Move to Jagran APP

Maharashtra News:नक्सल प्रभावित क्षेत्र में शुरू हुई बाइक एंबुलेंस की सुविधा, खिल उठे ग्रामीणों के चेहरे

महाराष्ट्र के गढ़चिरौली इलाके के लोग कत्ती सड़कों और परिवहन के अभाव के कारण अस्पताल तक नहीं पहुंच पाते थे। अब इन लोगों को अस्पताल तक पहुंचाने के लिए स्ट्रैचर के साथ बाइक एंबुलेंस की सुविधा शुरू की गई है।

By Jagran NewsEdited By: Shalini KumariUpdated: Thu, 19 Jan 2023 10:45 AM (IST)
Hero Image
गढ़चिरौली के गांवों के लिए बाइक एंबुलेंस की सुविधा शुरू की गई।
 महाराष्ट्र, ऑनलाइन डेस्क। देश के कई ऐसे इलाके हैं जहां सरकार की बेहतर स्वास्थ्य सेवा प्रणाली और बुनियादी चिकित्सा सुविधाओं पहुंच नहीं पाती हैं। लोग बड़े-बड़े बिल और गाड़ी के अभाव के कारण अस्पताल पहुंचने में असक्षम होते हैं। ऐसा ही महाराष्ट्र के नक्सल प्रभावित क्षेत्र गढ़चिरौली के लोगों का हाल है। यहां के लोग परिवहन के अभान के कारण अस्पताल तक नहीं पहुंच पाते हैं और गांव में रहकर ही इलाज करने की कोशिश करते हैं।

अब इन ग्रामीणों के लिए एक बड़ी स्वास्थ्य सुविधा शुरू की गई है। दरअसल, यहां के लोगों के लिए बाइक एंबुलेंस तैयार किया गया है जिसकी मदद से किसी भी निवासी को आसानी से अस्पताल पहुंचाया जा सकता है। इस बाइक में एक स्ट्रैचर भी जोड़ा गया है जिसमें मरीज आसानी से लेटकर जा सकता है। गढ़चिरौली जिले के दूर-दराज के गांवों के लिए बाइक इस एंबुलेंस की सुविधा शुरू की गई है।

122 गांवों को मिलेगी सुविधा

एकीकृत जनजातीय विकास परियोजना के अधिकारी शुभम गुप्ता ने कहा, "भामरागढ़, गढ़चिरौली में 122 गांव हैं जो मानसून के दौरान स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ उठाने में असक्षम होते हैं। पक्की सड़कों के अभाव से हमने गांवों में बाइक एंबुलेंस की शुरुआत की। मरीजों को स्थिरता प्रदान करने के लिए हमारे पास स्ट्रेचर भी हैं।" साथ ही भामरगढ़ के चिकित्सा अधिकारी, भूषण चौधरी ने कहा, "हमारी कोशिश है कि दूर-दराज वाले गांवों में एंबुलेंस प्रदान किया जाए। कच्चे सड़क के कारण यहां के लोग इस सुविधा से अंजान रह जाते हैं। हमने बाइक एंबुलेंस के लिए ड्राइवरों को नियुक्त किया है जो आशा कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर काम करते हैं।"

गर्भवती महिलाओं के लिए लाभ

इस बाइक एंबुलेंस का सबसे अधिक लाभ क्षेत्र की गर्भवती महिलाओं को मिलेगा। सड़क से न जुड़े होने के कारण और जंगली इलाका होने के कारण एंबुलेंस यहां तक नहीं पहुंच पाती है। इसके अलावा इन लोगों के पास भी कोई उपाय नहीं होता है कि वे अस्पताल तक जा सकें। ऐसे में वे लोग गांव के दाइ और नर्स के मदद से ही प्रजनन करती है लेकिन कई बार ये खतरनाक भी हो जाता है। इसके कारण मां और बच्चे की जान पर बात आ जाती है। लेकिन इस बाइक एंबुलेंस को इस तरह से डिजाइन किया गया है कि कोई भी गर्भवती महिला आराम से समय रहते अस्पताल पहुंच सकती है।

अधिकतर नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में ये सुविधा शुरू कर दी गई है। इससे ग्रामीणों को काफी लाभ हो रहा है। जिस इलाके में बाइक एंबुलेंस की सुविधा नहीं हो पाई है उन इलाकों में बाइक की मदद से डोर-टू-डोर दवाइयां पहुंचाई जाती हैं।

यह भी पढ़ें: Mumbai: मेडिकल छात्रा का सोशल मीडिया अकाउंट हैक! परिवार को भेजी ब्वायफ्रेंड की तस्वीरें, एमबीए छात्र गिरफ्तार

Maharashtra: मुंबई-गोवा हाईवे पर भीषण सड़क हादसे में 9 की मौत, ट्रक से टकराने के बाद कार बुरी तरह क्षतिग्रस्त

आपके शहर की हर बड़ी खबर, अब आपके फोन पर। डाउनलोड करें लोकल न्यूज़ का सबसे भरोसेमंद साथी- जागरण लोकल ऐप।