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ज्यादा वर्कप्रेशर बना सकता है आपको बीमार, काम के चक्कर में बिल्कुल भी न करें सेहत से समझौता

आज के समय में इन दिनों हर कोई पैसे कमाने की दौड़ में लगा हुआ है। ज्यादा पैसा यानी ज्यादा सुकून वाली सोच के चलते लोग कम समय में ज्यादा पैसा कमाने की वजह से जरूरत से ज्यादा वर्कप्रेशर लेने लगते हैं। इसका शारीरिक और मानसिक सेहत पर बुरा असर पड़ता है। आइए जानते हैं आपकी सेहत को कैसे प्रभावित करता है वर्क प्रेशर।

By Jagran News Edited By: Harshita Saxena Updated: Wed, 02 Oct 2024 08:21 AM (IST)
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सेहत को कैसे प्रभावित करता है वर्क प्रेशर (Picture Credit- Freepik)

लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। पैसों की कमी व्यक्ति से कुछ भी करवा सकती है,यहां तक कि व्यक्ति को अपनी योग्यताओं और इच्छाओं के साथ समझौता करने पर भी मजबूर कर देती है। यही वजह है कि आर्थिक तंगी में व्यक्ति कोई भी काम कम सैलरी पर करने को तैयार हो जाता है, क्योंकि उसे अपनी फैमिली की बुनियादी जरूरतों को पूरा करना पड़ता है।

हालांकि, पैसा कमाने की चाह में अक्सर लोग अपने स्वास्थ्य को अनदेखा कर देते हैं, जिसका असर उनके मानसिक स्वास्थ्य पर और उसकी पूरी फैमिली पर पड़ता है, जिसे पूरे परिवार को भुगतना पड़ता है। आइए जानते हैं अधिक काम कर आप कैसे सेहत से समझौता कर रहे हैं-

मानसिक तनाव

कम वेतन और अधिक काम के कारण व्यक्ति लगातार आर्थिक दबाव में रहता है, जिससे स्ट्रेस और एंग्जायटी बढ़ती है। इसका मानसिक स्वास्थ्य पर गहरा असर पड़ सकता है।

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नींद की कमी

काम के लंबे समय के कारण नींद पूरी नहीं हो पाती है। नींद की कमी से शरीर की ऊर्जा कम होती है, जिससे इम्यून पॉवर कमजोर होने लगती है।

अनहेल्दी लाइफस्टाइल में अनहेल्दी फूड्स का सेवन

काम के प्रेशर और समय की कमी के कारण लोग जल्दी तैयार होने वाले अनहेल्दी फूड्स का सहारा लेते हैं, जिससे शरीर को जरूरी पोषण नहीं मिल पाता है।

शारीरिक थकान

बहुत ज्यादा काम करने से शरीर को आराम नहीं मिल पाता है, जिससे मांसपेशियों में खिंचाव और थकावट बनी रहती है। यह व्यक्ति की सेहत को लंबे समय के लिए प्रभावित कर सकता है।

मानसिक और शारीरिक ऊर्जा में कमी

अधिक काम के कारण व्यक्ति थकान महसूस करता है, जिससे उसका मानसिक और शारीरिक काम करने की क्षमता कमजोर पड़ने लगती है और इससे काम का प्रदर्शन भी कम हो जाता है।

ऐसे में जीवन को मौज-मस्ती के साथ ऐसे जीएं

कठिन परिस्थितियों में भी छोटी-छोटी खुशियों को अपना बनाएं। स्क्रीन से दूरी बनाएं, दोस्तों और परिवार के साथ समय बिताएं, अपनी पसंद के शौक को समय दें,और छोटी उपलब्धियों का भी जश्न मनाएं। ऐसे सकारात्मक दृष्टिकोण बनाए रखने से जीवन में संतुलन और खुशी बनी रहती है।

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