Milind Parande: वर्ष 2024 तक एक लाख गांवों में विहिप का होगा विस्तार, समर्थकों की संख्या एक करोड़
Vishwa Hindu Parishad विश्व हिंदू परिषद के अंतरराष्ट्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे ने स्वामी लक्ष्मणानन्द सरस्वती के हत्यारों की गिरफ्तारी की मांग की है। कहा कि वह हिंदुत्व के प्रचार प्रसार में लगे थे लेकिन साजिश के तहत उनकी हत्या कर दी गई। सरकार हत्यारों को शीघ्र गिरफ्तार करे।
रांची, जागरण संवाददाता। विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के केंद्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे ने कहा कि वर्ष 2024 तक देश के एक लाख गांवों तक विहिप का कार्य विस्तार हो जाएगा। उस समय तक विहिप के हित चिंतकों की संख्या भी एक करोड़ तक पहुंचाने का लक्ष्य है। उन्होंने हिंदुओं से विश्व हिंदू परिषद के स्थापना दिवस तथा स्वतंत्रता के अमृत महोत्सव के कार्यक्रमों में बड़ी संख्या में सम्मिलित होने का आह्वान किया। रविवार को कटक के विहिप कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत में परांडे ने जनजातीय समुदाय के बीच हिंदुत्व के प्रचार प्रसार में जुटे पूज्य स्वामी लक्ष्मणानंद सरस्वती के हत्यारों की अविलंब गिरफ्तारी की मांग की। कहा, वर्ष 2008 में 23 अगस्त को लक्ष्मणानंद सरस्वती की हत्या कर दी गई थी। किंतु उनके हत्यारों की अभी तक पहचान नहीं हुई है। इस मामले में जो जांच आयोग बनाए गए, उनकी रिपोर्ट भी अभी तक सार्वजनिक नहीं की गई है। उन्होंने ओडिशा सरकार से मांग की कि जल्द से जल्द रिपोर्ट सार्वजनिक करे।
पुतला दहन करने वालों की हो गिरफ्तारी
परांडे ने कहा कि लक्ष्मणानंद सरस्वती का बलिदान व्यर्थ नहीं होगा। विश्व हिंदू परिषद उनके संकल्प की सिद्धि में जुटी है। उन्होंने पुरी के शंकराचार्य निश्चलानंद सरस्वती का पुतला दहन करने तथा उनका अपमान करने वाले कम्युनिस्ट विचार से प्रेरित हिंदू द्रोहियों की गिरफ्तारी की मांग की।
15 नवंबर को जनजातीय गौरव दिवस मनाएं
परांडे ने कहा कि नौ अगस्त को मूल निवासी दिवस मनाने का भारत में कोई औचित्य नहीं है। भारत का जनजातीय समाज देश, धर्म, संस्कृति की रक्षा का व्रत लिए सदा शेष ङ्क्षहदू समाज के साथ मिलकर रहने का प्रयास करता रहा है। उन्होंने कहा कि भारतीयों को 15 नवंबर का दिन जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाना चाहिए। इस दिन भगवान बिरसा मुंडा की जयंती है।
मतांतरण पर सरकार रोक लगाए
परांडे ने कहा कि ओडिशा में बड़े पैमाने पर ईसाई मिशनरी मतांतरण के षड्यंत्रों में जुटी है। उन्होंने मांग की राज्य सरकार को तत्काल इस पर रोक लगानी चाहिए। साथ ही गोवंशियों पर ङ्क्षचता व्यक्त करते हुए उन्होंने कहा कि झारखंड के रास्ते पश्चिम बंगाल में होने वाली तस्करी पर भी तुरंत रोक लगाई जानी चाहिए।