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Madhya Pradesh News: लॉकडाउन ने खोया रोजगार, यूट्यूब पर वीडियो देखकर शुरू किया खुद का काम, बना आत्मनिर्भर

मध्य प्रदेश के एक व्यक्ति ने लॉकडाउन के दौरान अपना रोजगार शुरू करने का तरीका सीखा। आशिक खान नाम के व्यक्ति ने यूट्यूब पर पलंग और चारपाई बनाना सीखा और आज उसने अपना खुद का बिजनेस शुरू किया है।

By Jagran NewsEdited By: Shalini KumariUpdated: Sun, 15 Jan 2023 03:28 PM (IST)
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यूट्यूब पर वीडियो देखकर सीखा चारपाई बनाना और शुरू किया खुद का बिजनेस।

मध्य प्रदेश, ऑनलाइन डेस्क। कोरोना के कारण हर तरफ लॉकडाउन लग गया था जिससे कई लोगों का रोजगार छिन गया था। ऐसा ही बगडुआ के एक युवक के साथ भी हुआ। लॉकडाउन लग जाने के कारण उसका रोजगार छिन गया। इसके बाद वो भी बेबस होकर घर पर बैठ गया। लिकन उसने यूट्यूब पर वीडियो देखकर उसने अपना अलग रोजगार शुरू किया और आत्मनिर्भर बन गया। इससे कई लोगों को प्रेरणा मिली है।

यूट्यूब पर सिखी कलाकारी

दरअसल, लॉकडाउन के दौरान बगडुआ निवासी 42 वर्षीय आशिक खान का रोजगार छिन गया था। इसके बाद उसने यूट्यूब पर चारपाई बनाना सिखा और आज उसे अपने रोजगार का साधन बना लिया है। अब वह काफी आकर्षक डिजाइन बनाना शुरू कर दिया है। दरअसल, पहले आशिक खान गाड़ी चलाने का काम करते थे। इससे महीने में उनकी छह हजार रुपये की कमाई होती थी। लेकिन वहीं अब आकर्षक चारपाई, पलंग और बेड बनाना सीखने के बाद उनकी महीने की लगभग 8-9 हजार रुपये की कमाई हो जाती है।

आशिक खान को पहले से ही रस्सी की चारपाई बनाना आता था। इसलिए उन्हें यूट्यूब से ये कलाकारी सीखने में ज्यादा वक्त नहीं लगा। ये कारिगरी सिखने के बाद उन्होंने सबसे पहले अपने घर के लिए चारपाई बनाई। इस चारपाई की फोटो उन्होंने सोशल मीडिया पर अपलोड की जिसे काफी लोगों ने पसंद किया। इसके बाद आशिक खान के पास चारपाई के लगातार ऑर्डर आने लगे। आज वह महीने 4 से 5 चारपाइ, पलंग, बेड बनाकर बेच रहे हैं, जिससे 8 हजार रुपये महीने की कमाई भी होने लगी है।

इस तरह बनती है आकर्षक पलंग और चारपाई

आशिक खान ने बताया कि एक पलंग तैयार करने में 1500 रुपये की 8 किलो रस्सी, 1500 रुपये की लोहे वाली फ्रेम लगती है और 1500 रुपये वो अपनी मेहनत की लेते हैं। इस तरह 4500 रुपये में एक चारपाइ बनकर तैयार हो जाती है। इस चारपाई को बनाने में 4 से 5 दिन का समय लगता है। वहीं, एक पलंग बनाने के लिए 4500 रुपये की 24 किलो रस्सी, 4 हजार रुपये की लोहे का फ्रेम व 3 हजार रुपये की मजदूरी लगती है। इस तरह 11 हजार 500 रुपये में बेड बनकर तैयार हो जाता है। इस बेड को बनाने में 5 दिन का समय लगता है। साथ ही आशिक खान ने बताया कि अगर कोई ग्राहक उन्हें सारा सामावन लाकर देता है तो वो उससे सिर्फ मजदूरी के पैसे लेते हैं।

दूर-दूर तक बढ़ने लगी मांग

आशिक खान द्वारा बनाई गई चारपाइ, पलंग, बेड की अब श्योपुर, मध्य प्रदेश के अलावा राजस्थान के गांवों में बिकने लगी हैं। वह बताते हैं कि चारपाइ पर ग्राहक की डिमांड के अनुसार उसका नाम, मोबाइल नंबर, आदि तक भी लिख देते हैं। ग्राहक, आशिक खान की ये कलाकारी देखते रह जाते हैं।

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