दुनिया के सबसे Stressful Cities की लिस्ट में, भारत के ये दो शहर भी हैं शामिल
शहरीकरण के पीछे लोग इस तरह भागे की गांव की सुख-शांति पीछे छूट गई। इस भाग-दौड़ भरी जिंदगी की वजह से लोगों का स्ट्रेस लेवल बढ़ रहा है जो आगे चलकर कई बीमारियों की वजह बन सकता है। इसलिए शहरों में हार्ट अटैक डिप्रेशन और स्ट्रोक जैसी बीमारियों का जोखिम ज्यादा रहता है। आइए जानते हैं दुनिया के कुछ ऐसे शहर जहां लोग सबसे ज्यादा तनाव में हैं।
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। Most Stressful Cities in the World: शहरों की चकाचौंध भरी जिंदगी, अच्छी जॉब और अन्य शहरी सुविधाओं को देखकर लोगों ने शहरों की ओर पलायन करना तो शुरू कर दिया, लेकिन इसके कारण इन शहरों में भीड़ और बढ़ते कॉम्पीटिशन की वजह से यहां सुकून से कम ही लोग रह पाते हैं। इन्हीं वजहों ने शहरी लाइफ को स्ट्रेसफुल बना दिया है।
एक रिपोर्ट के अनुसार गावों के लोगों की तुलना में शहरी लोगों में स्ट्रेस और एंजाइटी की समस्या 21 प्रतिशत अधिक है, जिसके कारण ब्लड प्रेशर, डायबिटीज, मोटापा, हार्ट अटैक, स्ट्रोक जैसी गम्भीर बीमारियों का खतरा उनमें अधिक रहता है। दुनिया भर में ऐसे कई शहर हैं,जहां लोगों में ज्यादा कॉम्पीटिशन, बेरोजगारी और कई तरह के सुरक्षा कारकों के कारण स्ट्रेस, एंजाइटी और डिप्रेशन जैसी मानसिक समस्याओं के मामले भी तेजी से बढ़ रहे हैं। ऐसे ही कुछ स्ट्रेसफुल शहरों में भारत के दो शहर भी शामिल हैं। आइए जानते हैं दुनिया के ऐसे ही सबसे अधिक स्ट्रेसफुल शहरों के बारे में।
मुंबई (भारत)
दुनियाभर के स्ट्रेसफुल शहरों में से एक है मुंबई। यहां भीड़भाड़ और प्रदूषण के उच्च स्तर के कारण लोग कई तरह की गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं और मानसिक तनाव का शिकार हो रहे हैं। ऐसे में अपर्याप्त सामाजिक सुरक्षा और स्वास्थ्य देखभाल के आभाव के कारण ये समस्याएं और अधिक बढ़ती हैं।यह भी पढ़ें: चित्रकला परंपरा की अनूठी मिसाल है 'मधुबनी पेटिंग', राम-सीता से है इसका गहरा नाता
बगदाद (इराक)
वर्तमान समय में इराक में जारी संघर्ष और अस्थिरता के डर ने इस शहर को मानसिक तनाव पैदा करने वाला शहर बना दिया है, जो खराब लैंगिक समानता और सीमित सेवाओं के कारण और अधिक बढ़ता जा रहा है।काबुल (अफगानिस्तान)
दुनिया के स्ट्रेसफुल शहरों में अफगानिस्तान की राजधानी काबुल भी शामिल है, जहां के लोगों को अपने दैनिक जीवन में कई तरह की समस्याओं का सामना करना पड़ता है, जिससे लोगों के स्ट्रेस का स्तर बढ़ा है।