Move to Jagran APP

ज्ञानवापी के बाद अब एमपी के भोजशाला में ASI कल से शुरू करेगी सर्वे, जानिए क्या है सदियों पुराना विवाद

Madhya Pradesh News मध्य प्रदेश के धार भोजशाला में 22 मार्च से आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया (एएसआई) की टीम सर्वेक्षण करेगी। हाईकोर्ट ने एएसआई को सर्वे करने का आदेश दिया था। हिंदू फ्रंट फॉर जस्टिस ने अपनी याचिका में मुसलमानों को भोजशाला में नमाज पढ़ने से रोके जाने और हिंदुओं को नियमित पूजा का अधिकार देने की मांग की है।

By Jagran News Edited By: Manish Negi Updated: Thu, 21 Mar 2024 02:23 PM (IST)
Hero Image
धार भोजशाला में ASI 22 मार्च से सर्वे करेगी

डिजिटल डेस्क, भोपाल। मध्य प्रदेश के धार में स्थित भोजशाला का कल यानी 22 मार्च से सर्वे शुरू होगा। सर्वे के दौरान मुख्य रूप से यह बात सामने आ सकती है कि यहां पर किस तरह के प्रतीक चिह्न हैं। किस तरह की यहां की वास्तु शैली है। साथ ही यह भी स्पष्ट हो जाएगा कि यह किस तरह की धरोहर है।

हाईकोर्ट ने दिया था फैसला

कुछ ही दिन पहले मध्‍य प्रदेश हाईकोर्ट की इंदौर खंडपीठ ने भोजशाला में आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ इंडिया (एएसआई) को सर्वे के आदेश दिए थे। हिंदू फ्रंट फॉर जस्टिस की ओर से एक याचिका दायर की गई थी।

क्या है याचिकाकर्ता की मांग?

याचिका में मुसलमानों को भोजशाला में नमाज पढ़ने से रोके जाने और हिंदुओं को नियमित पूजा का अधिकार देने की मांग की गई थी। याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने एएसआई को वैज्ञानिक सर्वेक्षण करने का आदेश दिया। इससे पहले, सभी पक्षों को सुनने के बाद हाईकोर्ट ने फरवरी में फैसला सुरक्षि‍त रख लिया था।

हिंदू फ्रंट फार जस्टिस की तरफ से एडवोकेट हरिशंकर जैन और एडवोकेट विष्णुशंकर जैन ने पैरवी की थी। उन्होंने अपनी दलील में कहा था कि पूर्व में भी जो सर्वेक्षण हुए हैं, वे साफ-साफ बता रहे हैं कि भोजशाला वाग्देवी का मंदिर है। यहां हिंदुओं को पूजा करने का पूरा अधिकार है। ये अधिकार देने से भोजशाला के धार्मिक चरित्र पर कोई बदलाव नहीं होगा।

क्या है विवाद?

भोजशाला विवाद सदियों पुराना है। दरअसल, हिंदू पक्ष का कहना है कि ये सरस्वती देवी का मंदिर है। सदियों पहले मुसलमानों ने इसकी पवित्रता भंग करते हुए यहां मौलाना कमालुद्दीन की मजार बनाई थी। यहां आज भी देवी-देवताओं के चित्र और संस्कृत में श्लोक लिखे हुए हैं। अंग्रेज भोजशाला में लगी वाग्देवी की मूर्ति को लंदन ले गए थे।

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।