Bojshala Survey: भोजशाला में 89वें दिन चला एएसआइ सर्वे, पांच और पाषाण अवशेष मिले; हिंदू पक्ष ने कही ये बात
मध्य प्रदेश के धार स्थित भोजशाला में 89वें दिन भी सर्वे जारी रहा। यहां के उत्तरी भाग में मंगलवार को भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) की टीम ने सर्वे किया। इस दौरान पांच पाषाण अवशेष मिले जो स्तंभों और दीवार के टुकड़े हैं। भोजशाला मुक्ति यज्ञ के संयोजक गोपाल शर्मा और याचिकाकर्ता आशीष गोयल ने बताया कि प्रतीक चिह्न स्पष्ट नहीं हैं इसकी सफाई की जाएगी।
जेएनएन, धार। मध्य प्रदेश के धार स्थित भोजशाला के उत्तरी भाग में मंगलवार को भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआइ) की टीम ने सर्वे किया। इस दौरान पांच पाषाण अवशेष मिले, जो स्तंभों और दीवार के टुकड़े हैं। भोजशाला मुक्ति यज्ञ के संयोजक गोपाल शर्मा और याचिकाकर्ता आशीष गोयल ने बताया कि प्रतीक चिह्न स्पष्ट नहीं हैं, इसकी सफाई की जाएगी।
उल्लेखनीय है कि सर्वे का यह 89वां दिन था। इस दौरान छोटे-बड़े मिलाकर करीब 1800 अवशेष मिल चुके हैं। इनमें लगभग 550 बड़े आकार के हैं। 30 मूर्तियां भी मिली हैं, जिनमें अधिकतर खंडित हैं।
सर्वे 22 मार्च से शुरू है और 27 जून तक चलेगा। हाई कोर्ट की इंदौर खंडपीठ में मामले की सुनवाई चार जुलाई को होनी है। इसके लिए एएसआइ ने दस्तावेजीकरण का कार्य भी तेज कर दिया है। उधर, मंगलवार को भोजशाला में हिंदू समाज ने हनुमान चालीसा का पाठ किया।
दर्शन-पूजन के लिए राजा भोज कल्याण जन कल्याण सेवा समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष नरेंद्र सिंह पंवार भी पहुंचे। उन्होंने 12 वर्षों के शोध के बाद परमार-पंवार राजवंश पर एक पुस्तक भी लिखी है। पंवार ने कहा कि राजा भोज के काल में भोजशाला की संस्कृत महाविद्यालय के रूप में प्रसिद्धि थी।
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