कूनो के बाड़े में कैद सात चीतों को मिलेगी आजादी, खुले जंगल में छोड़ने के लिए 45 जवानों की लगाई ड्यूटी
अब तक तीन शावकों की सहित छह चीतों की मौत हो चुकी है। इसके बाद नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथारिटी (एनटीसीए) ने ये नई समिति गठित की है। टीम के सदस्यों ने सेसईपुरा में कूनो रेस्टहाउस में सीसीएफ और कूनो प्रबंधन के साथ बैठक की।
By Jagran NewsEdited By: Narender SanwariyaUpdated: Thu, 01 Jun 2023 07:33 AM (IST)
श्योपुर, जेएनएन। दक्षिण अफ्रीका से लाकर कूनो नेशनल पार्क में बसाए गए चीतों की लगातार हो रही मौतों के बाद सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर गठित चीता परियोजना संचालन समिति की पांच सदस्यीय टीम बुधवार को कूनो पहुंची। टीम ने इस बात पर सहमति दे दी है कि वर्तमान में बाड़े में रह रहे दस में से सात चीतों को भी जल्द ही खुले जंगल में छोड़ा जाए।
बता दें कि अब तक तीन शावकों की सहित छह चीतों की मौत हो चुकी है। इसके बाद नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथारिटी (एनटीसीए) ने ये नई समिति गठित की है। समिति के अध्यक्ष व ग्लोबल टाइगर फोरम नई दिल्ली के महासचिव डा.राजेश गोपाल के नेतृत्व में आरएन महरोत्रा पूर्व प्रधान मुख्य वन संरक्षक, डा. एचएस नेगी पूर्व एपीसीसीएफ वन्यजीव, जीएस रावत पूर्व डीन, भारतीय वन्यजीव संस्थान देहरादून और मित्तल पटेल सामाजिक कार्यकर्ता कूनो पहुंचे।
टीम के सदस्यों ने सेसईपुरा में कूनो रेस्टहाउस में सीसीएफ और कूनो प्रबंधन के साथ बैठक की। अधिकारियों ने बताया कि खुले जंगल में और चीतों को छोड़े जाने की तैयारी के क्रम में उनकी निगरानी के लिए टीमों को तैयार किया जा रहा है। इस समय खुले जंगल में छोड़े गए सात चीतों की निगरानी के लिए 45 जवानों की ड्यूटी लगाई है। और चीतों को छोड़ने पर कर्मचारियों की संख्या बढ़ानी पड़ेगी।
आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।