Jal Jeevan Mission: 71 प्रतिशत ग्रामीण घरों में दिया गया नल का कनेक्शन - केंद्रीय जलशक्ति राज्य मंत्री
जल जीवन मिशन के तहत अब तक देशभर में 71 प्रतिशत ग्रामीण घरों में पानी के लिए नल कनेक्शन दिया जा चुका है। केंद्रीय जलशक्ति राज्य मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल ने राज्यसभा में सवाल के लिखित जवाब में बताया कि 15 अगस्त 2019 को जल जीवन मिशन की घोषणा के समय 3.23 करोड़ (17 प्रतिशत) ग्रामीण घरों में नल कनेक्शन था।
By AgencyEdited By: Anurag GuptaUpdated: Mon, 04 Dec 2023 11:14 PM (IST)
पीटीआई, नई दिल्ली। जल जीवन मिशन के तहत अब तक देशभर में 71 प्रतिशत ग्रामीण घरों में पानी के लिए नल कनेक्शन दिया जा चुका है। नौ राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों गोवा, गुजरात, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, पंजाब, तेलंगाना, अंडमान-निकोबार द्वीप समूह, दादर नगर हवेली, दमन दीव और पुदुचेरी ने रिपोर्ट दी कि उन्होंने 30 सितंबर तक सभी ग्रामीण घरों में नल कनेक्शन दे दिया है।
केंद्रीय जलशक्ति राज्य मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल ने राज्यसभा में सवाल के लिखित जवाब में बताया कि 15 अगस्त, 2019 को जल जीवन मिशन की घोषणा के समय 3.23 करोड़ (17 प्रतिशत) ग्रामीण घरों में नल कनेक्शन था। 29 नवंबर की रिपोर्ट के अनुसार, तकरीबन 10.46 करोड़ अतिरिक्त ग्रामीण घरों में नल कनेक्शन दिया गया। वर्तमान में कुल 19.24 करोड़ ग्रामीण घरों में से 13.69 करोड़ लगभग 71 प्रतिशत ग्रामीण घरों में नल कनेक्शन है।
21 राज्यों-केंद्रशासित प्रदेशों ने लागू किया भूजल कानून
15 राज्यों और छह केंद्र शासित प्रदेशों ने केंद्र द्वारा प्रसारित माडल बिल की तर्ज पर भूजल कानून लागू किया है। मंत्रालय ने उपयुक्त भूजल कानून बनाने में मदद करने के लिए सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को माडल विधेयक प्रसारित किया है। इसमें वर्षा जल संचयन का प्रविधान शामिल है।यह भी पढ़ें: राज्यों के चुनाव में बढ़ा भाजपा का वोट प्रतिशत लोकसभा चुनाव में विपक्ष की बढ़ाएगा सिरदर्दी
केंद्रीय जल शक्ति राज्य मंत्री बिश्वेश्वर टुडू ने राज्यसभा में सवाल के लिखित जवाब में बताया कि केंद्र वित्तीय और तकनीकी सहायता के माध्यम से राज्य सरकारों के प्रयासों को सुविधाजनक बना रहा है।
25 राज्यों के भूजल में आर्सेनिक व 27 राज्यों में फ्लोराइड मिला
25 राज्यों के 230 जिलों के भूजल में आर्सेनिक और 27 राज्यों के 469 जिलों के भूजल में फ्लोराइड मिला। केंद्रीय भूजल बोर्ड ने बताया,राज्यसभा में सवाल के लिखित जवाब में केंद्रीय जलशक्ति राज्य मंत्री बिश्वेश्वर टुडू ने बताया कि ये अध्ययन विभिन्न राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में मानव उपभोग के लिए भारतीय मानक ब्यूरो द्वारा निर्धारित सीमा से परे भूजल में आर्सेनिक और फ्लोराइड की उपस्थिति का संकेत देते हैं।भूजल संदूषण ज्यादातर प्रकृति में भूगर्भिक है और पिछले कुछ वर्षों में इसमें बदलाव नहीं हुआ है।