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Shreyas Talpade Heart Attack: किन वजहों से आता है हार्ट अटैक, जानें क्या हैं इसके कारण और रिस्क फैक्टर्स

सर्दियां आते ही हार्ट अटैक के मामले तेजी से बढ़ने लगते हैं। हाल ही में बॉलीवुड अभिनेता श्रेयस तलपड़े (Shreyas Talpade Heart Attack) हार्ट अटैक का शिकार हुए जिसके बाद उनकी एंजियोप्लास्टी (Angioplasty) कराई गई। बीते कुछ समय से देशभर में हार्ट अटैक (heart attack) के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। ऐसे में आज जानते हैं इसके मुख्य कारण (heart attack causes) और रिस्क फैक्टर-

By Harshita SaxenaEdited By: Harshita SaxenaUpdated: Sat, 16 Dec 2023 10:14 AM (IST)
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क्या आप जानते हैं हार्ट अटैक का कारण
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। सर्दियां आते ही हार्ट अटैक के मामलों में भी तेजी आ जाती है। हाल ही में जाने-माने बॉलीवुड अभिनेता श्रेयस तलपड़े हार्ट अटैक का शिकार हुए। इन दिनों तेजी से बदलती लाइफस्टाइल लोगों को कई समस्याओं का शिकार बना देती हैं। दिल से जुड़ी बीमारियां इन्हीं में से एक है, जिससे इन दिनों कई लोग परेशान है। बीते कुछ समय से देशभर में हार्ट अटैक (heart attack) के मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं। बड़े-बुजुर्ग ही नहीं, अब तो युवा भी तेजी से इसका शिकार बन रहे हैं। 

सिर्फ एक्टर श्रेयस ही नहीं, ब्राजील के गॉस्पल सिंगर पेड्रो हेनरिक की भी लाइव परफॉर्मेंस के बीच हार्ट अटैक से मौत हो गई। इस तरह की खबरों के सामने आते ही एक बार फिर हार्ट हेल्थ को लेकर लोगों की चिंता काफी बढ़ गई है। ऐसे में सवाल यह उठता है कि आखिर क्या वजह है, जो युवा तेजी से हार्ट अटैक का शिकार होते जा रहे हैं। ऐसे आज इस आर्टिकल में हम जानेंगे हार्ट अटैक के मुख्य कारणों (heart attack causes) और इसके कुछ रिस्क फैक्टर्स के बारे में-

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क्या है हार्ट अटैक?

मायो क्लिनिक के मुताबिक, हार्ट अटैक, जिसे दिल का दौरा भी कहा जाता है, तब पड़ता है जब दिल तक खून और ऑक्सीजन भेजने वाली आर्टरी ब्लॉक हो जाती है। समय के साथ फैट और कोलेस्ट्रॉल जमा हो जाता है, जिससे हार्ट की आर्टरीज में प्लाक बन जाता है। अगर प्लाक फट जाए तो खून का थक्का बन सकता है। यह थक्का आर्टरीज को ब्लॉक कर सकता है, जिससे दिल का दौरा पड़ सकता है। दिल के दौरे के दौरान,ब्लड फ्लो की कमी के कारण दिल की मांसपेशियों के टिशूज नष्ट हो जाते हैं।

हार्ट अटैक के कारण क्या है?

कोरोनरी आर्टरी डिजीज (सीएडी) दिल के दौरे का मुख्य कारण है। इसके अलावा एक कम सामान्य कारण कोरोनरी आर्टरी में गंभीर ऐंठन या अचानक सिकुड़न है, जो हृदय की मांसपेशियों में खून के प्रवाह को रोक सकता है। इसके अलावा निम्न कारणों से भी दिल का दौर पड़ सकता है।

कोरोनरी आर्टरी डिजीज

एनआईएच के मुताबिक दिल का दौरा पड़ने का सबसे आम कारण कोरोनरी आर्टरी डिजीज है, जो हार्ट डिजीज का सबसे आम प्रकार है। यह तब होता है जब आपकी कोरोनरी आर्टरीज आपके दिल की मांसपेशियों तक पर्याप्त ऑक्सीजन युक्त खून नहीं पहुंचा पाती हैं। ज्यादातर समय, कोरोनरी आर्टरी डिजीज तब होता है, जब प्लाक नामक एक मोम जैसा पदार्थ आपकी आर्टरीज के अंदर जमा हो जाता है, जिससे यह सिकुड़ जाती हैं। इस प्लाक के निर्माण को एथेरोस्क्लेरोसिस कहा जाता है। हालांकि, सभी हार्ट अटैक एथेरोस्क्लेरोसिस के कारण नहीं होते हैं। इसके कुछ अन्य कारण भी हो सकते हैं।

स्मॉल प्लाग

आपकी आर्टरीज में स्मॉल प्लाग आपके ब्लड वेसल्स को ब्लॉक नहीं कर सकती हैं, लेकिन यह उनकी बाहरी परत को खराब या तोड़ सकते हैं। इससे इन प्लाक पर खून के थक्के बन सकते हैं। खून के थक्के आपकी कोरोनरी आर्टरीज के जरिए ब्लड फ्लो में रुकावट पैदा सकते हैं। छोटे प्लाक का निर्माण महिलाओं, धूम्रपान करने वाले लोगों और अन्य ब्लड वेसल संबंधी समस्याओं वाले लोगों में ज्यादा आम है।

कोरोनरी आर्टरीज में ऐंठन

आपकी कोरोनरी धमनी (आर्टरी) में अचानक और गंभीर ऐंठन (कसने) से आपकी धमनी में रक्त का प्रवाह रोक सकता है, भले ही वहां प्लाक का निर्माण न हुआ हो। धूम्रपान कोरोनरी ऐंठन के लिए एक जोखिम कारक है। अगर आप धूम्रपान करते हैं, तो अत्यधिक ठंड या बहुत तनावपूर्ण स्थितियों के कारण आपको ऐंठन होने की अधिक संभावना हो सकती है। साथ ही कोकीन जैसी दवाएं भी कोरोनरी ऐंठन का कारण बन सकती हैं।

कोरोनरी आर्टरी एम्बोलिज्म

यह तब होता है जब खून का थक्का आपके ब्ल फ्लो से गुजरता है और आपकी कोरोनरी आर्टरी में फंस जाता है। यह आपकी धमनी के जरिए रक्त प्रवाह को ब्लॉक कर सकता है। यह उन लोगों में ज्यादा आम है, जिन्हें एट्रियल फिब्रिलेशन या ऐसी स्थितियां हैं जो खून के थक्कों के जोखिम को बढ़ाती हैं, जैसे थ्रोम्बोसाइटोपेनिया या गर्भावस्था।

स्पॉन्टेनियस कोरोनरी आर्टरी डिस्सेक्शन (SCAD)

यह स्थिति तब होती है, जब आपकी कोरोनरी आर्टरी के अंदर एक फट जाती है और इसकी वजह से खून का थक्का बन सकता है या फटा हुआ टिशूज ही आपकी धमनी को ब्लॉक कर सकता है। एससीएडी तनाव, अत्यधिक शारीरिक गतिविधि और गर्भावस्था के कारण हो सकता है। यह स्थिति उन महिलाओं में ज्यादा आम हैं, जो 50 वर्ष से कम उम्र की हैं या गर्भवती हैं और जिन्हें मार्फन सिंड्रोम है।

हार्ट अटैक के रिस्क फैक्टर्स

तेजी से बदलती लाइफस्टाइल कई बीमारियों का खतरा बढ़ा रही है। हार्ट अटैक से साथ ही ऐसा ही कुछ है। कुछ जोखिम कारक हार्ट अटैक की संभावना बढ़ाते हैं, जिनमें से कुछ निम्न हैं-

  • अनहेल्दी डाइट
  • नियमित शारीरिक गतिविधि की कमी
  • स्मोकिंग
  • हाई ब्लड कोलेस्ट्रॉल
  • हाई ब्लड प्रेशर या प्रीक्लेम्पसियाबाहरी लिंक (गर्भावस्था के दौरान हाई बीपी)
  • हाई ब्लड शुगर या डायबिटीज
  • हाई ब्लड ट्राइग्लिसराइड्स
  • अधिक वजन और मोटापा
  • हृदय रोग का पारिवारिक इतिहास
अगर आपके अंदर इनमें से तीन या अधिक स्थितियां हैं, जो हृदय रोग के जोखिम को बढ़ाती हैं, तो इसे मेटाबोलिक सिंड्रोम कहा जाता है। इससे आपको दिल का दौरा पड़ने का खतरा काफी बढ़ जाता है।

क्या कहते हैं एक्सपर्ट

नई दिल्ली एम्स के पूर्व सलाहकार और SAAOL हार्ट सेंटर के निदेशक डॉ. बिमल छाजेर कहते हैं कि दिल के दौरे के कई कारण हो सकते हैं, लेकिन ज्यादातर यह कोरोनरी आर्टरी डिजीज (सीएडी) के कारण होता है, जिसमें आर्टरीज में प्लाक जमने से ब्लड वेसल्स सिकुड़ जाती है। इसके अलावा यह खून के थक्कों और ऐंठन से होता है, जो हृदय की सामान्य रूप से काम करने की क्षमता को खराब कर सकता है।

डॉक्टर आगे कहते हैं कि कुछ जोखिम कारकों के कारण दिल का दौरा पड़ने की संभावना बढ़ जाती है। एथेरोस्क्लेरोसिस अस्वास्थ्यकर खाने की आदतों का परिणाम है जिसमें ज्यादा मात्रा में प्रोसेस्ड और ट्रांस फैट शामिल है। धूम्रपान ब्लड आर्टरीज को नुकसान पहुंचाता है और एथेरोस्क्लेरोसिस की शुरुआत को तेज करता है। साथ ही डायबिटीज, हाई बीपी और हार्ट डिजीज का पारिवारिक इतिहास की वजह से जोखिम और भी बढ़ जाता है।

ऐसे रखें दिल का ख्याल

दिल की सेहत दुरुस्त रखने के बारे में बात करते हुए डॉ.बिमल रहते हैं कि हृदय स्वास्थ्य में सुधार के लिए नियमित व्यायाम के साथ-साथ फलों, सब्जियों और साबुत अनाज से भरपूर संतुलित आहार को अपनाना जरूरी है। इसके अलावा धूम्रपान छोड़ना, तनाव को नियंत्रित करना और स्वस्थ वजन बनाए रखना शामिल है। साथ ही जब ब्लड प्रेशर और कोलेस्ट्रॉल की नियमित निगरानी की जानी चाहिए और शराब के परहेज करने से दिल को सेहतमंद बनाने में मदद मिलेगी।

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Disclaimer: लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।

Picture Courtesy: Freepik

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