Indian Army: 'परिवर्तनकारी दौर से गुजर रही सेना', सेनाध्यक्ष बोले- अग्निवीरों को शामिल किए जाने पर किया जा रहा विचार
थल सेनाध्यक्ष मनोज पांडे ने कहा कि सेना परिवर्तनकारी दौर से गुजर रही है। सेना ने परिचालन तैयारियों को मजबूत करने के लिए विस्तृत रूपरेखा तैयार की है। हमने बदलाव की दिशा में अच्छी प्रगति की है। मुझे यकीन है कि आने वाले वर्षों में इन प्रयासों से परिचालन तैयारियों में वृद्धि होगी और हम युद्ध की चुनौतियों का अच्छी तरह से सामना करने में सक्षम होंगे।
पीटीआई, पुणे। थल सेनाध्यक्ष मनोज पांडे ने गुरुवार को कहा कि सेना परिवर्तनकारी दौर से गुजर रही है। सेना ने परिचालन तैयारियों को मजबूत करने के लिए विस्तृत रूपरेखा तैयार की है। हमने बदलाव की दिशा में अच्छी प्रगति की है। इस बदलाव के तहत सेना इंजीनियरों की कोर में आधुनिकीकरण व प्रौद्योगिकी समावेशन पर जोर दे रही है।
चुनौतीयों को सामने करने के लिए सेना तैयार
उन्होंने कहा कि मुझे यकीन है कि आने वाले वर्षों में इन प्रयासों से परिचालन तैयारियों में वृद्धि होगी और हम युद्ध की चुनौतियों का अच्छी तरह से सामना करने में सक्षम होंगे। वह महाराष्ट्र के पुणे में बांबे सैपर्स वार मेमोरियल सैंटिनरी के कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि बांबे सैपर्स का इतिहास शौर्य, बलिदान और साहस से भरा है। इसने युद्ध क्षेत्र, खेल और कई अन्य क्षेत्रों में अपनी कार्य कुशलता, दृढ़ संकल्प, कड़ी मेहनत और प्रशिक्षण के माध्यम से नाम कमाया है।
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राष्ट्र निर्माण में बांबे सैपर्स की भूमिका अहम
राष्ट्र निर्माण गतिविधियों में बांबे सैपर्स की भूमिका अहम है और मुझे विश्वास है कि यह सभी क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करता रहेगा और भारतीय सेना का नाम ऊंचा रखेगा। इस दौरान उन्होंने कहा कि मानव संसाधन प्रबंधन के क्षेत्र में अग्निपथ योजना महत्वपूर्ण कदम है। अग्निवीरों को सेना की रेजीमेंटों व अन्य इकाइयों में शामिल करने का मुद्दा अत्यंत महत्वपूर्ण है और इस पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। इनका चयन स्वतंत्र, निष्पक्ष और स्वचालित प्रणाली के तहत किया जा रहा है।
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