World Laughter Day 2021: जानें कब से हुई थी इस दिन को मनाने की शुरुआत और कैसे किया जाता है सेलिब्रेट
World Laughter Day 2021 निराशा और अवसाद की स्थिति में जोर-जोर से हंसना चाहिए क्योंकि सब-कॉन्शियस माइंड में जो बात दबी है वह हंसी के माध्यम से बाहर आ जाती है। दुनियाभर में आज के दिन लोग तरह-तरह के चुटकुले मैसेज और वीडियोज भेजकर एक-दूसरे को हंसते-हंसाते हैं।
By Priyanka SinghEdited By: Updated: Sun, 02 May 2021 12:29 PM (IST)
कोविड-19 महामारी ने जैसे पूरी दुनिया को लगातार डर और उदासी के माहौल में जकड़ रखा है, वहां निश्चित ही किसी हंसते-मुस्कुराते चेहरे को देखना इस वक्त लोगों के लिए किसी सौगात से कम नहीं है। पूरी दुनिया में 2 मई लाफ्टर डे के रूप में मनाया जाता है। तो आइए जानते हैं कैसे और कब हुई थी इसकी शुरुआत?
विश्व हास्य दिवस की ऐसे हुई शुरुआत विश्व हास्य दिवस यानी वर्ल्ड लाफ्टर डे सेलिब्रेशन 1998 में शुरु हुआ। इसकी शुरुआत का श्रेय 'गुरु ऑफ गिगलिंग' के नाम से मशहूर, लाफ्टर योगा मूवमेंट के संस्थापक डॉ. मदन कटारिया को जाता है। उन्होंने 11 जनवरी 1998 को मुंबई में पहली बार वर्ल्ड लाफ्टर डे सेलिब्रेट किया। इस आयोजन का उद्देश्य समाज में बढ़ते तनाव को कम करना और खुशहाल जीवन जीने की कला सिखाना था। तब से, हर साल मई के पहले रविवार को वर्ल्ड लाफ्टर डे के रूप में मनाया जाता है। इन आयोजनों का एक मकसद हंसी की मदद से वसुधैव कुटुंबकम की भावना को आगे बढ़ाना भी है।
अलग-अलग तरीकों से मनाया जाता है यह दिनइस दिन लोग अपने ग्रूप्स में इकट्ठा होते हैं, लाफ्टर क्लब्स जाते हैं और एक साथ जोर-जोर से हंसते हैं। इसके लिए कॉमेडी फिल्मों, तस्वीरों और अन्य माध्यमों का भी इस्तेमाल किया जाता है। साथ ही पार्क्स और पब्लिक गैदरिंग प्लेसेस में भी लाफिंग योगा का अभ्यास किया जाता है। वर्तमान में विश्व के 105 से ज्यादा देशों में लाफ्टर डे पूरे जोश-ओ-खरोश के साथ मनाया जाता है तथा हजारों लाफ्टर क्लब्स संचालित हो रहे हैं।
लाफ्टर डे का महत्व इस दिन को मनाने का साफ मकसद लोगों को हंसना-हंसाना है। माध्यम कोई भी हो। हंसना जहां एक अच्छी एक्सरसाइज है वहीं हंसाना एक कला है। पुराने जमाने में लोगों को हंसाने का जिम्मा जहां कुछ एक कॉमेडियंस तक लिमिटेड था, वहां आज के समय में बॉलीवुड के मशहूर सितारे भी समय-समय पर कॉमेडी में बखूबी अपना हाथ आजमा रहे हैं।Pic credit- freepik