'सरकारी नोटिस तक नहीं मिला', ग्रामीणों ने कहा- एक सप्ताह में अधिग्रहण का मुआवजा नहीं मिला, तो सड़क निर्माण होगा बंद
Jharkhand News खरसावां के गुवाबेड़ा में भू-अधिग्रहण के बाद सड़क निर्माण का कार्य शुरू कर दिया गया है लेकिन अभी तक रैयतों को मुआवजा नहीं मिला है। इसे लेकर ग्रामीणों ने बैठक की जिसमें फैसला किया गया है कि रैयती भूमि का मुआवजा नहीं मिलने की स्थिति में सड़क का निर्माण कार्य बंद करा दिया जाएगा। ग्रामीणों की बैठक में खरसावां प्रखंड प्रमुख मनेंद्र जामुदा भी पहुंचे थे।
संवाद सूत्र, खरसावां। खरसावां के गुवाबेड़ा में ग्रामीणों ने बैठक कर सड़क निर्माण में भू-अधिग्रहण के एवज में उचित मुआवजे की मांग की है। ग्रामीणों ने रैयती भूमि का मुआवजा नहीं मिलने की स्थिति में सड़क का निर्माण कार्य बंद करने की बात कही। ग्रामीणों की बैठक में खरसावां प्रखंड प्रमुख मनेंद्र जामुदा भी पहुंचे थे।
रैयतों ने अपनी समस्या से प्रमुख को भी अवगत कराया। बैठक में ग्रामीणों ने बताया कि खरसावां के आमटू मोटू चौक से गुवाबेडा, पांडुवा, काशीपुर होते हुए बड़बिल चौक तक पथ निर्माण विभाग की ओर से करीब 10.9 किमी सड़क का चौड़ीकरण कर जीर्णोद्धार किया जा रहा है।
किसी को भी नहीं मिला मुआवजा
ग्रामीणों ने बताया कि यह खुशी की बात है कि लंबे अरसे के बाद इस सड़क का जीर्णोद्धार हो रहा है, परंतु यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि रैयतों को भू-अधिग्रहण का उचित मुआवजा समय पर मिले। ग्रामीणों ने बताया कि सड़क चौड़ीकरण कार्य में रैयती जमीन के भू-अर्जन के लिए नापी कर सड़क का निर्माण किया जा रहा है, लेकिन भू-अधिग्रहण के लिए अब तक किसी भी रैयत को सरकारी नोटिस तक नहीं मिला है।
फिर भी सड़क निर्माण कार्य प्रगति पर है। रैयतों को यह तक पता नहीं है कि इनका कितना जमीन जा रहा है। सिर्फ इतना बताया गया है कि जिन रैयतों का जमीन जा रही है, उन्हें मुआवजा मिलेगा। परंतु किसी भी रैयत को मुआवजा नहीं मिला है। कितना मुआवजा मिलेगा, यह भी नहीं बताया गया है। बैठक में ग्रामीणों ने बताया कि वे भी चाहते हैं कि सड़क बने, लेकिन रैयतों को समय पर सही मुआवजा मिले। जिन रैयतों को घर टूटेगा, उन्हें जमीन के साथ साथ घर का भी मुआवजा मिले।
सड़क का निर्माण कार्य बंद करने की बात क्यों कही?
बैठक के पश्चात ग्रामीण ग्राम प्रधान महेंद्र दिग्गी ने सड़क निर्माण के लिए किए जा रहे रैयती भूमि का भू-अधिग्रहण के एवज में रैयतों को उचित मुआवजा मिले। रैयती भूमि का मुआवजा नहीं मिलने की स्थिति में सड़क का निर्माण कार्य बंद करने की बात कही।
उन्होंने बताया कि ग्रामीणों की मांग को लेकर विभिन्न गांवों के ग्राम प्रधान व ग्रामीणों का हस्ताक्षर युक्त एक ज्ञापन तैयार किया गया है। जल्द ही जिला के अधिकारियों को ज्ञापन सौंपा जाएगा। बैठक में पहुंचे प्रमुख मनेंद्र जामुदा ने भी ग्रामीणों के मांगों को सरकार तक पहुंचाने की बात कही।