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World Meningitis Day 2023: दिमागी बुखार ले सकता है आपकी जान, इन लक्षणों को पहचान करें इससे बचाव

मेनिनजाइटिस यानी ब्रेन फीवर एक जानलेवा बीमारी होती है। यह बीमारी दिमाग में इंफेक्शन होने के कारण होती है। ब्रेन को इंफेक्ट करने के कारण यह बीमारी बहुत खतरनाक होती है। इसका समय पर इलाज न किया जाए तो मौत हो सकती है। इसके बारे में जागरूकता फैलाने के लिए हर साल 5 अक्टूबर को वर्ल्ड मेनिनजाइटिस डे मनाया जाता है। जानें इस बीमारी के कारण और बचाव के तरीके।

By Swati SharmaEdited By: Swati SharmaUpdated: Thu, 05 Oct 2023 12:17 PM (IST)
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वर्ल्ड मेनिनजाइटिस डे पर जानें इसके लक्षण और बचाव के तरीके
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। World Meningitis Day 2023: मेनिनजाइटिस एक गंभीर बीमारी है। इसके कारण दुनिया भर में लाखों लोगों की जान जाती है, लेकिन फिर भी लोगों में इस बारे में जागरूकता की कमी है। लोगों को इस बीमारी के प्रति जागरूक करने लिए हर साल 5 अक्टूबर को वर्ल्ड मेनिनजाइटिस डे मनाया जाता है। यह पहली बार साल 2008 में मनाया गया था। इस दिन इस बीमारी की रोकथाम और बचाव के लिए क्या कदम उठाए जाने चाहिए, इस बारे में जागरूकता फैलाई जाती है। आइए जानते हैं कि क्या होता है मेनिनजाइटिस, कैसे होती है यह बीमारी, क्या है इसके लक्षण और कैसे इससे बचा जा सकता है।

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क्या है मेनिनजाइटिस?

मेनिनजाइटिस (Meningitis) एक जानलेवा बीमारी हो सकती है। इस बीमारी में ब्रेन और स्पाइनल कॉर्ड की सुरक्षात्मक मेमब्रेन( मेनिन्जेस) में सूजन हो जाती है। यह मेमब्रेन हमारे दिमाग और स्पाइनल कॉर्ड को सुरक्षित रखता है। इसमें कई ब्लड वेसल्स और फ्लूड मौजूद होते हैं। इसमें इन्फेक्शन होने के कारण मेनिनजाइटिस होता है। इसे स्पाइनल मेनिनजाइटिस या ब्रेन फीवर भी कहते हैं।

कैसे होता है मेनिनजाइटिस?

मेनिनजाइटिस किसी बैक्टीरिया, वायरस, फंगस या अमीबा से होने वाले इन्फेक्शन के कारण हो सकता है। यह जीवाणुं बाहर से आपके शरीर में घुस सकते हैं, जिससे ब्रेन फीवर हो सकता है। ऐसे कई तरीके हैं, जिससे ये माइक्रोब आपके शरीर में आ सकते हैं।

  • बाहर से दूषित खाना खाने और पानी पीने से।
  • गंदे पानी में तैरने से।
  • किसी बीमार व्यक्ति के संपर्क से बैक्टीरिया या वायरस फैल सकता है।
  • आपके कान, नाक या गले में हुए इन्फेक्शन से भी बैक्टीरिया या वायरस आपके दिमाग तक पहुंच सकते हैं।
  • कैंसर या टीबी जैसी बीमारियों के कारण भी मेनिनजाइटिस हो सकता है।

मेनिनजाइटिस के लक्षण

  • सिर दर्द
  • गर्दन में अकड़न
  • बुखार
  • ठंड लगना
  • उल्टी
  • रैशेज
  • लाइट से आंखों में तकलीफ
  • भूख न लगना
  • भ्रम होना
  • सीजर
  • शरीर में दर्द

मेनिनजाइटिस के प्रकार

मेनिनजाइटिस के कई प्रकार हो सकते हैं।

  • बैक्टीरियल मेनिनजाइटिस- जैसा की नाम से समझ आ रहा है, यह बैक्टिरियल इन्फेक्शन के कारण होता है। यह मेनिनजाइटिस का सबसे कॉमन टाइप है।
  • वायरल मेनिनजाइटिस- यह वायरल इन्फेक्शन के कारण होता है और यह भी ब्रेन फीवर का कॉमन टाइप है।
  • नॉन-इंफेक्शियस मेनिनजाइटिस- यह ब्रेन इंजरी, कैंसर या ब्रेन सर्जरी के कारण हो सकता है। यह किसी इन्फेक्शन के कारण नहीं, बल्कि किसी अन्य बीमारी का साइड इफेक्ट होता है।
  • क्रॉनिक मेनिनजाइटिस- यह उस स्थिति के लिए बोला जाता है, जब मेनिनजाइटिस चार हफ्ते से ज्यादा समय तक रहता है।
  • फंगल मेनिनजाइटिस- यह फंगस से संक्रमित होने के कारण होता है।
  • पैरासिटिक मेनिनजाइटिस- यह पैरासाइट से इन्फेक्शन के कारण होता है। इसे इसनोफिलिक मेनिनजाइटिस भी कहते हैं।
  • अमीबिक मेनिनजाइटिस- यह अमीबा के संक्रमण के कारण होता है।
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कैसे कर सकते हैं बचाव?

  • इससे बचाव का सबसे कारगर उपाय वैक्सीन है। इसके लिए आप अपने डॉक्टर से संपर्क कर सकते हैं।
  • खाना खाने से पहले, वॉशरूम जाने के बाद, बाहर से आने के बाद अपने हाथों को अच्छे से धोएं। ऐसा न करने से इन्फेक्शन की संभावना बढ़ जाती है।
  • अपनी पर्सनल चीजें जैसे ब्रश, लिपस्टिक, रूमाल आदि किसी के साथ शेयर न करें।
  • हमेशा अच्छे से पका हुआ खाना खाएं। कच्चे खाने से या अधपके खाने से इन्फेक्शन हो सकता है।
  • पब्लिक जगहों पर मास्क पहनें।
  • बीमार व्यक्तियों के संपर्क में न आएं। अगर किसी बीमार व्यक्ति से मिलें तो मास्क पहन कर मिलें और सेनिटाइजर का इस्तेमाल करें।
Disclaimer: लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।

Picture Courtesy: Freepik