'पुलिस ने मेरे भाई को छोड़ने के लिए मांगे 5 लाख', नोएडा पुलिस चौकी में सुसाइड मामले में पीड़ित पक्ष का दावा; पूरा स्टाफ निलंबित

बिसरख कोतवाली क्षेत्र अंतर्गत चिपियाना पुलिस चौकी में पुलिस हिरासत में अलीगढ़ के युवक योगेश की मौत हो गई। उसने आत्महत्या की है। उसका शव गमछे से बंधा हुआ पंखे से लटका मिला है। योगेश के भाई जितेंद्र ने आरोप लगाया है कि पुलिस प्रताड़ना से उसके भाई की जान गई है। आरोप है कि उसके भाई को छोड़ने के एवज में पुलिस ने पांच लाख रुपये मांगे थे।

By Praveen Singh Edited By: Pooja Tripathi
Updated: Thu, 16 May 2024 08:04 PM (IST)
'पुलिस ने मेरे भाई को छोड़ने के लिए मांगे 5 लाख', नोएडा पुलिस चौकी में सुसाइड मामले में पीड़ित पक्ष का दावा; पूरा स्टाफ निलंबित
नोएडा पुलिस चौकी में फंदे से लटकता मिला शख्स। जागरण

HighLights

  1. एसीपी व कोतवाली प्रभारी का स्पष्टीकरण तलब
  2. तीन दिन में जांच रिपोर्ट सौंपेंगे एडीसीपी
  3. चौकी पर तैनात थे चार पुलिसकर्मी, चारों के खिलाफ हुई कार्रवाई

जागरण संवाददाता, ग्रेटर नोएडा। बिसरख कोतवाली क्षेत्र अंतर्गत चिपियाना पुलिस चौकी में पुलिस हिरासत में अलीगढ़ के युवक योगेश की मौत हो गई। उसने आत्महत्या की है। उसका शव गमछे से बंधा हुआ पंखे से लटका मिला है।

योगेश के भाई जितेंद्र ने आरोप लगाया है कि पुलिस प्रताड़ना से उसके भाई की जान गई है। आरोप है कि उसके भाई को छोड़ने के एवज में पुलिस ने पांच लाख रुपये मांगे थे। पचास हजार उसने दे दिए थे। एक हजार रुपये शराब के भी दिए।

वहीं पुलिस ने किया दावा किया है कि समाज में बदनामी के डर से युवक ने आत्महत्या की है। उसके खिलाफ महिला सहकर्मी ने दुष्कर्म का आरोप लगाते हुए तहरीर दी थी। तहरीर के आधार पर पुलिस योगेश को उठाकर पूछताछ के लिए चौकी लाई थी।

पुलिसकर्मियों के खिलाफ बिसरख कोतवाली में मामला दर्ज

पुलिस हिरासत में हुई युवक की मौत के मामले में पुलिस कमिश्नर लक्ष्मी सिंह ने चौकी पर तैनात सभी पुलिसकर्मियों को निलंबित कर दिया है। पुलिसकर्मियों के खिलाफ बिसरख कोतवाली में केस दर्ज किया गया है।

चिपियाना पुलिस चौकी में तैनात पुलिसकर्मियों द्वारा युवक योगेश को बुधवार दोपहर घर से उठाकर लाया गया था। उस पर आरोप था कि उसने किसी महिला सहकर्मी से दुष्कर्म किया।

योगेश एक बेकरी की दुकान में नौकरी करता था। वह किचन का पूरा काम देखता था। करीब 15 कर्मचारियों की निगरानी उसके जिम्मे थी। मामले में एक वीडियो भी इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित हुआ है।

परिवार ने लगाया ये आरोप

प्रसारित हुए वीडियो में स्वजन ने आरोप लगाया है कि पुलिस हिरासत में पूरी रात योगेश को रखा गया। उनको उससे मिलने नहीं दिया गया। युवक के साथ मारपीट की गई।

पुलिसवालों ने पांच लाख की रिश्वत मांगी, जिसमें से पचास हजार रुपये उसने दे दिए थे। एक हजार रुपये शराब के भी दिए थे।

बुधवार रात रिश्वत की रकम लेने के बाद पुलिसकर्मियों ने कहा कि जो रकम बकाया रह गई है वह सुबह लेकर आना और अपने भाई को ले जाना।

पीड़ित का आरोप है कि वह सुबह अपने भाई को लेने चौकी पर पहुंचा तो उसका भाई उसे मृत अवस्था में मिला। मामले में पुलिसकर्मियों के खिलाफ केस दर्ज करने के साथ ही मजिस्ट्रेट जांच भी शुरू कर दी गई है।

एसीपी व कोतवाल का स्पष्टीकरण तलब

मामले में एसीपी हेमंत उपाध्याय व बिसरख कोतवाली प्रभारी अरविंद कुमार का स्पष्टीकरण तलब किया गया है। दोनों की भूमिका के संबंध में तीन दिन के अंदर जांच रिपोर्ट तैयार कर पुलिस आयुक्त को सौंपी जाएगी। मामले की जांच एडीसीपी नोएडा मनीष मिश्रा करेंगे।

दो बार पूछताछ के लिए लाया गया

स्वजन का आरोप है कि योगेश को बुधवार दोपहर पुलिस पूछताछ के लिए उठाकर लाई। कुछ देर बाद उसको छोड़ दिया गया। रात होने पर पुलिस उसे दोबारा पूछताछ के लिए उठा लाई।

अलीगढ़ के खैर का रहने वाला था योगेश

योगेश मूल रूप से अलीगढ़ के खैर के गांव अमरगढ़ी का रहने वाला था। वर्तमान में वह ग्रेटर नोएडा वेस्ट में चिपियाना क्षेत्र में रहता था। वह नामी कंपनी की बेकरी में ड्यूटी करता था। करीब चार सालों से वह नौकरी कर रहा था।

मामले में मजिस्ट्रेट जांच शुरू हो गई है। स्वजन की तहरीर के आधार पर पुलिसकर्मियों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। मामले की जांच की जा रही है।-सुनीति, डीसीपी सेंट्रल नोएडा