आपकी ये आदतें बन सकती हैं आपकी gut health के लिए नुकसानदेह, जानें कैसे कर रखें इसका ख्याल
स्वस्थय रहने के लिए हमारे शरीर के सभी अंगों का हेल्दी होना जरूरी है। इनमें हमारी गट हेल्थ भी शामिल है। इन्हें हेल्दी रखना बहुत जरूरी है। हालांकि हमारी लाइफस्टाइल की वजह से हमारी गट हेल्थ पर बुरा प्रभाव पड़ता है। इस वजह से हेल्दी लाइफस्टाइल फॉलो करना जरूरी है। जानें कैसे बना सकते हैं अपनी गट हेल्थ को बेहतर।
By Swati SharmaEdited By: Swati SharmaUpdated: Thu, 23 Nov 2023 12:06 PM (IST)
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। Healthy Guts: हेल्दी गट्स यानी गैस्ट्रोइंटेस्टाइन बिल्कुल तंदुरुस्त हैं और हमारे पाचन तंत्र में कोई परेशानी नहीं है। हमारी गट हेल्थ हमारे पूरे शरीर को प्रभावित करती है। इसलिए हेल्दी गट का होना बहुत जरूरी है। हमारी खान-पान और रहन-सहन की आदतों का असर हमारी गट हेल्थ पर भी पड़ता है और इस वजह से यह खराब हो सकती है। हमारी लाइफस्टाइल में कुछ बदलाव कर, हम अपनी आंतों का ख्याल रख सकते हैं। आइए जानते हैं, किन तरीकों से हम अपनी गट हेल्थ को तंदुरुस्त रख सकते हैं।
प्रोबायोटिक्स से भरपूर खाना
प्रोबायोटिक्स हमारे गट में मौजूद गुड बैक्टीरियाज के लिए बहुत आवश्यक होते हैं। यह आपकी इंटेस्टाइन में होने वाली बीमारियों से भी रक्षा करने में मदद करते हैं। प्रोबायोटिक्स फर्मेंटेड फूड आइटम्स में पाए जाते हैं, जिन्हें अपनी डाइट में शामिल करने से आपकी गट हेल्थ बेहतर रहेगी। ये फर्मेंटेड फूड आइटम जैसे दही, किमची, कंबूचा आदि में पाए जाते हैं।
यह भी पढ़ें: बढ़ता वजन बन गया है परेशानी की वजह, तो वेट लॉस के लिए खाएं ये हेल्दी ब्रेकफास्ट
प्रोसेसड फूड्स न खाएं
प्रोसेसड फूड्स हमारी गट में पाए जाने वाले बैक्टीरिया के लिए हानिकारक होते हैं। इनसे बैड बैक्टीरिया की मात्रा बढ़ती है, जिनकी वजह से पाचन में तकलीफ, गट इंफ्लेमेशन जैसी परेशानियां हो सकती है। लेकिन हमारी लाइफस्टाइल ऐसी हो चुकी है कि हम काफी मात्रा में प्रोसेसड फूड्स खाते हैं। प्रोसेसड फूड्स में केक, रेडी मेड सीरियल्स, हैम, सालामी आदि शामिल हैं। इसलिए कोशिश करें कि इन्हें कम से कम अपनी डाइट में शामिल करें।स्ट्रेस कम करें
हमारे बिजी लाइफस्टाइल की वजह से हम अक्सर अपनी मेंटल हेल्थ पर ध्यान नहीं देते। जिस वजह से स्ट्रेस और एंग्जायटी की समस्या हो सकती है। स्ट्रेस की वजह से हमारे पाचन पर बुरा प्रभाव पड़ता है। स्ट्रेस और एंग्जायटी की वजह से मितली आना, पेट दर्द, एसिडिटी जैसी परेशानियां हो सकती हैं। इसलिए स्ट्रेस मैनेज करने की कोशिश करें। योग, मेडिटेशन, जर्नलिंग आदि स्ट्रेस को कम करने में मददगार हो सकते हैं।
फाइबर से भरपूर खाना
फाइबर खाने के पाचन और अब्जॉर्प्शन की प्रक्रिया के लिए बहुत जरूरी है। फाइबर की वजह से खाना हमारे इंटेस्टाइन में आसानी से मूव कर पाता है और इस वजह से पाचन से जुड़ी समस्याएं जैसे कब्ज आदि होने का खतरा कम होता है। इसलिए, अपनी डाइट में फाइबर से भरपूर खाने को शामिल करें। होल ग्रेन, दाल, नट्स, सीड्स आदि में फाइबर काफी मात्रा में पाए जाते हैं।