AC कोच से सामान हुआ गायब, रेलवे पर लगा एक लाख का जुर्माना Bareilly News
उत्तरी रेलवे में सफर कर रही एक महिला का सामान एससी कोच से गायब हो गया। जिसके बाद उपभोक्ता फोरम ने रेलवे पर एक लाख का जुर्माना लगाया है। महिला के बैग में काफी किमती सामान था।
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बरेली, जेएनएन। उपभोक्ता फोरम ने अपने एक महत्वपूर्ण फैसले में सफर के दौरान चोरी हुए सामान के बदले मुसाफिर को एक लाख नौ हजार रुपये अदा करने का आदेश उत्तर रेलवे को दिया है। इसके लिए रेलवे के एक सर्कुलर को ही आधार माना है।
सिविल लाइंस निवासी पुनीत श्रीवास्तव व उनकी पत्नी 13-14 जनवरी 2016 की रात नई दिल्ली-लखनऊ एसी सुपरफास्ट में सफर कर रहे थे। रास्ते में रामपुर से बरेली के बीच कोच से उनका पर्स गायब हो गया। आरपीएफ को खाली हैंडबैग कोच के टॉयलेट में मिला। गाड़ी चल देने के कारण घटना की रिपोर्ट लखनऊ जीआरपी थाने में दर्ज कराई गई थी। जीआरपी ने इस मामले में फाइनल रिपोर्ट लगा दी थी। तब पीडि़त ने उपभोक्ता फोरम में वाद दायर किया। जिसमें उन्होंने बताया कि पर्स में 57 हजार रुपये नकद और 2 लाख रुपये के सोने के जेवरात रखे थे। रेलवे ने क्षतिपूर्ति देने से इन्कार कर दिया।
उपभोक्ता फोरम-प्रथम के अध्यक्ष घनश्याम पाठक व सदस्य मुहम्मद कमर अहमद ने रेलवे के सर्कुलर को आधार बनाते हुए यात्री के सामान की सुरक्षा का जिम्मेदार रेलवे को माना। रेलवे को 84 हजार रुपये जेवर की कीमत व 15 हजार रुपये नकदी पीडि़त के हक में अदा करने होंगे। रेलवे पांच-पांच हजार रुपये क्षतिपूर्ति व मुकदमा खर्च भी पीडि़त को अलग से अदा करेगा। यहां बता दें कि रेल मंत्रालय के सर्कुलर 11 सितंबर 1998 के तहत रात 10 बजे से सुबह छह बजे तक ट्रेन के कोच बंद रखने व सुरक्षा की जिम्मेदारी कोच के टीटीई की है।