Covid-19 & Lungs: ये 5 लक्षण बताते हैं कि आपके फेफड़े कोविड से रिकवर नहीं हुए हैं
Covid-19 Lungs कोविड संक्रमण सिर्फ बुखार और सर्दी-खांसी तक सीमित नहीं है बल्कि यह फेफड़ों को भी बुरी तरह से नुकसान पहुंचा सकता है। अगर आपको भी हाल ही में कोविड हुआ था जो फेफड़ों से जुड़ी इन लक्षणों पर भी नजर बनाए रखें।
By Ruhee ParvezEdited By: Ruhee ParvezUpdated: Wed, 19 Apr 2023 06:34 PM (IST)
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। Covid-19 & Lungs: कोरोना वायरस के मामले फिर बढ़ रहे हैं। भले ही इस बार रिकवरी पहले से कहीं जल्दी हो रही है, लेकिन फिर भी कई लोगों के फेफड़ें भी प्रभावित हो रहे हैं। अगर आप भी हाल ही में कोविड से ठीक हुए हैं, तो अपने फेफड़ों की सेहत को नजरअंदाज करने की गलती न करें।
कोविड-19 बनता है फेफड़ों के लिए खतरा
कोविड-19 इन्फेक्शन से रिकवर होने के बावजूद, मरीजों में इस बीमारी की आफ्टर इफेक्ट्स देखे जाते हैं। इस महामारी में कई लोगों के फेफड़ों को बुरी तरह से नुकसान पहुंचा है। कुछ लक्षण इतने गंभीर थे कि उन्हें ठीक करना नामुमकिन साबित हुआ। हालांकि, स्टडीज बताती हैं कि फेफड़ों को पहुंचा यह नुकसान समय के साथ सुधर भी सकता है। अगर आप भी हाल ही में कोविड संक्रमण से रिकवर हुए हैं, तो इन लक्षणों पर नजर रखें, जो बताते हैं कि आपके फेफड़े अभी भी प्रभावित हैं।
सांस लेने में दिक्कत
अगर कोविड से रिकवरी के बाद भी आपको सांस लेने में दिक्कत होती है, तो दिल और फेफड़ों की जांच करवानी चाहिए। इसके लिए आप पल्मोनरी फंक्शन टेस्ट (PFT), एकोकार्डियोग्राम, सीने का एक्स-रे या स्टेंडर्ड एक्टिविटी टेस्ट करवा सकते हैं।फेफड़ों में पानी भरना
कोविड-19 संक्रमण के बाद कई मरीजों के फेफड़ों में ज्यादा तरल पदार्थ अक्सर भर जाता है, जिससे सांस लेना मुश्किल हो जाता है। बीमारी के शुरुआती चरण में, प्रोटीन फ्लूएड लीक होकर फेफड़ों में भर जाता है।
निमोनिया
कोविड-19 की वजह से निमोनिया होने पर फेफड़ों को कुछ समय के लिए नुकसान पहुंचता है, जो किसी भी श्वसन संक्रमण में होता है। जब यह नुकसान गंभीर हो जाता है, तो इसकी रिकवरी भी धीमी पड़ जाती है। डाटा यह भी बताता है कि संक्रमण के एक साल बाद भी एक तिहाई मरीजों के एक्स-रे या फेफड़ों के टेस्ट में स्कारिंग दिखती है।सीओपीडी
COVID के पल्मोनरी लक्षण ग्राउंड ग्लास के समान हो सकते हैं। ऐसी एक्सरसाइज जो सांस लेने को बेहतर बनाती हैं, सीओपीडी में मदद कर सकती हैं। इससे फेफड़ों से बलगम और दूसरे तरल पदार्थ साफ हो जाते हैं। जिससे सांस बेहतर तरीके से ली जा सकती है।