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Maharashtra Politics: जब 2014 में भाजपा ने शिवसेना से गठबंधन तोड़ा था, तब वह कहां थे? राहुल शेवाले पर बरसे संजय राउत

शिवसेना नेता राहुल शेवाले द्वारा आज यह तथ्य उद्घाटित करने पर कि उद्धव ठाकरे खुद भाजपा से गठबंधन को तैयार थे शिवसेना प्रवक्ता संजय राउत ने उनपर बरसते हुए पूछा है कि जब 2014 में भाजपा ने अपनी तरफ से शिवसेना से गठबंधन तोड़ा था तब वह कहां थे?

By Vijay KumarEdited By: Updated: Tue, 19 Jul 2022 09:30 PM (IST)
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राहुल शेवाले का बयान सामने आने के बाद संजय राउत की प्रतिक्रिया
राज्य ब्यूरो, मुंबई। शिवसेना के नए गुट के नेता राहुल शेवाले द्वारा आज यह तथ्य उद्घाटित करने पर कि उद्धव ठाकरे खुद भाजपा से गठबंधन को तैयार थे, शिवसेना प्रवक्ता संजय राउत ने उनपर बरसते हुए पूछा है कि जब 2014 में भाजपा ने अपनी तरफ से शिवसेना से गठबंधन तोड़ा था, तब वह कहां थे?

राहुल शेवाले का बयान सामने आने के बाद उस पर प्रतिक्रिया देते हुए संजय राउत ने कहा कि शिवसेना के साथ 2014 में भी गठबंधन भाजपा ने तोड़ा था, और 2019 में भी गठबंधन भाजपा ने ही तोड़ा था। यहां तक कि बालासाहब ठाकरे के कमरे में बैठकर किया वायदा भी भाजपा ने ही तोड़ा था।

बता दें कि आज अपने बयान में राहुल शेवाले ने भाजपा-शिवसेना के बीच बात बिगड़ने का ठीकरा संजय राउत पर भी फोड़ा था। इसका जवाब देते हुए राउत ने कहा कि हम पार्टी के संकट के दिनों में भी उसके साथ हैं। दबाव के बावजूद हमने पार्टी का साथ नहीं छोड़ा है। मोदी और ठाकरे की मुलाकात के बारे में मुझे भी पता था। लेकिन 2014 में जब भाजपा ने गठबंधन तोड़ा था, तब आप कहां थे ? राउत ने कहा कि 2019 में 2019 में शिवसेना एकनाथ शिंदे को मुख्यमंत्री बनाने को तैयार थी। लेकिन भाजपा अपने वायदे से मुकर गई, इसलिए शिंदे मुख्यमंत्री नहीं बन सके थे।

इससे पहले संजय राउत ने एक ट्वीट कर एक हिंदी शेर लिखा था कि – फन कुचलने का हुनर भी सीखिए,

सांप के खौफ से जंगल नहीं छोड़ा करते। बता दें कि इस शेर के जरिए संजय राउत शिवसेना में हो रही बगावत को कुचलने का संदेश देना चाह रहे थे।

शिवसेना के 18 सांसद हमारे साथ – शिंदे

महाराष्ट्र के नए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने दिल्ली में पत्रकारों से बात करते हुए दावा किया कि उनके साथ सिर्फ 12 नहीं, पूरे 18 सांसद हैं। बता दें कि आज शिवसेना के 12 सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला से मिलकर शिवसेना के 12 सांसदों को अलग गुट की मान्यता देने, सांसद राहुल शेवाले को गटनेता एवं भावना गवली को मुख्य सचेतक की मान्यता देने की मांग की। बाद में पत्रकारों से बात करते हुए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि भावना गवली शिवसेना के सभी सांसदों की मुख्य सचेतक एवं राहुल शेवाले सभी के गटनेता हैं। शिंदे ने बताया कि वे शिवसेना के सांसदों से मिलने एवं ओबीसी आरक्षण के संबंध में वकीलों से बात करने के लिए दिल्ली आए थे।

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