Maharashtra: महाराष्ट्र में OBC को साधने की तैयारी में शिंदे सरकार, केंद्र को भेजेगी अहम प्रस्ताव
Maharashtra महाराष्ट्र की शिंदे सरकार ने राज्य में नॉन क्रीमी लेयर वर्ग को साधने के लिए बड़ी योजना बनाई है। इसके तहत महाराष्ट्र कैबिनेट ने गैर-क्रीमी लेयर के लिए आय सीमा बढ़ाने की सिफारिश करने का निर्णय लिया है। सरकार इसके लिए केंद्र सरकार से आग्रह करेगी। इसके अलावा और भी कई अहम निर्णय बैठक में लिए गए हैं। पढ़ें पूरी रिपोर्ट।
पीटीआई, मुंबई। हरियाणा विधानसभा चुनाव में ओबीसी वोटों के साथ आने से मिली बड़ी सफलता के बाद भाजपा ने अब महाराष्ट्र में इस वर्ग को पूरी तरह से साधने की कोशिश की है। इसी के तहत महाराष्ट्र कैबिनेट ने निर्णय लिया है कि वह केंद्र सरकार से गैर-क्रीमी लेयर के लिए आय सीमा मौजूदा आठ लाख रुपये से बढ़ाकर 15 लाख रुपये प्रति वर्ष करने का अनुरोध करेगी।
यह फैसला राज्य में अगले महीने प्रस्तावित विधानसभा चुनाव से पहले आया है। अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) श्रेणी में आरक्षण का लाभ हासिल करने के लिए गैर-क्रीमी लेयर प्रमाणपत्र की जरूरत होती है। यह प्रमाणपत्र प्रमाणित करता है कि उक्त व्यक्ति की पारिवारिक आय निर्धारित सीमा से कम है। मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के कार्यालय की ओर से जारी एक बयान के अनुसार, कैबिनेट बैठक में महाराष्ट्र राज्य अनुसूचित जाति आयोग को संवैधानिक दर्जा देने के लिए एक मसौदा अध्यादेश को भी मंजूरी दी गई।
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अगले सत्र में पेश किया जाएगा अध्यादेश
यह अध्यादेश विधानमंडल के अगले सत्र में पेश किया जाएगा। कहा गया है कि महाराष्ट्र राज्य अनुसूचित जाति आयोग के लिए 27 पद स्वीकृत किए गए हैं। जारी बयान के अनुसार, बैठक में हिंगोली जिले में स्थित बालासाहेब ठाकरे हल्दी अनुसंधान केंद्र के लिए 709.27 करोड़ रुपये की अतिरिक्त धनराशि मंजूर की गई। बैठक में गैर-लाभकारी संगठन सुलभ इंटरनेशनल के राज्य के सभी 57 सरकारी अस्पतालों में शौचालय और विश्राम कक्ष बनाने संबंधी प्रस्ताव को भी स्वीकृति दी गई।
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मदरसा शिक्षकों का बढ़ा मानदेय
यही नहीं, डीएड डिग्री धारी मदरसा शिक्षकों का मानदेय 6,000 रुपये से बढ़ाकर 16,000 रुपये प्रति माह किया जाएगा, जबकि बीए, बीएड, बीएससी डिग्री वाले शिक्षकों का वेतन 8,000 रुपये से बढ़ाकर 18,000 रुपये प्रति माह किया जाएगा। कैबिनेट बैठक में फैसला लिया गया कि मुंबई के बोरीवली उपनगर में स्थित अक्से और मालवानी में सरकारी जमीन धारावी पुनर्विकास परियोजना के लिए दी जाएगी और 140 एकड़ में फैले इन क्षेत्रों में अयोग्य झुग्गीवासियों को आवास प्रदान किया जाएगा।
राज्य में कब होंगे विधानसभा चुनाव?
जानकारी के अनुसार हरियाणा और जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव से निपटने के बाद अब निर्वाचन आयोग झारखंड एवं महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव पर जुटेगा। मना जा रहा है कि आयोग इसकी घोषणा आयोग कभी भी कर सकता है। संकेतों के अनुसार, ज्यादा से ज्यादा अगले हफ्ते की शुरुआत तक दोनों राज्यों में विधानसभा चुनाव की घोषणा हो जाएगी।