Mumbai: पार्टी का चुनाव चिह्न धनुष-बाण चोरी हो गया है, चोर को सबक सिखाने की जरूरत है- उद्धव
चुनाव आयोग ने ही नवंबर में उद्धव गुट मशाल चुनाव चिह्न आवंटित किया था। लेकिन यह चिह्न भी उद्धव के पास 26 फरवरी को पुणे की दो विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनावों तक ही है। उसके बाद उन्हें नए चुनाव चिह्न के लिए आवेदन करना पड़ेगा।
By Jagran NewsEdited By: Shashank MishraUpdated: Sat, 18 Feb 2023 11:12 PM (IST)
मुंबई, राज्य ब्यूरो। शिवसेना उद्धव बालासाहब ठाकरे के अध्यक्ष उद्धव ठाकरे ने शनिवार को अपने समर्थकों को संबोधित करते हुए कहा कि पार्टी का चुनाव चिह्न धनुष-बाण चोरी हो गया है। चोर को सबक सिखाने की जरूरत है। वह आज अपने बांद्रा स्थित आवास मातोश्री पर जुटे अपने समर्थक शिवसैनिकों को संबोधित कर रहे थे। चुनाव आयोग ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के गुट को ही असली शिवसेना की मान्यता देते हुए पार्टी के चुनाव चिह्न धनुष-बाण पर भी उन्हें ही अधिकार दे दिया है। चुनाव आयोग का यह निर्णय उद्धव ठाकरे के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है।
चोर को सबक सिखाने की जरूरत
यह पहला अवसर है, जब 1966 में शिवसेना के गठन के बाद ठाकरे परिवार को पार्टी से नियंत्रण खोना पड़ा है। आयोग का यह फैसला आने के बाद आज सुबह उद्धव ठाकरे के आवास मातोश्री पर बड़ी संख्या में उनके समर्थक जुट गए। उन्हें संबोधित करते हुए उद्धव ने कहा कि पार्टी का चुनाव चिह्न धनुष-बाण चोरी हो गया है। अब चोर को सबक सिखाने की जरूरत है। वह पकड़ा गया है। मैं चोर को चुनौती देता हूं कि वह धनुष-बाण चुनाव चिह्न के साथ मैदान में उतरे। मैं उसका मुकाबला मशाल से करूंगा। चोर की बात करते हुए उद्धव ठाकरे का इशारा मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की ओर था।
बता दें कि चुनाव आयोग ने ही नवंबर में उद्धव गुट मशाल चुनाव चिह्न आवंटित किया था। लेकिन यह चिह्न भी उद्धव के पास 26 फरवरी को पुणे की दो विधानसभा सीटों पर हो रहे उपचुनावों तक ही है। उसके बाद उन्हें नए चुनाव चिह्न के लिए आवेदन करना पड़ेगा। दूसरी ओर शिवसेना के प्रवक्ता संजय राउत ने भी सिंधुदुर्ग में पत्रकारों से बात करते हुए चुनाव आयोग के निर्णय को राजनीतिक हिंसा करार दिया है। उन्होंने कहा कि यह निर्णय राजनीतिक बदले की भावना से शिवसेना को खत्म करने के लिए लिया गया है।
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