।
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