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Fried Food Side Effects: खाने में मज़ेदार लगने वाली तली-भुनी चीज़ें बना सकती हैं आपको कई बीमारियों का शिकार

Fried Food Side Effects अगर आप बहुत ज्यादा तला भुना खाते हैं तो ये सिर्फ मोटापे की ही वजन नहीं बनता बल्कि इससे आप और कई गंभीर समस्याओं का शिकार हो सकते हैं। डायबिटीज हाई ब्लड प्रेशर के साथ बढ़ने लगता है बैड कोलेस्ट्रॉल।

By Priyanka SinghEdited By: Priyanka SinghUpdated: Mon, 15 May 2023 07:56 AM (IST)
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Fried Food Side Effects: तला-भुना खाने से सेहत को होने वाली दिक्कतें
नई दिल्ली,  लाइफस्टाइल डेस्क। Fried Food Side Effects: थोड़ा सा भी ठंडा मौसम हो, तो मन करता है कि चाय की चुस्कियों के साथ गरमागरम आलू समोसा या पकौड़ियां खाई जाएं। लेकिन क्या तली हुई चीज़ें आपकी सेहत के लिए सही हैं? तले हुए भोजन में अन्य फूड्स के मुकाबले कैलरी की अधिक मात्रा मौजूद होती है। कैलरी के साथ-साथ फैट्स की मात्रा भी काफी ज्यादा होती है, जो आपके कैलरी इनटेक को बढ़ाकर मोटापे और अन्य बीमारियों का कारण बन सकती है। बच्चों को शुरुआती दौर से ही तले हुए खाने से दूर रखें। इस लेख के जरिए जानें कि फ्राइड फूड खाने से क्या-क्या दिक्कतें हो सकती हैं।

कैंसर का खतरा

एक्रिलामाइड हानिकारक पदार्थ है, जो अधिकतर फ्राइड फूड में पाया जाता है। एक्सपर्ट्स के अनुसार, एक्रिलामाइड युक्त फूड्स का सेवन करने से कैंसर जैसी गंभीर बीमारियां हो सकती हैं इसलिए भी तला खाना खाने से मना किया जाता है। यह आपका वजन तो बढ़ाएगा ही, साथ ही आपको बीमार भी बनाते हैं।

डायबिटीज का खतरा

फ्राडड फूड में अनहेल्दी ट्रांसफैट बहुत ज्यादा मात्रा में होता है, जिसे ब्रेकडाउन करना और पचाना शरीर के लिए बहुत मुश्किल होता है। यह शरीर में जहर का काम करता है। खाने को तेल में पकाने से ट्रांसफैट बढ़ता है, जिससे डायबिटीज जैसी कई बीमारियों का शिकार हो सकते हैं।

मोटापा बढ़ना

हेल्थ एक्सपर्ट्स के अनुसार, फ्राइड फूड का ज्यादा सेवन करने से आप अनियंत्रित ब्लड प्रेशर और हाई कोलेस्ट्रॉल लेवल से घिर सकते हैं। फ्राइड फूड टाइप-2 डायबिटीज, मोटापा और दिल से जुड़ी बीमारियों का कारण बनता है।

गैस/एसिडिटी/ब्लोटिंग

तले हुए भोजन में फैट ज्यादा होता है, जो पेट और आंत की अंदरूनी परत पर जमा हो जाता है। इसके कारण भोजन को पचने में ज्यादा समय लगता है। इससे खाने के बाद सीने में जलन, एसिडिटी, एसिड रिफ्लक्स जैसी समस्याएं हो सकती हैं।

बैड कोलेस्ट्रॉल/हार्ट प्रॉब्लम्स

तले-भुने भोजन में आमतौर पर सैचुरेटेड और ट्रांसफैट पाए जाते हैं। इन्हें खाने से एचडीएल (गुड कोलेस्ट्रॉल) का स्तर घटता है और ब्लड में एलडीएल (बैड कोलेस्ट्रॉल) का लेवल बढ़ता है। इसके कारण एथेरोक्लेरोसिस, हार्ट प्रॉब्लम और हार्ट अटैक जैसी गंभीर बीमारियां हो सकती हैं।

बैली फैट बढ़ना

तले हुए भोजन में ज्यादा वसा और कैलरी के अलावा नमक और शुगर की मात्रा भी पाई जाती है। इस तरह के खाद्य पदार्थ को पचाने में पाचन तंत्र को ज्यादा काम करना पड़ता है, जो आपके बैली फैट को और ज्यादा बढ़ा सकता है।

भारीपन/आलस

फ्राइड फूड खाने के बाद भारीपन, आलस और सुस्ती महसूस होती है। इसी के साथ कई घंटों तक आपको ब्लोटिंग से भी गुजरना पड़ सकता है।

डिप्रेशर/मूड स्विंग्स

आहार में जरूरी पोषक तत्वों को शामिल नहीं करने और अनहेल्दी फूड खाने से कई हार्मोनल बदलाव होते हैं। जिसके कारण व्यवहार में परिवर्तन, मूड स्विंग्स और डिप्रेशन भी हो सकता है।

एलर्जी

किसी भी भोजन को जितना लंबे समय तक तला जाता है, वह उतना ही हानिकारक होता जाता है। इसका सेवन करने के बाद शरीर पर खुजली और एलर्जी भी हो सकती है।

Pic credit- freepik 

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