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Gwalior Agra Expressway: ग्वालियर-आगरा सिक्स लेन ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस-वे के टेंडर जारी, तीन फेज में होगा निर्माण

यह एक्सप्रेस वे पूरी तरह से एक्सेस कंट्रोल होगा यानी कि दोनों तरफ दीवारें मौजूद रहेंगी। इसके चलते इस एक्सप्रेस वे पर चढ़ने-उतरने के लिए मुरैना धौलपुर और आगरा में चार से पांच लूप दिए जाएंगे। एनएचएआइ के अधिकारियों के अनुसार हर 20 से 25 किमी पर एक लूप मौजूद रहेगा। मुरैना जिले में एनएच 552 पर एक लूप दिया जाएगा।

By Jagran NewsEdited By: Mohammad SameerUpdated: Mon, 18 Dec 2023 03:00 AM (IST)
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ग्वालियर-आगरा सिक्स लेन ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस-वे के टेंडर जारी

जेएनएन, ग्वालियर। नेशनल हाइवे अथारिटी आफ इंडिया (एनएचएआइ) ने ग्वालियर से आगरा के बीच प्रस्तावित 88.40 किमी लंबे नए सिक्स लेन ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस वे के टेंडर जारी कर दिए हैं। इस एक्सप्रेस वे का निर्माण तीन टुकड़ों में कराया जाएगा, जिसके लिए अलग-अलग टेंडर जारी किए गए हैं।

एक्सप्रेस वे की कुल लागत 2497.84 करोड़ रुपये रखी गई है और आगामी 30 जनवरी को यह टेंडर खोले जाएंगे। कंपनियों को 36 महीने के अंदर एक्सप्रेस वे का निर्माण करना होगा। यह एक्सप्रेस वे तैयार होने के बाद आगरा की दूरी 33 किमी कम हो जाएगी। सिर्फ एक घंटे के अंदर आगरा पहुंचा जा सकेगा, जबकि नोएडा तक का सफर सिर्फ तीन घंटे में पूरा हो सकेगा।

वर्तमान ग्वालियर-आगरा हाइवे की लंबाई लगभग 121 किमी है और यह फोर लेन है। यह हाइवे मुरैना और धौलपुर के आबादी क्षेत्रों से होता हुआ निकलता है, जिसके कारण जाम के हालात बने रहते हैं, साथ ही वाहनों की गति सीमा भी कम रहती है। ग्वालियर से आगरा तक पहुंचने में ही दो से ढाई घंटे का समय लग जाता है। नए सिक्स लेन ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस के निर्माण की शुरूआत आगरा की ओर से की जाएगी।

आगरा में निर्माणाधीन आउटर रिंग रोड से यह एक्सप्रेस वे जुड़ेगा। यह आगरा के 14, धौलपुर के 18 और मुरैना के 30 गांवों से गुजरता हुआ ग्वालियर से ग्राम सुसेरा में आकर समाप्त होगा। ग्राम सुसेरा में इस एक्सप्रेस वे को वर्तमान ग्वालियर बायपास से जोड़ा जाएगा। ऐसे में वर्तमान हाइवे और एक्सप्रेस वे के बीच की दूरी आठ किमी होगी। लोग ग्वालियर शहर में प्रवेश के लिए निरावली या फिर बड़ागांव रूट भी चुन सकेंगे।

चरणबद्ध तरीके से होगा निर्माण-

पहला पैकेज-0 से 36.800 किमी

लंबाई-36.800 किमी

लागत-972.10 करोड़ रुपए

स्थिति-पहले चरण के अंतर्गत उत्तर प्रदेश के आगरा और राजस्थान के धौलपुर जिले के बीच में एक्सप्रेस वे का निर्माण किया जाएगा। अभी जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया चल रही है।

दूसरा पैकेज-36.800 से 51.200 किमी

लंबाई-14.400 किमी

लागत-1012.38 करोड़ रुपए

स्थिति-दूसरे चरण के अंतर्गत राजस्थान के धौलपुर से मध्यप्रदेश के मुरैना जिले के बीच निर्माण कार्य चलेगा। यहां जमीन अधिग्रहण ज्यादा होने के कारण लागत भी ज्यादा रखी गई है।

तीसरा पैकेज-51.200 से 88.400 किमी

लंबाई-37.200 किमी

लागत-997.41 करोड़ रुपए

स्थिति-तीसरे चरण के अंतर्गत पूरी तरह से मध्यप्रदेश के मुरैना और ग्वालियर के बीच निर्माण कार्य होगा। मुरैना के विभिन्न गांवों से होता हुआ यह एक्सप्रेस वे ग्वालियर के सुसेरा तक आएगा।

चार से पांच लूप बनाए जाएंगे-

यह एक्सप्रेस वे पूरी तरह से एक्सेस कंट्रोल होगा यानी कि दोनों तरफ दीवारें मौजूद रहेंगी। इसके चलते इस एक्सप्रेस वे पर चढ़ने-उतरने के लिए मुरैना, धौलपुर और आगरा में चार से पांच लूप दिए जाएंगे। एनएचएआइ के अधिकारियों के अनुसार हर 20 से 25 किमी पर एक लूप मौजूद रहेगा। मुरैना जिले में एनएच 552 पर एक लूप दिया जाएगा। इसके बाद धौलपुर में राजाखेड़ा रोड पर और एक स्टेट हाइवे पर लूप रहेगा। इसके बाद आगरा की ओर लूप दिए जाएंगे। आगरा में इस एक्सप्रेस वे को रिंग रोड के जरिए यमुना एक्सप्रेस वे से जोड़ा जाएगा।

47 पुलिया, चार छोटे और पांच बड़े पुल बनेंगे, चंबल नदी पर बनेगा सबसे बड़ा पुल

इस प्रोजेक्ट के तहत 47 पुलिया, चार छोटे और पांच बड़े पुल बनाए जाएंगे। इसके अलावा एक रेल ओवरब्रिज और दो फ्लाइओवर का भी निर्माण किया जाएगा। इसमें सबसे बड़ा पुल चंबल नदी पर बनाया जाएगा। इसके अलावा रास्ते में मुसाफिरों के रुकने और स्वल्पाहार आदि के लिए दो ट्रंपेट भी तैयार किए जाएंगे यानी कि मुख्य एक्सप्रेस वे से अलग रोड निकालकर साइड में शौचालय और रेस्टोरेंट-कैफे जैसी सुविधा रहेगी।

यह है प्रोजेक्ट की विशेषता

2245.84 करोड़ रुपए है सिविल कंस्ट्रक्शन की लागत

158 करोड़ रुपए से किया जाएगा भू-अधिग्रहण

94 करोड़ रुपए है अन्य निर्माण लागत

25.80 करोड़ रुपए होगी एक किमी एक्सप्रेस वे की लागत

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