बुखार है तो जांच कराएं, जरूरी नहीं कोरोना हो

सर्दी आने के बाद अब मौसमी बीमारी भी शुरू हो गई है। यदि किसी को मौसमी बुखार होता है तो लोग डर रहे हैं कि कहीं कोरोना तो नहीं हो गया। बड़ी संख्या में लोग ऐसे भी हैं जो जांच कराने में भी डर रहे हैं कि कहीं कोरोना न निकल जाए। जबकि डाक्टरों की सलाह है कि मौसमी बुखार और कोरोना बुखार में काफी अंतर होता है। इसलिए कैसा भी बुखार हो इसी जांच करानी चाहिए।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 28 Nov 2020 10:53 PM (IST) Updated:Sat, 28 Nov 2020 10:53 PM (IST)
बुखार है तो जांच कराएं, जरूरी नहीं कोरोना हो
बुखार है तो जांच कराएं, जरूरी नहीं कोरोना हो

सहारनपुर, जेएनएन। सर्दी आने के बाद अब मौसमी बीमारी भी शुरू हो गई है। यदि किसी को मौसमी बुखार होता है तो लोग डर रहे हैं कि कहीं कोरोना तो नहीं हो गया। बड़ी संख्या में लोग ऐसे भी हैं, जो जांच कराने में भी डर रहे हैं कि कहीं कोरोना न निकल जाए। जबकि डाक्टरों की सलाह है कि मौसमी बुखार और कोरोना बुखार में काफी अंतर होता है। इसलिए कैसा भी बुखार हो, इसी जांच करानी चाहिए। डाक्टरों की माने तो वर्तमान में सामान्य बुखार चल रहा है। वहीं, जिला प्रशासन के अधिकारी हो या फिर पुलिस के, सभी की लोगों से अपील है कि शारीरिक दूरी का पालन जरूरी है। मास्क लगाना भी जरूरी है।

सर्दी के मौसम यह होती हैं अधिकतर बीमारी

जनरल फिजिशियन डा. कलीम अहमद के अनुसार सर्दी के मौसम में टाइफाइड, मलेरिया बुखार भी हो जाता है। वहीं, डेंगू होने की भी संभावना होती है। डेंगू, मलेरिया, टाइफाइड यदि है तो पेट दर्द, सिर में दर्द, उल्टी के लक्षण होते हैं। इसके अलावा सर्दी के मौसम में हाई ब्लड प्रेशर, हार्ट की समस्या, ब्रेन हेमरेज जैसी समस्यायें भी हो जाती हैं।

जनरल फिजिशियन डा. संजीव मिगलानी बताते हैं कि सर्दी के मौसम में यदि बुखार 101 डिग्री सेल्सियस है और जुकाम व बलगम वाली खांसी है तो यह सामान्य बुखार है। इस बुखार में एंटी एलर्जी और पैरासीटामोल ले सकते हैं। दो से तीन दिन में बुखार उतर जाता है। यदि इससे अधिक दिन रहे तो कोरोना जांच जरूरी है।

कोरोना के यह होते हैं लक्षण

- बुखार 103 या 104 डिग्री सेल्सियस के साथ सूखी खांसी, सांस लेने में दिक्कत है तो कोरोना संक्रमण होने का डर है।

- डायबटीज, ब्लड प्रेशर के मरीज को यदि 102 डिग्री तक भी बुखार होता है तो कोरोना होने का खतरा है।

- अस्थमा के मरीज, कैंसर के मरीज, लीवर के मरीज पर कोरोना अधिक प्रभाव डालता है।

- सात से आठ दिन बुखार लगातार हो रहा है और दवाइयां लेने से भी नहीं जा रहा है तो कोरोना का खतरा है।

- सीने के एक्सरे में यदि निमोनिया आता है, तो कोरोना होने का डर रहता है। इसलिए कोरोना की जांच जरूरी है।

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