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झारखंड की इन सीटों पर मचा सियासी घमासान, JMM की दावेदारी के बाद खुल सकती है गठबंधन की गांठ

Jharkhand Politics गीता कोड़ा के भाजपा में जाने के बाद फिर से झामुमो सिंहभूम सीट पर दावा ठोक रही है। विधायक सुखराम उरांव ने कहा कि सिंहभूम सीट से झामुमो का स्वाभाविक दावा बनता है। कांग्रेस का मतलब ही इस क्षेत्र में कोड़ा दंपती रह गया था। अब उनके भाजपा में चले जाने से कांग्रेस के संगठन पर ही सवालिया निशान लग गया है।

By Dinesh Sharma Edited By: Shashank Shekhar Updated: Tue, 27 Feb 2024 05:48 PM (IST)
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झारखंड की इन सीटों पर मचा सियासी घमासान, JMM की दावेदारी के बाद खुल सकती है गठबंधन की गांठ
दिनेश शर्मा, चक्रधरपुर। कांग्रेस सांसद गीता कोड़ा के भाजपा में चले जाने के बाद एक बार फिर से झामुमो सिंहभूम संसदीय क्षेत्र की सीट पर दावा कर रही है। झामुमो जिलाध्यक्ष सह विधायक सुखराम उरांव ने दैनिक जागरण से बातचीत करते हुए कहा कि सिंहभूम संसदीय क्षेत्र से झामुमो का स्वाभाविक दावा बनता है। कांग्रेस का मतलब ही इस क्षेत्र में कोड़ा दंपती रह गया था। अब उनके भाजपा में चले जाने से कांग्रेस के संगठन पर ही सवालिया निशान लग गया है।

इससे पूर्व गुवा शहीद दिवस पर तत्कालीन सीएम हेमंत सोरेन के आगमन से उत्साहित झारखंड मुक्ति मोर्चा के नेता व कार्यकर्ता शक्ति प्रदर्शन कर सिंहभूम संसदीय क्षेत्र से अपनी मजबूत दावेदारी पेश कर चुके हैं। एक ओर जहां राष्ट्रीय फलक पर इंडी गठबंधन नामकरण के साथ-साथ एका के लिए पुरजोर कोशिश जारी है। वहीं, सिंहभूम संसदीय क्षेत्र में गठबंधन के दो बड़े दल झामुमो व कांग्रेस गठबंधन की गांठ खोलने पर उतारू दिख रहे हैं।

झामुमो और कांग्रेस में रस्साकशी जारी 

कुछ माह पूर्व झामुमो के जिला सम्मेलन में पहली बार सिंहभूम संसदीय क्षेत्र से पार्टी प्रत्याशी उतारने का दावा किया गया था। इसके बाद से ही स्थानीय स्तर पर झामुमो और कांग्रेस में रस्साकशी चल रही है। कांग्रेस द्वारा जहां यह कहा जा रहा है कि सीटों पर फैसला आलाकमान को करना है। वहीं, झामुमो द्वारा संसदीय क्षेत्र से पार्टी के पांच विधायक होने व पार्टी के सबसे मजबूत स्थिति में होने का दावा किया जा रहा है।

हाल के दिनों में जिले के विभिन्न प्रखंडों में आयोजित कार्यक्रमों में भी सिंहभूम संसदीय सीट को लेकर झामुमो खेमा बेहद मुखर रहा है। वहीं, कांग्रेस कार्यकर्ताओं की ओर से जगन्नाथपुर समेत अन्य विधानसभा सीटों पर दावा कर दोनों दलों के बीच दूरियां बढ़ा दी है। झामुमो कार्यकर्ता यह भी दावा कर रहे हैं कि कांग्रेस सांसद ने अपने का कार्यकाल में जनसंपर्क बेहद कमजोर रखा।

झामुमो के सभी प्रखंड कमेटियां भी लोकसभा चुनाव को लेकर जोरशोर से तैयारियों में जुटी हैं। पार्टी के सभी विधायक भी इस मसले को लेकर एकजुट हैं। अब देखना यह है कि सीटों के बंटवारे पर गठबंधन के शीर्ष नेता क्या फैसला लेते हैं।

सिंहभूम संसदीय क्षेत्र पर झामुमो का स्वाभाविक दावा बनता है। झामुमो इस सीट से चुनाव लड़ेगी और हम भारी मतों के अंतर से चुनाव जीतेंगे। -सुखराम उरांव, जिलाध्यक्ष सह विधायक, झामुमो

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