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टीनएजर्स के फोकस और मेंटल ग्रोथ पर असर डालता है इंटरनेट, जानें ब्रेन हेल्थ पर इसके हानिकारक प्रभाव

इन दिनों लोगों का जीवन इंटरनेट से घिरा हुआ है। हर छोटे-बड़े काम के लिए लोग इंटरनेट की मदद लेते हैं। इसका इस्तेमाल इस कदर बढ़ चुका है कि छोटे बच्चों से टीनएजर्स तक इसका इस्तेमाल करने लगे हैं। यही वजह है कि आजकल टीनएजर्स को Internet Addiction हो गया है जिसका असर उनके ब्रेन हेल्थ पर भी नजर आने लगा है।

By Jagran News Edited By: Harshita Saxena Updated: Thu, 18 Jul 2024 12:42 PM (IST)
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टीनएजर्स की हेल्थ पर बुरा असर डालता इंटरनेट (Picture Credit- Freepik)
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। मौजूदा समय में टेक्नोलॉजी हमारे जीवन का एक अहम हिस्सा बन चुकी है। यही वजह है कि हम 24 घंटे विभिन्न तकनीकों से घिरे रहते हैं। मोबाइल और इंटरनेट तकनीक के ऐसे ही दो नमूने हैं, जिनके इर्द-गिर्द हम अपना ज्यादातर समय बिताते हैं। इन दिनों छोटे बच्चे से लेकर टीनएजर तक, सभी सोशल मीडिया और सोशल नेटवर्किंग साइट्स के एडिक्ट हो चुके हैं। इंटरनेट की यह लत पेरेंट्स के लिए एक बड़ा चैलेंज बनती जा रही है। खासकर टीनएजर्स के साथ इसे डील करना काफी मुश्किल होता है।

उम्र के इस पड़ाव पर बच्चे कई प्रकार के हार्मोनल परिवर्तन से गुजर रहे होते हैं। ऐसे में किसी भी तरह की सख्ती और रोकटोक उन्हें आक्रामक या बागी बना सकती है। चाइल्ड माइंड इंस्टीट्यूट की एक रिपोर्ट के अनुसार आज के समय में टीन इंटरनेट एडिक्शन पेरेंट्स के लिए किसी ड्रग एडिक्शन से भी खतरनाक है। ऐसे में आज इस आर्टिकल में जानेंगे कैसे आपके बच्चे के दिमाग पर असर डालती है इंटरनेट की लत और कैसे करें इसे मैनेज-

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इंटरनेट के ब्रेन पर हानिकारक प्रभाव

चाइल्ड माइंड इंस्टीट्यूट की एक रिपोर्ट के मुताबिक टीनएजर एक दिन में लगभग 4.4 घंटे इंटरनेट पर बिताते हैं। इस दौरान एक से दो घंटे तक इंटरनेट के इस्तेमाल का सेहत पर कोई खास प्रभाव नहीं पड़ता है, लेकिन अगर इससे ज्यादा इंटरनेट का इस्तेमाल किया जाए, तो इससे सेहत पर कई रूप में नकारात्मक प्रभाव देखने को मिलते हैं।

फोकस कम करता है इंटरनेट

PLOS मेंटल हेल्थ में पब्लिश एक रिव्यू के अनुसार 10 से 19 साल के टीनएजर पर साल 2019 से 2023 तक एक शोध किया गया, जिसमें ज्यादा इंटरनेट के इस्तेमाल से टीनएजर के ब्रेन फंक्शन में कई बदलाव पाए गए। इस शोध में सामने आए डाटा से इनकी तुलना इंटरनेट एडिक्शन न होने वाले टीनएजर के ब्रेन से की गई और पाया गया कि इंटरनेट का ज्यादा इस्तेमाल करने वाले लोगों के फोकस और काम करने की क्षमता, बौद्धिक विकास और मानसिक स्वास्थ्य में कमी पाई गई।

टीनएजर पर इंटरनेट के अन्य प्रभाव

काम को आसान बनाने के लिए ईजाद हुए इंटरनेट के अपने कई फायदे हैं, लेकिन एक टीनएजर के लिए इसका ज्यादा इस्तेमाल उनके लिए हानिकारक साबित हो सकता है। इंटरनेट एडिक्शन की वजह से कई बार टीनएजर साइबर बुलिंग का शिकार भी होते हैं। साथ ही सोशल मीडिया की चकाचौंध भरी जिंदगी देखकर वह अपने जीवन में कमियां तलाशने लगते हैं। इसके अलावा इंटरनेट एडिक्शन से टीनएजर की एकेडमिक परफॉर्मेंस भी प्रभावित होती है। लगातार सोशल मीडिया या गेम्स में अपना समय बिताने की वजह से वह खाना, पीना, सोना, खेलना और पढ़ाई पर ध्यान नहीं दे पाते हैं।

इसके अलावा देर रात तक मोबाइल फोन स्क्रोल करने से उनकी नींद भी प्रभावित होती है, जिससे ये हर समय थका हुआ और कंफ्यूजन महसूस रहते हैं। साथ ही किसी क्रिएटिव और मेंटल वर्कआउट वाले काम में इनका मन बिल्कुल भी नहीं लगता है। इंटरनेट की इस लत की वजह से इन दिनों टीनएजर्स की लाइफस्टाइल काफी इनएक्टिव हो गई है, जिससे वह आलसी और लोगों से कटने लगे हैं।

बच्चों के इंटरनेश एडिक्शन से इन तरीकों से निपटें

  • बच्चों की स्क्रीन टाइम लिमिट में रखने की आदत डालें।
  • बच्चे की जिद के आगे खुद को हारा हुआ न महसूस करें।
  • बच्चों से बात करते रहें और अकेला महसूस न होने दें।
  • बच्चों को गेम की लत से बचाएं और आउटडोर गेम्स के लिए प्रेरित करें।
  • इंटरनेट ऑन ऑफ करने का नियम बनाएं और बच्चे से पहले खुद भी इस नियम का पालन करें, ताकि आपको देख कर वह मोटिवेट हो और इस इंटरनेट एडिक्शन से बच सके।
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Disclaimer: लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।