9 Years of PM Modi Govt: डिजिटल इंडिया से लेकर स्वच्छ भारत मिशन तक, बेमिसाल रहे मोदी सरकार के यह अभियान
9 Years of PM Modi Govt मोदी सरकार ने नौ साल पूरे हो गए हैं और इन सालों में जनहित से जुड़े कई अभियान चलाए गए जिसके चलते लोगों को काफी लाभ हुआ है। आज हम सरकार द्वारा चलाए गए प्रमुख अभियानों के साथ महत्वपूर्ण योजनाओं के बारे में बताएंगे।
By Mahen KhannaEdited By: Mahen KhannaUpdated: Sat, 27 May 2023 05:32 PM (IST)
नई दिल्ली, ऑनलाइन डेस्क। 9 Years of PM Modi Govt केंद्र की मोदी सरकार को सत्ता में काबिज हुए नौ साल पूरे हो गए हैं। 26 मई 2014 को भारी बहुमत के साथ सरकार बनाने के बाद पीएम मोदी ने बीते 9 सालों में कई अहम फैसले किए हैं, जिससे देश के आम नागरिकों को काफी फायदा पहुंचा है।
सरकार ने बड़े फैसले लेने के साथ जनहित से जुड़े कई अभियान भी चलाए, जिसके चलते कई समस्याओं का हल भी हुआ है। आज हम मोदी सरकार द्वारा चलाए गए प्रमुख अभियानों के साथ महत्वपूर्ण योजनाओं के बारे में बताएंगे।
9 साल 9 अभियान
नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सत्ता पाने के बाद भाजपा सरकार ने देश में कई बड़े अभियान चलाए। इनमें मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ जैसे कई अभियान शामिल है। चाहे डिजिटल इंडिया की बात हो या मेक इन इंडिया, देश में इन अभियानों से काफी विकास देखने को मिला है।मेक इन इंडिया (Make in India)
भारत में विनिर्माण के क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए वर्षों से चर्चा होती आई है, लेकिन इसपर कोई ऐसा फैसला नहीं लिया गया जिससे इसको गति मिले। लेकिन मोदी सरकार आने के बाद भारत वैश्विक विनिर्माण केंद्र बनता दिख रहा है।
सरकार ने कुछ ही महीनों के भीतर, निवेश को बढ़ावा देने, नवाचार को बढ़ावा देने, कौशल विकास को बढ़ाने, बौद्धिक संपदा की रक्षा करने और बुनियादी ढांचे के विकास के लिए 'मेक इन इंडिया' अभियान शुरू किया।
"मेक इन इंडिया" के तहत न केवल विनिर्माण बल्कि अन्य क्षेत्रों में भी भारत में उद्यमिता को बढ़ावा देने में मदद मिली है। कहीं न कहीं, इसे चीनी सामानों के बहिष्कार का अभियान भी माना जाता है। देश में बने सामानों को तरजीह दिए जाने से छोटे निर्माताओं को भी काफी मदद मिली है। वहीं, सरकार भी इन व्यापारियों की मदद से जुटी है।
डिजिटल इंडिया (Digital India)
डिजिटल इंडिया अभियान भी मोदी सरकार के बड़े अभियान में से एक माना जाता है। इस अभियान के चलते देश के गांव भी डिजिटल भारत का हिस्सा बनने लगे हैं। इसके चलते स्वास्थ्य, शिक्षा और न्यायिक सेवा आदि से जुड़े सरकार के कामकाम डिजिटल रूप से होने लगे हैं। वहीं, जनता ने भी डिजिटल इंडिया अभियान का साथ दिया है और डिजिटल ट्रांजैक्शन में विश्वास जताया। इस अभियान की शुरुआत 1 जुलाई 2015 में हो गई थी, लेकिन पीएम मोदी द्वारा 2016 में की गई नोटबंदी के बाद डिजिटल ट्रांजैक्शन को गति मिली।Digital India अभियान में इन चीजों पर जोर
- ब्रॉडबैंड हाईवे
- मोबाइल कनेक्टिविटी के लिए लोगों की पहुंच
- पब्लिक इंटरनेट एक्सेस
- ई-गवर्नेंस- प्रौद्योगिकी के माध्यम से सरकार के कामकाज सुधार
- ई-क्रांति - सेवाओं की इलेक्ट्रानिक डिलीवरी
- सभी के लिए सूचना
- इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण
- नौकरियों में आईटी का विकास
- अर्ली हार्वेस्ट कार्यक्रम
उज्ज्वला योजना
देश के गरीब परिवार की महिलाओं को मिट्टी के चूल्हे और धुएं से आजादी दिलाने के पीएम मोदी के सपने को साकार करने के लिए केंद्र सरकार ने 1 मई 2016 को उज्ज्वला योजना की शुरुआत की। योजना के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में खाना पकाने के लिए उपयोग में आने वाले कैरोसिन ईंधन की जगह एलपीजी के उपयोग को बढ़ावा दिया गया, जिससे धुएं के असर से नुकसान को कम किया जा सके। सरकार ने गरीब परिवार की महिला सदस्यों को मुफ्त रसोई गैस कनेक्शन दिया और अब 200 रुपए सब्सिडी भी इसके तहत दी जा रही है।बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ अभियान
मोदी सरकार के सबसे चर्चित अभियानों में से एक बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ है। 22 जनवरी, 2015 को शुरू हुए इस अभियान के जरिए मोदी सरकार ने देश के विभिन्न क्षेत्रों में रहने और काम करने वाली लड़कियों को संरक्षण और सशक्त बनाने की पहल की। इस अभियान के जरिए बाल लिंगानुपात के आधार पर प्रत्येक राज्य में कम से कम एक ज़िले के साथ 100 जिलों का एक पायलट जिले के रूप में चयन किया गया। इसके जरिए जिलों में लड़कियों के लिंगानुपात को बढ़ाने में भी काफी मदद मिली।अभियान का ये था उद्देश्य
- लड़कियों का अस्तित्व और सुरक्षा सुनिश्चित करना इस योजना का मुख्य उद्देश्य था।
- लड़कियों को शिक्षा प्राप्त करने में सुविधा प्रदान कराने में भी जोर दिया गया।
- लड़कियों को शोषण से बचाने और शिक्षा के माध्यम से उन्हें सामाजिक और वित्तीय रूप से स्वतंत्र बनाना भी इसका एक उद्देश्य रहा।
किसान सम्मान निधि योजना (PMKSN)
प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना (PMKSN) भारत सरकार ने छोटे एवं सीमान्त किसानों के सम्मान में वर्ष 2018 में शुरू की थी।- PMKSN तहत शुरुआत में जिस भी किसान के पास पास 2 हेक्टेयर (4.9 एकड़) से कम भूमि है वो इस योजना का पात्र माना गया था, लेकिन बाद में इसे विस्तार देते हुए सभी कृषकों के लिए लागू कर दिया गया।
- इस योजना के तहत सभी किसानों को प्रति वर्ष 6 हजार रूपया मिलते हैं। किसान को 2 हजार रुपये की तीन किश्तों में सहायता मिलती है। योजना किसानों के लिए वरदान साबित हो रही है।