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स्टॉक मार्केट फिर गुलजार; सेंसेक्स में 592 अंकों की तेजी, निफ्टी 25 हजार के पार

सेंसेक्स पैक में टेक महिंद्रा एचडीएफसी बैंक लार्सन एंड टुब्रो आईटीसी इंफोसिस इंडसइंड बैंक कोटक महिंद्रा बैंक टाइटन और एचसीएल टेक्नोलॉजीज लाभ में रहीं। वहीं मारुति सुजुकी इंडिया टाटा स्टील बजाज फाइनेंस अल्ट्राटेक सीमेंट नेस्ले इंडिया एक्सिस बैंक और टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस) में गिरावट देखने को मिली। बीएसई-सूचीबद्ध कंपनियों का बाजार पूंजीकरण करीब 1.35 लाख करोड़ रुपये बढ़कर 46362781.71 रुपये (5.51 ट्रिलियन डॉलर) हो गया।

By Jagran News Edited By: Suneel Kumar Updated: Mon, 14 Oct 2024 06:03 PM (IST)
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एनएसई निफ्टी 163.70 अंक यानी 0.66 प्रतिशत बढ़कर 25,127.95 पर बंद हुआ।

पीटीआई, मुंबई। वैश्विक बाजारों में मजबूत रुख के बीच आईटी और बैंकिंग शेयरों में तेजी के चलते बेंचमार्क बीएसई सेंसेक्स में सोमवार को करीब 592 अंकों की तेजी दर्ज की गई। वहीं, निफ्टी ने भी दोबारा 25,000 के स्तर को हासिल कर लिया। 30 शेयरों वाला बीएसई सेंसेक्स 591.69 अंक यानी 0.73 प्रतिशत उछलकर 81,973.05 पर बंद हुआ। एनएसई निफ्टी 163.70 अंक यानी 0.66 प्रतिशत बढ़कर 25,127.95 पर बंद हुआ।

क्या है मार्केट एक्सपर्ट की राय

जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, “दूसरी तिमाही के कमजोर नतीजों और तेल की कीमतों में गिरावट के साथ भारतीय बाजार में लचीलापन देखने को मिल रहा है। हाल के करेक्शन के बाद आईटी और फाइनेंशियल सेक्टर के शेयरों में खरीदारी हो रही है।"

व्यापक बाजार में, बीएसई मिडकैप गेज 0.28 फीसदी और स्मॉलकैप इंडेक्स 0.06 फीसदी चढ़ा। सेक्टरवार, रियल्टी में सबसे ज्यादा 1.53 फीसदी की तेजी आई। बैंकेक्स (1.03 फीसदी), आईटी (1.01 फीसदी), वित्तीय सेवा और टेक 0.88 फीसदी, उपभोक्ता टिकाऊ (0.69 फीसदी) और दूरसंचार (0.68 फीसदी) बढ़ने वालों में से थे।

कमोडिटीज में 0.31 फीसदी की गिरावट आई, इसके बाद मेटल (0.14 फीसदी), ऑयल एंड गैस (0.06 फीसदी) और सर्विसेज (0.04 फीसदी) का स्थान रहा। रिटेल चेन डी-मार्ट के मालिक एवेन्यू सुपरमार्ट्स 8 फीसदी से अधिक गिरकर 4,184.45 रुपये प्रति शेयर पर बंद हुआ। कंपनी के तिमाही नतीजे निवेशकों को खुश करने में नाकाम रहे।

पश्चिम एशिया तनाव का असर

मेहता इक्विटीज लिमिटेड के वरिष्ठ उपाध्यक्ष (शोध) प्रशांत तापसे ने कहा, "भारतीय बाजार में अभी बहुत बड़ी तेजी की उम्मीद नहीं है, क्योंकि इस महीने एफआईआई भारतीय बाजार से निकल रहे हैं। साथ ही, पश्चिम एशिया संघर्ष ने निवेशकों के बीच बहुत अनिश्चितता पैदा की है।"

सरकार द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, सोमवार को थोक मूल्य मुद्रास्फीति सितंबर में बढ़कर 1.84 प्रतिशत हो गई। इसकी वजह खाद्य पदार्थ खासकर सब्जियों का दाम बढ़ना रहा। अगस्त में थोक मूल्य सूचकांक आधारित मुद्रास्फीति 1.31 प्रतिशत थी।

कच्चे तेल का दाम गिरा

मध्य सत्र के सौदों में यूरोपीय बाजारों में मिलाजुला रुख रहा। वैश्विक तेल बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड 2.52 प्रतिशत गिरकर 77.05 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया। एशियाई बाजारों में, टोक्यो, शंघाई और सियोल बढ़त के साथ बंद हुए, जबकि हांगकांग नकारात्मक क्षेत्र में बंद हुआ। शुक्रवार को वॉल स्ट्रीट बढ़त के साथ बंद हुआ था।

एक्सचेंज के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) ने शुक्रवार को 4,162.66 करोड़ रुपये के इक्विटी बेचे, जबकि घरेलू संस्थागत निवेशकों (डीआईआई) ने 3,730.87 करोड़ रुपये के इक्विटी खरीदे।