सीएम सुखाड़ राहत योजना के लिए फिर लगाना होगा अंगूठा, नए किसानों को नए सिरे से अपनानी होगी पूरी प्रक्रिया
मुख्यमंत्री सुखाड़ राहत योजना के तहत 3500 रुपये प्राप्त करने के लिए आवेदन करने वाले किसानों को एक बार फिर प्रज्ञा केंद्र पहुंचकर अंगूठा लगाकर ई केवाईसी की प्रक्रिया पूरी करनी होगी। इसके लिए उन्हें प्रज्ञा केंद्र को किसी प्रकार की राशि का भुगतान नहीं करना होगा।
By Jagran NewsEdited By: Deepak Kumar PandeyUpdated: Sun, 27 Nov 2022 01:49 PM (IST)
जागरण संवाददाता, साहिबगंज: मुख्यमंत्री सुखाड़ राहत योजना के तहत 3500 रुपये प्राप्त करने के लिए आवेदन करने वाले किसानों को एक बार फिर प्रज्ञा केंद्र पहुंचकर अंगूठा लगाकर ई केवाईसी की प्रक्रिया पूरी करनी होगी। इसके लिए उन्हें प्रज्ञा केंद्र को किसी प्रकार की राशि का भुगतान नहीं करना होगा। वहीं फसल राहत योजना के तहत आवेदन करने से चूक गए लोग भी इसके लिए प्रज्ञा केंद्र में जाकर नए सिरे से आवेदन कर सकते हैं। इसके लिए टोकन मनी एक रुपये का भुगतान करना होगा। इसकी अंतिम तिथि 30 नवंबर 2022 है।
गौरतलब है कि इस साल बारिश नहीं होने से खरीफ की फसल नहीं हो पाई। जिले को सुखाड़ग्रस्त घोषित कर दिया गया है। प्रभावित किसानों को राज्य सरकार ने झारखंड राज्य फसल राहत योजना के तहत पोर्टल पर अपना-अपना निबंधन कराने को कहा था। निबंधन कराने के बाद जमीन का कागजात भी अपलोड करना था। इस क्रम में साहिबगंज जिले में फसल राहत योजना के तहत 81814 किसानों ने अपना निबंधन कराया। इनमें से 58333 किसानों ने अपना पूरा दस्तावेज पोर्टल पर अपलोड कर दिया। 23481 किसान अपना दस्तावेज अपलोड नहीं कर पाए। 16 सितंबर 2022 कागजात अपलोड करने की अंतिम तिथि थी। इसके बाद पोर्टल बंद कर दिया गया था।
सुखाड़ प्राकृतिक आपदा है। ऐसी स्थिति में इससे प्रभावित किसानों को केंद्र सरकार आर्थिक सहायता देगी। इसमें विलंब को देखते हुए राज्य सरकार ने सीएम सुखाड़ योजना के तहत 3500-3500 रुपया अग्रिम देने की घोषणा की है। इसका लाभ पाने के लिए फसल राहत योजना के तहत आवेदन करने वाले 58333 किसानों को फिर से अंगूठा लगाकर ई केवाईसी कराने को कहा गया है। जिन लोगों ने फसल राहत योजना के तहत निबंधन नहीं कराया या अपना कागजात अपलोड नहीं किया, उन्हें मुख्यमंत्री सुखाड़ योजना के तहत नए सिरे से निबंधन कराना होगा।
इस योजना का लाभ वैसे किसानों को मिलेगा जिन्होंने इस साल बुआई नहीं की है या जिसकी फसल 33 प्रतिशत से ज्यादा क्षति हो गई हो। किसान अपना आवेदन प्रज्ञा केंद्र में आनलाइन कराएंगे। वहां से वह हल्का कर्मचारी के लागिन में जाएगा। हल्का कर्मचारी आवेदन का सत्यापन कर अंचल निरीक्षक के लागिन में भेजेगा। अंचल निरीक्षक जांच कर कृषि पदाधिकारी के लाॅगिन में उसे भेजेगा। कृषि पदाधिकारी आवेदन का सत्यापन कर अनुमंडल पदाधिकारी के यहां भेजेंगे। अनुमंडल पदाधिकारी सत्यापन कर उपायुक्त के लागिन में भेजेंगे। उपायुक्त इस आवेदन को जिला आपदा प्रबंधन पदाधिकारी को भेज देंगे। जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकार आवेदन को स्वीकृत कर डीबीटी के लिए भेज देगा।
मामले में साहिबगंज के जिला कृषि पदाधिकारी सुबोध प्रसाद सिंह ने कहा कि जो किसान फसल राहत योजना के तहत आवेदन कर चुके हैं, वे सिर्फ प्रज्ञा केंद्र पर जाकर ई केवाईसी करा लें। जो किसान नए हैं, वह अपना आवेदन नए सिरे से करें। जांच-पड़ताल के बाद उनके खाता में सीएम सुखाड़ राहत योजना के तहत 3500 रुपये भेजे जा सकेंगे।
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