हर कोई हो जाएगा आपका कायल, जब इन तरीकों से रखेंगे उनके सामने अपनी बात
आपने देखा होगा जब कुछ लोग बोलना शुरू करते हैं तो माहौल एकदम शांत हो जाता है लोग एकाग्रचित्त होकर उन्हें सुनते हैं तो वहीं दूसरी ओर कुछ लोगों का बोलना मतलब सिरदर्द। अगर आप पहले तरह के वक्त बनना चाहते हैं तो इसके लिए कुछ टिप्स एंड ट्रिक्स पर ध्यान देना जरूरी है। यकीन मानिए हर कोई हो जाएगा आपका कायल।
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। दूसरों के सामने अपनी बातों को प्रभावशाली ढंग से रख पाना एक आर्ट है और ये कला आपके अंदर भी छिपी हो सकता है। बस जरूरत है तो उसे तराशने की। अगर आपको लगता है कि आपमें ये टैलेंट मिसिंग है, लेकिन आप इसमें माहिर होना चाहते हैं, तो बस कुछ टिप्स एंड ट्रिक्स पर ध्यान देने की जरूरत है। इन छोटी- छोटी बातों पर ध्यान देकर आप किसी को अपने बोलने की कला से प्रभावित कर सकते हैं।
इन बातों का रखें ध्यान
- अपनी बात को दूसरों तक पहुंचाने के लिए कठिन और ऐसे शब्दों का इस्तेमाल न करें, जो बहुत ज्यादा इस्तेमाल नहीं किए जाते। इससे हो सके आप नॉलेजबल लगें, लेकिन प्रभावशाली वक्ता बनने के लिए सरल शब्दों का प्रयोग करना जरूरी है। आसान शब्दों के जरिए लोगों तक अपनी बात पहुंचाएं।
- अपनी बातों को मजेदार बनाने और आसानी से समझाने के लिए आप किस्सों, कहानियों का भी सहारा ले सकते हैं। उदाहरण के साथ बोली जाने वाली बातों में लोग ज्यादा दिलचस्पी लेते हैं।
- बात करते समय फ्लैट न रहें। मतलब आपकी बातों में आपके भाव भी झलकने चाहिए। जरा सोचिए आप किसी प्रभावशाली बात को लोगों के सामने रख रहे हैं, लेकिन आवाज में वो ताकत ही नहीं, तो यहां आप सारे प्वाइंट्स गंवा देंगे। आपकी टोन भी बहुत मायने रखती है लोगों से बातचीत करने के दौरान।
ये भी पढ़ेंः- ऑफिस में जब खुलेआम हो आपके साथ भेदभाव, तो इन तरीकों से करें इस सिचुएशन का सामना
- ऑफिस मीटिंग्स या प्रेजेंटेशन के दौरान बहुत ज्यादा हंसी- मजाक नहीं करना चाहिए, लेकिन मीटिंग की शुरुआत में मूड थोड़ा लाइट रखें। इससे लोगों का इंटरेस्ट बना रहता है और वो आपकी बात ध्यान लगाकर सुनते भी हैं। इसके साथ ही शुरुआत के इन कुछ पलों में आप ऑडियंस या मीटिंग में बैठे लोगों के मूड का भी अंदाजा लगा सकते हैं।
- आप जो बात कर रहे हैं, उसके हिसाब से चेहरे के हावभाव और हाथों की मूवमेंट भी जरूरी है।
- आपकी बातों के दौरान अगर कोई बीच में बोलें, तो वहां उनकी बात को इग्नोर करके आगे न बढ़ें। अपनी बात रखने के साथ ही सामने वाले को सुनना भी जरूरी है। तभी आप प्रभावशाली वक्ता बनेंगे।